मुजफ्फरपुर में पीएचसी से बदतर सदर अस्पताल, डीएम ने एक सप्ताह की दी मोहलत
आउटसोर्सिंग पर बहाल सुरक्षा गार्ड व ट्राली मैन का निर्णय डीएम ने सीएस पर छोड़ा जिलाधिकारी ने सिविल सर्जन व विशेषज्ञ चिकित्सकों संग की बैठक सदर अस्पताल में कम डिलीवरी होने पर दिखे नाराज ईएनटी विभाग होगा चालू ।
मुजफ्फरपुर, जासं। सिविल सर्जन साहब कहने को यह सदर अस्पताल है, लेकिन यहां पीएचसी से भी बदतर हालत है। पूरे परिसर में कूड़े का अंबार, मेडिकल कचरा जगह-जगह पर दिखता है। स्त्री रोग विशेषज्ञ की संख्या पर्याप्त है, लेकिन दो-तीन डिलीवरी होना शर्मनाक स्थिति है। जिलाधिकारी प्रणव कुमार ने सोमवार को सदर अस्पताल की व्यवस्था पर जिला गुणवत्ता यकीन समिति की पहली समीक्षा के बाद नाराजगी जताई। डीएम ने कहा कि एक सप्ताह में चिकित्सा सेवा को पटरी पर लाएं। हर हाल में डिलीवरी की संख्या बढ़े। परिसर में सफाई एजेंसी अगर लापरवाही करती है तो उस पर आर्थिक दंड लगाएं।
डीएम ने सदर अस्पताल में कोरोना काल में इलाज व सुरक्षा के नाम पर बहाल करीब सौ सुरक्षा गार्डों व ट्राली मैन को हटाने का निर्णय सीएस पर छोड़ा। कहा कि खुद समीक्षा कर निर्णय लें कि क्या इतने मानवबल की जरूरत है या नहीं। अगर नहीं है तो उचित निर्णय लें। समीक्षा में सिविल सर्जन डा.विनय कुमार शर्मा, केयर इंडिया के जिला समन्यक सौरभ तिवारी, जिला कार्यक्रम प्रबंधक बीपी वर्मा आदि थे।
ये लिए गए निर्णय
सदर अस्पताल परिसर मेें अलग से आई की ओपीडी बनेगी। हड्डी विभाग में नियमित घायल मरीजों का इलाज व प्लास्टर होना सुनिश्चित हो। ईएनटी विभाग के चिकित्सक के लिए राज्य मुख्यालय को पत्र लिख जाएगा। सभी चिकित्सकों का जारी होगा रोस्टर, आउटडोर व इनडोर में काम करने वाले डाक्टर का नाम व मोबाइल नंबर डिस्प्ले होगा। चिकित्सक व कर्मी सभी एप्रान में रहें ताकि यहां आने वाले मरीज उन्हें पहचान सकें। गर्भवती को मिलेगी डिलीवरी गाउन, शिशु वार्ड में बच्चों का इलाज किया जाए।सदर अस्पताल में एक और आक्सीजन प्लांट को जगह चयनित
कोरोना की तीसरी लहर को लेकर हर स्तर पर तैयारी चल रही है। पिछली बार आक्सीजन की कमी से परेशानी हुई थी। इस बार यह कमी नहीं रहे इसके लिए आक्सीजन प्लांट लगाने पर जोर है। सदर अस्पताल में इमरजेंसी व जनरल वार्ड के लिए आक्सीजन प्लांट के स्थल का चयन कर लिया गया है। सोमवार को यूनिसेफ के राजेश कुमार ने बिहार मेडिकल सर्विसेस एंड इंफ्रास्ट्रक्चर कार्पोरेशन लिमिटेड (बीएमएसआइसीएल) के इंजीनियर अरुण यादव के साथ परिसर का निरीक्षण किया। ब्लड बैंक के पास इसका निर्माण किया जाएगा। सिविल सर्जन डा.विनय कुमार शर्मा ने बताया कि आक्सीजन प्लांट लगने के बाद पाइपलाइन से इसकी आपूर्ति वार्ड में की जाएगी। एक सप्ताह के अंदर निर्माण कार्य शुरू हो जाएगा। सीएस ने बताया कि इसके साथ ही पीएचसी स्तर पर पारू व सरैया में आक्सीजन प्लांट लगाए जाएंगे। सदर अस्पताल में पहले से एक प्लांट एमसीएच भवन परिसर में लगा है।