Cyber Fraud: मुजफ्फरपुर में आर्मी आर्मी जवान के बैंक खाते से नौ लाख रुपये गायब, जानिए कैसे हुआ ऑनलाइन फ्राड
Muzaffarpur Crime विश्वविद्यालय थाने में दर्ज कराई गई प्राथमिकी बीयू कैंपस एसबीआइ शाखा में जवान का खाता एसबीआइ योनो लाक होने के बाद गुगल से कस्टमर केयर का लिया नंबरफेक कस्टमर केयर का नंबर लगा हाथ संपर्क करने पर साइबर फ्राड के जाल में फंस गए पीडि़त
मुजफ्फरपुर,जासं। साइबर फ्राड गिरोह के बदमाशों ने झांसा देकर गलत एप लोड कराकर बैंक खाते से नौ लाख रुपये उड़ा लिए। मामले में सकरा बखरी के आर्मी जवान दयानंद पांडेय ने विश्वविद्यालय थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई है। पुलिस का कहना है कि कांड दर्ज कर मामले की जांच की जा रही है।
बताया गया कि अरुणाचल प्रदेश टेंगा में आवेदक तैनात है। एसबीआइ बीयू कैंपस शाखा में इनका खाता है। इनका योनो एप 27 नवंबर को लाक हो गया। इसके बाद उन्होंने गुगल के माध्यम से योनो के कस्टमर केयर का नंबर निकाला। इसपर संपर्क करने के बाद बताया कि प्ले स्टोर में जाकर एनी डेस्क नाम का एप डाउनलोड कीजिए। उन्होंने उक्त एप को लोड किया। इसके बाद उनके नंबर पर काल आया, जिसमें कहा कि बैलेंस चेक करिए। इस पर उन्होंने बैलेंस चेक किया। इसके बाद फिर काल आया कि आपके जीमेल पर यूजर आइडी व पासवर्ड भेज दिया गया है, उसे खोलिए। उसे खोलने के बाद फोटो टच करने को कहा गया। जवान ने ऐसा किया। इसके बाद जवाब मिला कि सर्वर काम नहीं कर रहा है और फोन कट गया।
पुन : दूसरे नंबर से काल आया। इसमें कहा कि कार्ड का एक्सपाइरी नंबर बताए जिसे आवेदक ने बता दिया। फिर कहा गया कि दूसरा काल किया जाएगा और फोन कट गया। इसके बाद पहले वाले नंबर से काल आया और कहा गया कि योनो में जो आपका क्रेडिट कार्ड लिंक है, उसका फोटो खीचिए। कारण पूछने पर जवाब मिला कि उसे भेजना नहीं है, सिर्फ आगे-पीछे करना है। इन सभी प्रक्रिया के बीच उनके बैंक खाते व क्रेडिट कार्ड खाते से चार बार में नौ लाख दो हजार रुपये उड़ा लिए गए।
शिकायत करने पर जवाब मिलता रहा कि सर्वर काम नहीं कर रहा। आपके खाते में क्रेडिट हो जाएगा, मगर ऐसा नहीं हुआ। तब उन्हें अहसास हुआ कि उनके साथ साइबर फ्राड किया गया है। इधर, एसबीआइ बीयू कैंपस शाखा के चीफ मैनेजर अभिषेक कुमार ने बताया कि ग्राहक का योनो लाक हो गया था। इस स्थिति में 24 घंटे में स्वत: एप अनलाक हो जाता है। ग्राहक ने गलत नंबर पर काल किया जिससे वे साइबर फ्राड के शिकार हो गए। मामले में विवि थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई गई है। पुलिस की जांच में सहयोग किया जा रहा है। बैंक खाते से राशि ट्रांसफर का डिटेल्स निकाला जा रहा है।
प्राथमिकी में आइटी एक्ट नहीं लगाया गया : मामले में पुलिस की तरफ से साधारण धाराओं में मामला दर्ज कर लिया गया। जबकि साइबर फ्राड के तहत मामला आने पर आइटी एक्ट लगाना अनिवार्य है। मगर, विवि थाने की पुलिस ने ऐसा नहीं किया।
एसबीआइ योनो में लगातार चल रही समस्या : एसबीआइ योनो एप में लगातार तकनीकी समस्या उत्पन्न हो रही है। इससे बैंक के ग्राहक परेशान हैं। टाल फ्री नंबर पर शिकायत करने के बाद भी सही ढंग से रेस्पांस नहीं लिया जा रहा है।