13 माह बाद आरटीआई का जवाब देने पर फंसे सीओ, 25 हजार जुर्माना

बिहारशरीफ। बिहार राज्य सूचना आयोग ने धर्मराज कुमार सिंह बनाम लोक सूचना पदाधिकारी सह सीओ अस्थावां सुनील कुमार पर विलंब से सूचना देने पर 25 हजार रुपए का अर्थदंड लगाया है। राज्य सूचना आयोग ने सुनवाई के बाद प्रतिवादी अंचलाधिकारी अस्थावां को 5 माह विलंब से अपीलार्थी को सूचना उपलब्ध कराने का दोषी करार किया। अपील के अनुसार सारे थाना क्षेत्र के मौलाना बिगहा गांव निवासी अपीलार्थी धर्मराज सिंह ने मांगी गई सूचना का विषय तथा शुल्क का रेखांकन करते हुए अक्टूबर 2019 में प्रथम अपीलीय प्राधिकार कार्यालय से सूचना उपलब्ध कराने के लिए फार्म जमा किया था। अपीलार्थी को एक वर्ष एक माह के बाद 28 दिसम्बर 20 को सूचना प्राधिकार ने उपलब्ध कराई।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 31 Jan 2021 11:45 PM (IST) Updated:Sun, 31 Jan 2021 11:45 PM (IST)
13 माह बाद आरटीआई का जवाब देने पर फंसे सीओ, 25 हजार जुर्माना
13 माह बाद आरटीआई का जवाब देने पर फंसे सीओ, 25 हजार जुर्माना

बिहारशरीफ। बिहार राज्य सूचना आयोग ने धर्मराज कुमार सिंह बनाम लोक सूचना पदाधिकारी सह सीओ अस्थावां सुनील कुमार पर विलंब से सूचना देने पर 25 हजार रुपए का अर्थदंड लगाया है। राज्य सूचना आयोग ने सुनवाई के बाद प्रतिवादी अंचलाधिकारी अस्थावां को 5 माह विलंब से अपीलार्थी को सूचना उपलब्ध कराने का दोषी करार किया। अपील के अनुसार सारे थाना क्षेत्र के मौलाना बिगहा गांव निवासी अपीलार्थी धर्मराज सिंह ने मांगी गई सूचना का विषय तथा शुल्क का रेखांकन करते हुए अक्टूबर 2019 में प्रथम अपीलीय प्राधिकार कार्यालय से सूचना उपलब्ध कराने के लिए फार्म जमा किया था। अपीलार्थी को एक वर्ष एक माह के बाद 28 दिसम्बर 20 को सूचना प्राधिकार ने उपलब्ध कराई। सुनवाई के दौरान प्रतिवादी सीओ का कहना था कि कोविड-19 के कारण कार्यालय कार्य में व्यवधान उत्पन्न हुआ। यह तर्क तो सूचना आयोग ने मान लिया लेकिन कोविड व लॉक डाउन के बाद 5 माह विलंब से सूचना उपलब्ध कराने का कोई लिखित स्पष्टीकरण नहीं सौंपा गया। आयोग ने फैसला दिया कि प्रार्थी क्षमा की प्रार्थना करते हैं परन्तु इसके तहत बिना किसी कारण के क्षमा का कोई प्रावधान नहीं है। अत: दोषी पाते हुए सूचना अधिकार अधिनियम की धारा 20-1 के अंतर्गत अर्थदंड लगाया जाता है। इसकी प्रतिलिपि जिला कोषागार पदाधिकारी सहित अन्य संबंधित विभागों को निर्गत कर दी गई है।

...............

मौलानाबीघा में पइन का अतिक्रमण कर बनी थी पानी टंकी

.......

संवाद सूत्र, अस्थावां: आरटीआई के तहत सीओ से सूचना मांगने की वजह ओंदा पंचायत के मौलानाबीघा गांव के वार्ड 8 में पइन का अतिक्रमण कर सात निश्चय योजना के अन्तर्गत पानी टंकी व बोरिग का निर्माण करना था। उस वक्त ग्रामीणों ने इसका विरोध किया था, फिर भी सरकारी कार्य का हवाला देकर ऐसा कर दिया गया। इस कार्य का शुभारंभ स्थानीय विधायक डॉ जितेन्द्र कुमार ने किया था।

जबकि कोर्ट का स्पष्ट आदेश है कि किसी भी जलस्त्रोत पर कोई भी सरकारी या निजी कार्य करना मना है। इसी कारण ग्रामीण धर्मराज कुमार सिंह ने आरटीआई के माध्यम से अक्टूबर 2019 में सीओ से जानकारी मांगी थी। आरटीआई कानून 2005 के तहत जवाब देने में 13 महीने की देरी करने के कारण राज्य सूचना आयोग ने अस्थावां सीओ पर 25 हजार का जुर्माना लगाया है। प्रखंड में पहली बार किसी अधिकारी के खिलाफ इतनी बड़ी राशि का जुर्माना हुआ है। बहरहाल, आयोग की इस कार्रवाई से अधिकारियों में हड़कंप मचा हुआ है।

chat bot
आपका साथी