West Champaran: वाल्मीकि टाइगर रिजर्व में पक्षियों के शिकार के प्रयास में दो गिरफ्तार
गोनौली वन क्षेत्र के छत्रौल डीह टोला सरेह में पक्षियों के शिकार के लिए लगाए गए थे जाल स्थानीय ग्रामीणों के सहयोग से मिली सफलता हरनाटांड़ वन क्षेत्र के वनकर्मियों की टीम ने शिकारियों को दबोच जाल व अन्य सामग्री को जब्त कर किया गोनौली रेंज के हवाले।
पश्चिम चंपारण, जासं। वाल्मीकि टाइगर रिजर्व में अब पक्षियों के शिकार का सिलसिला शुरू हो गया है। यहां आए दिन शिकारियों के द्वारा जाल बिछाकर पक्षियों का शिकार किया जा रहा है। इसी क्रम में गुरुवार की देर शाम हरनाटांड़ से सटे छत्रौल डीह टोला सरेह से वनकर्मियों की टीम ने जाल बिछाकर पक्षियों को फंसाने में लगे दो शिकारियों को धर दबोचा।
लौकरिया थाना क्षेत्र अंतर्गत छत्रौल डीह टोला सरेह में शिकारियों का एक समूह आए दिन पक्षियों को पकड़ते और उनकी तस्करी करते थे। इसकी भनक जब स्थानीय ग्रामीणों को लगी तो उन्होंने इसकी सूचना हरनाटांड़ वन कार्यालय को दी। जिसपर त्वरित कार्रवाई करते हुए हरनाटांड़ रेंजर रमेश कुमार श्रीवास्तव ने वनरक्षी सह प्रभारी वनपाल प्रफुल्ल कुमार के नेतृत्व में वनरक्षी हीरा कुमार साह, वनकर्मी अर्जुन प्रसाद व रामाकांत राम के साथ अन्य टीम को मौके पर भेजा। जहां स्थानीय ग्रामीणों के सहयोग से दो शिकारियों को जाल व चिडिय़ों को पकडऩे वाले अन्य कई उपकरणों के साथ गिरफ्तार किया गया। गिरफ्तार शिकारियों की पहचान रामनगर निवासी कल्लू निस्कार व अफजल मियां के रूप में की गई है।
रेंजर ने बताया कि शिकारियों द्वारा जिस जगह पर पक्षियों के शिकार के लिए जाल लगाया गया था, वो जगह गोनौली वन क्षेत्र के अंतर्गत आता है। इसलिए गिरफ्तार शिकारियों व जब्त जाल व अन्य सामग्रियों को गोनौली वन क्षेत्र को सुपुर्द कर दिया गया है। इधर इस संबंध में गोनौली रेंजर अवधेश प्रसाद ङ्क्षसह ने बताया कि मौके से दो शिकारियों को दो अदद जाल, 56 अदद चिडिय़ा रखने वाला बटुआ, तार एक बंडल, तीन अदद पत्थर, धान एक किलो, एक अदद हथौड़ा, बांस की खुट्टी व रेशम के धागे व अन्य सामग्री के साथ एक जीवित तोते को बरामद किया गया है। जिन पर वन्य प्राणी अधिनियम के तहत मामला दर्ज करते हुए न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।