Paschim Champaran: 24 घंटे से ठंडा पड़ा है चूल्हा, मानसून की पहली बारिश में बगहा नगर पानी-पानी
बगहा नगर में बड़े बड़े दावों के बीच जमीनी हकीकत आइना दिखा रही है। नगर के अधिकांश मोहल्लों में जलजमाव की समस्या मुख्य नाले से नहीं है जुड़ाव। वार्ड संख्या चार छह सात और आठ की स्थिति नारकीय भोजन की समस्या।
बगहा (पश्चिम चंपारण), जासं। बड़े-बड़े दावों के बीच जमीनी हकीकत आइना दिखा रही। बरसात की पहली बारिश में नगर के अधिकांश मोहल्ले जलमग्न हो गए। विकास कार्याों के बीच हुई चूक का खामियाजा आम लोगों को उठाना पड़ रहा। सोमवार की सुबह से हो रही बारिश के बीच नगर के मलकौली, पठखौली, नरैनापुर, कैलाशनगर समेत अन्य मोहल्लों की स्थिति नारकीय हो गई। कैलाशनगर मोहल्ले में बीते 24 घंटे से एक दर्जन से अधिक परिवारों का चूल्हा ठंडा पड़ा है। बच्चे भूख से बिलख रहे। घर में बरसात का पानी प्रवेश कर जाने के कारण निकलना मुश्किल है। सांप और कीड़े मकोड़ों का खतरा अलग से है। वार्ड संख्या चार निवासी शंभू राम का घर जलजमाव के कारण ढह गया।
वहीं विजय राम, सिंगासन बीन, होसिला बीन, रामाधार सहनी, ललिता देवी, सुमित्रा देवी, उमेश बैठा आदि के घर में बरसाती पानी प्रवेश कर जाने के कारण भोजन नहीं बन रहा। वार्ड संख्या सात के सब्जान देवान, बांके सहनी, मो. अब्दुल्लाह, जोगिंदर मियां, मदन चौहान व वार्ड संख्या आठ के संवरु गोंड का परिवार भी भूख से बिलख रहा। इन परिवारों ने बताया कि पक्की सड़कों के साथ यदि नालियों का निर्माण हुआ होता तो यह स्थिति न झेलनी पड़ती। सड़कों का पक्कीकरण तो हुआ, लेकिन जल निकासी की कोई व्यवस्था न की गई। उधर, वार्ड संख्या पांच निवासी अशोक पांडेय, मिथिलेश पांडेय, सुधीर पांडेय आदि ने बताया कि बारिश के बाद जलजमाव हो गया है। घर से निकलना भी मुश्किल है। मलकौली निवासी मनोज चौरसिया, अमित कुमार पाठक, सुमन पांडेय, मणि यादव आदि ने आक्रोश जताते हुए कहा कि जलनिकासी के लिए तत्काल व्यवस्था नहीं की गई तो फिर बरसात में नारकीय जीवन जीना होगा।