सदर अस्पताल ओपीडी में कोविड प्रोटोकोल का नहीं हो रहा पालन

पूर्णिया। लॉकडाउन के बाद पहली बार सदर अस्पताल ओपीडी का संचालन पुराने समय पर किया जा र

By JagranEdited By: Publish:Tue, 24 Nov 2020 06:16 PM (IST) Updated:Tue, 24 Nov 2020 09:04 PM (IST)
सदर अस्पताल ओपीडी में कोविड  प्रोटोकोल का नहीं हो रहा पालन
सदर अस्पताल ओपीडी में कोविड प्रोटोकोल का नहीं हो रहा पालन

पूर्णिया। लॉकडाउन के बाद पहली बार सदर अस्पताल ओपीडी का संचालन पुराने समय पर किया जा रहा है। सुबह आठ बजे से 12 बजे तक और फिर दूसरी पाली में 2 से 4 बजे तक संचालित हो रहा है। इस दौरान नियमों का पालन नहीं किया जा रहा है। भीड़ प्रबंधन के लिए अस्पताल की ओर से कोई व्यवस्था नहीं है। लोग एक दूसरे से चिपके हुए हैं और कहीं भी शारीरिक दूरी नियम का पालन नहीं हो रहा है। कोरोना के बढ़ते प्रभाव के कारण ओपीडी संचालन सीमित किया गया था लेकिन एक बार फिर सभी विभाग को पुन: संचालित करने से भीड़ बढ़ गई है। इस कारण से पर्ची कटाने से लेकर, चिकित्सक को दिखने के लिए लंबी कतार और इस दौरान अफरा-तफरी रहती है। ओपीडी में मास्क पहने हुए भी लोग नहीं रहते हैं। अस्पताल प्रशासन ने दावा किया था कि भीड़ प्रबंधन और मास्क पहनना जैसे नियमों को पालन सख्ती से करवाया जाएगा लेकिन मंगलवार को ऐसा होता नहीं दिख रहा है। इस कारण से मेडिकल स्टाफ और चिकित्सक तक कोरोना के जद में आ सकते हैं। मई माह में एक साथ बड़ी संख्या में अस्पताल के चिकित्सक और स्टाफ कोरोना पॉजिटिव हुए थे जिसका बाद काफी सावधानी बरती जा रही थी। लेकिन एक बार फिर से पुरानी स्थिति लौटती दिख रही है। कोरोना महामारी का खतरा खत्म नहीं हुआ है लेकिन लोगों ने सावधानी बरतनी छोड़ दी है । अस्पताल में भी नियमों का पालन करवाने के लिए कोई इंतजाम नहीं किया गया है। इस ²श्य के बाद यह पूछना स्वभाविक है आखिर लोग इलाज कराने जाते हैं या फिर बीमार होने। मेडिकल स्टाफ का भी कहना है कि ऐसे में उनके भी संक्रमित होने का खतरा है। यह सभी के सुरक्षा के लिए नियमों का सख्ती से पालन किया जाए। ओपीडी में लॉकडाउन के पहले यही स्थिति रहती थी। एक दर्जन से अधिक चिकित्सक ओपीडी सेवा के लिए बैठते हैं। यहां पर 700 से 800 मरीजों रोजाना चेकअप के लिए पहुंचते हैं।अभी ओपीडी में सख्या पांच सौ के उपर रह रही है। सर्दी के मौसम में वैसे ओपीडी में भीड़ बढ़ जाती है। सर्दी और खांसी और बुखार के मरीज बढ़ जाते हैं। इस कारण से ओपीडी में दवाब भी बढ़ जाता है। ओपीडी के साथ ही दवा वितरण केंद्र में भी काफी भीड़ थी।

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