दशमेश गुरु के साहिबजादों वाले वैशाली के चारों गांव जुडेंगे सिख सर्किट से

विश्व में सिखों के दसवें गुरु श्री गुरु गोविद सिंह व उनके चार साहिबजादों के गांव सिख सर्किट से जुड़ेंगे।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 05 Apr 2021 12:41 AM (IST) Updated:Mon, 05 Apr 2021 12:41 AM (IST)
दशमेश गुरु के साहिबजादों वाले वैशाली के चारों गांव जुडेंगे सिख सर्किट से
दशमेश गुरु के साहिबजादों वाले वैशाली के चारों गांव जुडेंगे सिख सर्किट से

पटना सिटी : विश्व में सिखों के दसवें गुरु श्री गुरु गोविद सिंह व उनके चार साहिबजादों अजीत सिंह, जुझार सिंह, जोरावर सिंह व फतेह सिंह के बलिदान को समाज नहीं भूला सकता है। चारों साहिबजादों के नाम पर वैशाली जिले के चारों गांव अजीजपुर, जुझारपुर, जुड़ावनपुर तथा फतेहपुर का विकास कर तख्त श्रीहरिमंदिर जी प्रबंधक समिति की ओर से सिख सर्किट से जोड़ने की योजना बन रही है। ये बात रविवार को बाड़े की गली स्थित श्री गुरु तेग बहादुर एकेडमी हॉल में श्रोताओं के बीच प्रबंधक समिति के महासचिव सरदार महेंद्र पाल सिंह ढिल्लन ने कहीं। वैशाली स्थित खालसा घाट में मुगलों की सेना को नाश किया गया था। वहां के ग्रामीणों ने गुरु महाराज के साहिबजादों का इतिहास आज भी संजोकर रखा है। इस मौके पर वैशाली के चारों गांव के दर्जनों ग्रामीणों को सम्मानित किया गया। संगोष्ठी सह सम्मान समारोह का उद्घाटन पिछड़ा जाति आयोग चेयरमैन डॉ. भगवान लाल सहनी ने किया। मंच संचालन मानवाधिकार संघ के सदस्य आनंद मोहन झा ने किया। संगोष्ठी को विधान पार्षद डॉ. राजेंद्र गुप्ता, बिहार इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के अध्यक्ष रामलाल खेतान, दूरदर्शन के वरिष्ठ अधिकारी डॉ. राजकुमार नाहर, हिदू जागरण मंच के प्रदेश अध्यक्ष विनोद कुमार यादव, सिख मर्मज्ञ प्रो. लालमोहर उपाध्याय ने सिख इतिहास में चारों साहिबजादों की जीवनी पर प्रकाश डाले।

कार्यक्रम में प्रबंधक समिति के सचिव सरदार एमएस छाबड़ा, सदस्यों में सरदार हरवंश सिंह, हरपाल सिंह जौहल, धर्म प्रचार समिति के चेयरमैन सरदार लखविदर सिंह, जसपाल सिंह पाल, कबीर मठ फतुहा के अध्यक्ष ब्रजेश मुनि, बह्मचारी संत रविदास, त्रिलोक सिंह, राजेश शुक्ला टिल्लू, जगजीत सिंह, अधीक्षक दलजीत सिंह, प्रशासक जगजीत सिंह जग्गी, परमजीत सिंह मनचंदा, दिलीप पटेल, महाकांत राय, पपींदर सिंह समेत अन्य थे।

- लंगर छकने के बाद देखा लेजर शो

वैशाली से पहुंचे चारों साहिबजादों नाम वाले गांव के ग्रामीणों ने तख्त श्री हरिमंदिर, कंगन घाट, बाललीला गुरुद्वारा में मत्था टेकने के बाद लंगर छके। सभी को ग्रंथी ने सिरोपा देकर सम्मानित किया। लंगर छकने के बाद सभी ने मंगलतालाब में दशमेश गुरु के जीवन पर आधारित लेजर शो देखे।

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