समस्‍तीपुर मेंं ऑक्सीजन कंसंटेटर मशीन आने से ऑक्सीजन उपलब्धता में परेशानी नहीं

Bihar news फिलहाल समस्‍तीपुर के सभी अस्पतालों में पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन सिलेंडर उपलब्ध कोरोना संक्रमण की वजह से प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट मोड में है। ऑक्‍सीजन खत्‍म होते ही तत्‍काल इसकी आपूर्ति की जाती है ।

By Dharmendra Kumar SinghEdited By: Publish:Thu, 15 Apr 2021 04:50 PM (IST) Updated:Thu, 15 Apr 2021 04:50 PM (IST)
समस्‍तीपुर मेंं ऑक्सीजन कंसंटेटर मशीन आने से ऑक्सीजन उपलब्धता में परेशानी नहीं
सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में उपलब्ध ऑक्सीजन कंसंटेटर । जागरण

समस्तीपुर, जागरण संवाददाता। कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में लगातार वृद्धि से महकमा पूरी तरह अलर्ट मोड में है। इस संक्रमण समेत अन्य गंभीर मामलों में ऑक्सीजन की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए सिलेंडर की भी पर्याप्त व्यवस्था की गई है। प्रशासन का दावा है कि मरीजों को फिलहाल ऑक्सीजन की कमी नहीं हो पाएगी। सदर अस्पताल में फिलहाल 47 ऑक्सीजन सिलेंडर की व्यवस्था की गई थी। सभी में ऑक्सीजन भी पर्याप्त मात्रा में है। ऑक्सीजन खत्म होते ही तत्काल इसमें आपूर्ति की जाती है। 

कोरोना संक्रमितों के बेहतर इलाज के लिए जिले के चार अस्पतालों में बेहतर व्यवस्था है। इसमें अनुमंडलीय अस्पताल रोसड़ा, दलस‍िंहसराय, पटोरी और अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र मोरदीवा में बेड के साथ-साथ पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन सिलेंडर है। अनुमंडलीय अस्पताल दलस‍िहसराय में 110 बेड की व्यवस्था की गई है। इसके अलावा वहां 50 ऑक्सीजन स‍िलेंडर रखा गया है। वहीं 50 बेड पर पाइपलाइन की व्यवस्था के साथ ऑक्सजीन की व्यवस्था रखी गई है। रोसड़ा व पटोरी में भी 110-110 बेड के साथ 60-60 ऑक्सीजन स‍िलेंडर रखा गया है। मोरदीवा में 15 बेड के साथ 15 ऑक्सीजन स‍िलेंडर की व्यवस्था रखी गई है। 

गंभीर मरीजों के लिए संजीवनी का काम करेगा ऑक्सीजन 

सदर अस्पताल में तीन बेड का कोरोना वार्ड बनाया गया है। इसमें पांच-पांच बड़ा ऑक्सीजन सिलेंडर रखा गया है। जिसे पाइपलाइन से जोड़ा गया है। जब से कोरोना महामारी का प्रकोप शुरू हुआ है तब से कोविड अस्पतालों में ऑक्सीजन की पर्याप्त व्यवस्था की गई है। यह कोरोना मरीजों के लिए ही नहीं अन्य गंभीर मरीजों के लिए भी संजीवनी का काम कर रहा है। कोविड अस्पतालों में ऑक्सीजन के लिए बैकअप रखा गया है। 

हवा से बनाई जा रही ऑक्सीजन

कोरोना काल में अस्पतालों में ऑक्सीजन की किल्लत नहीं हो इसके लिए ऑक्सीजन कंसंटेटर की व्यवस्था की गई है। सदर अस्पताल में इसके लिए 10 ऑक्सीजन मशीन उपलब्ध कराई गई है। हवा से ऑक्सीजन तैयार तक मरीजों को सुविधा मिलती है। इससे खर्च भी बचेगा और अस्पताल में निर्बाध ऑक्सीजन मिलती रहेगी। 

स‍िलेंडर में ऑक्सीजन की मात्रा 

बड़े सिलिडर को जंबो कहते हैं। इसमें ऑक्सीजन गैस 150 पाउंड होता है। इसी तरह छोटे सिलिडरों को बी-टाइप कहते हैं। इसमें 100 से 120 पाउंड ऑक्सीजन गैस होती है।

जरूरतमंद से विक्रेता जमा कराते हैं सिक्योरिटी  

कल्पना ऑक्सीजन के संचालक बताते हैं कि जंबो सिङ्क्षलडर के लिए वह आठ हजार रुपये और बी-टाइप सिङ्क्षलडर के लिए चार हजार रुपये की सिक्योरिटी भी जमा कराते हैं। हालांकि खाली सिङ्क्षलडर लौटाने पर यह सिक्योरिटी उपभोक्ता को वापस हो जाती है। 

संक्रमितों की संख्या में लगातार हो रहा इजाफा

जिले में कोरोना संक्रमण तेजी से बढ़ रहा है, हर दिन तीन दर्जन से अधिक लोग कोरोना संक्रमित हो रहे हैं। मार्च की अपेक्षा वर्तमान समय में कोरोना संक्रमितों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। हालांकि, अधिकतर बिना लक्षण वाले मरीज रहने की वजह से फिलहाल समस्या कम है।

सिलेंडर रिफिल‍िंग की कीमत में नहीं हुई वृद्धि

ऑक्सीजन सिलेंडर के रेट में फिलहाल कोई वृद्धि नहीं हुई है। छोटे सिलेंडर में 130 और बड़े में 150 रुपये में रिफिङ्क्षलग हो रही है। फिलहाल बाजार में इसकी डिमांड के हिसाब से सप्लाई हो रही है। खपत बढऩे से आपूर्ति में कोई परेशानी नहीं है। 

ऑक्सीजन की कमी हो ही नहीं सकती

प्रभारी सिविल सर्जन डॉ. सतीश कुमार सिन्हा कहते हैं कि जिले के सभी स्वास्थ्य संस्थानों में बड़ी मात्रा में ऑक्सीजन की आवश्यकता रहती है। इसको लेकर व्यवस्था पहले से ही दुरुस्त रखा गया है। ऑक्सीजन कंसंटेटर तक की व्यवस्था पूरी की गई है। अब ऑक्सीजन की कमी हो ही नहीं सकती है। सदर अस्पताल सहित अन्य स्वास्थ्य में ऑक्सीजन सिलेंडर भरपूर मात्रा में उपलब्ध है। कोविड अस्पतालों में भी समुचित व्यवस्था रखी गई है। 

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