आइजीआइएमएस के डॉक्टरों ने बचाई बच्चे की जान
पटना। इंदिरा गाधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस (आइजीआइएमएस) के डॉक्टरों ने गुरुवार को एक बच्च
पटना। इंदिरा गाधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस (आइजीआइएमएस) के डॉक्टरों ने गुरुवार को एक बच्चे की जान बचाई। भागलपुर के आठ वर्षीय बच्चे की नाक में सीटी फंस गई थी। इससे सांस लेने पर उसकी नाक से सीटी की आवाज निकलती थी। इसके साथ उसे सांस लेने में भी तकलीफ हो रही थी। इसके बाद भागलपुर से बच्चे के स्वजन पीडियाट्रिक्स सर्जरी विभाग के डॉ. रामधनी यादव की ओपीडी में पहुंचे। उसके माता-पिता ने भूलवश सीटी निगलने की बात कहीं। कोरोना जाच के बाद बिना चीरे के ब्रोंकोस्कोपी विधि के माध्यम से सास की नली से सीटी को निकाला गया। प्रो. विजयेंद्र कुमार की देखरेख में डॉ. रामधनी यादव, डॉ. संदीप कुमार राहुल, डॉ. रामजी प्रसाद, डॉ. विनीत ठाकुर, डॉ. जहीर, डॉ. दिगंबर आदि ने एक घटे की मेहनत के बाद बेहोश कर ऑपरेशन के जरिये सीटी को निकाला।
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खेलते समय बच्चों पर नजर रखने की जरूरत :
चिकित्सा अधीक्षक डॉ. मनीष मंडल ने कहा, कोरोना काल में बच्चों के खेलने-कूदने पर नजर रखने की जरूरत है। खेल-खेल में बच्चे सीटी, पिन, सिक्का, झुमका, अंगूठी आदि गलती से निगल लेते है। इससे उनके साथ परिजन भी परेशान होते हैं। सफलतापूर्वक ऑपरेशन पर निदेशक डॉ. एनआर विश्वास ने पूरी टीम को बधाई दी है।