Muzaffarpur Eye hospital: बाएं के बदले दाहिने के आपरेशन कर देलई हो हजूर, पूरा परिवार पर आफत आ गेल

नीरज ने कहा कि अस्पताल के कर्मी को पता था कि जिन 65 लोगों का आपेरशन हुआ। उनकी आंख में संक्रमण है लेकिन उसको दबा दिया गया। जब घर गए तो उसकी आंख से मवाद आने लगा। उसके बाद परेशानी बढ़ गई। आई हास्पिटल में इलाज नहीं हुआ।

By Ajit KumarEdited By: Publish:Sat, 04 Dec 2021 11:15 AM (IST) Updated:Sat, 04 Dec 2021 11:15 AM (IST)
Muzaffarpur Eye hospital: बाएं के बदले दाहिने के आपरेशन कर देलई हो हजूर, पूरा परिवार पर आफत आ गेल
एसकेएमसीएच से लेकर सदर अस्पताल तक भटक रहे मरीज। फोटो- जागरण

मुजफ्फरपुर, जासं। बाएं के बदले दाहिने के आपरेशन कर देलई हो हजूर...। अब पूरा परिवार पर आफत आ गेल। इतना कहते ही नीरज कुमार की आंख डबडबा गईं। झपहां द्रोणपुर के नीरज कुमार ने आपबीती सुनाई। बताया कि उसके पिता शत्रुघ्न महतो को लेकर 21 को मुजफ्फरपुर आई हास्पिटल आए थे। वहां 22 को आपरेशन हुआ। 23 को कई मरीजों ने शिकायत की कि उनका आंख नहीं खुल रही है। वहां के कर्मियों ने बताया कि घर पर जाकर गर्म पानी से सेंक करिए सब ठीक हो जाएगा। नीरज ने कहा कि अस्पताल के कर्मी को पता था कि जिन 65 लोगों का आपेरशन हुआ। उनकी आंख में संक्रमण है, लेकिन उसको दबा दिया गया। जब घर गए तो उसकी आंख से मवाद आने लगा। उसके बाद परेशानी बढ़ गई। तब यहां पर आए। आई हास्पिटल में इलाज नहीं हुआ। वहां से एक निजी अस्पताल में गए वहां पर पांच सौ शुल्क लिया गया। शुल्क लेने के बाद भी बताया गया कि दस हजार की राशि फीस जमा करें आंख निकालना होगा। उसके बाद सीएस से मिले अब यहां एसकेएमसीएच में आकर आपरेशन कराना पड़ा है।

एक आंख त निकल गेल अब दर्द से तबाह 

भरत पंडित एसकेएमसीएच में भर्ती है। उनका एक आंख निकाल लिया गया, लेकिन उनके दूसरे आंख से दर्द नहीं जा रहा है। वह तबाह है। एसकेएमसीएच अस्पताल प्रबंधन की ओर से सही तरीके से इलाज चल रहा है, लेकिन आई हास्पिटल में जिस तरह से इलाज हुआ उसकी याद कर स्वजन सहम जा रहे है।

मेडिकल बोर्ड का होगा गठन, एक से पूछताछ

मुजफ्फरपुर : एसएसपी जयंत कांत ने कहा कि आई हास्पिटल मामले में मेडिकल बोर्ड का शीघ्र गठन किया जाएगा। इसकी कवायद की जा रही है। कहा जा रहा कि बोर्ड के रिपोर्ट के तहत पुलिस की तरफ से आगे की कार्रवाई की जाएगी। हालांकि यह सब बातें नियम बताने को हंै। कहा जा रहा कि पुलिस अपने स्तर से गोपनीय तरीके से जांच कर साक्ष्य जुटाने में जुट गई है। मामले में शुक्रवार को एक आरोपित को थाने पर बुलाकर पूछताछ कर जानकारी ली गई, मगर पुलिस की तरफ से इससे इन्कार किया गया है। बता दें कि किसी भी घटना का मामला दर्ज होने के बाद पुलिस की तरफ से घटनास्थल की छानबीन की जाती है। आवेदक का पुन : बयान दर्ज किया जाता है। ब्रह्मïपुरा पुलिस इस मामले में इन सभी में से शुक्रवार को कोई भी कार्रवाई नहीं कर सकी। पुलिस का कहना है कि सभी कार्रवाई की जाएगी, मगर वरीय अधिकारियों के निर्देश का इंतजार है।

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