मुजफ्फरपुर: जिला राजस्व व निबंधन अभिलेखागार मामले की अपर समाहर्ता करेंगे जांच

डीएम प्रणव कुमार ने मामले की जांच का आदेश दिया है। अपर समाहर्ता राजेश कुमार मामले की जांच करेंगे। डीएम ने कहा कि शिकायतकर्ता को उन्होंने बुलाया था मगर निर्धारित समय तक वे नहीं आए। अपर समाहर्ता मामले की जांच कर इसकी रिपोर्ट देंगे।

By Ajit KumarEdited By: Publish:Thu, 05 Aug 2021 07:46 AM (IST) Updated:Thu, 05 Aug 2021 07:46 AM (IST)
मुजफ्फरपुर: जिला राजस्व व निबंधन अभिलेखागार मामले की अपर समाहर्ता करेंगे जांच
जनता दरबार में नकल के बदले पैसा लिए जाने की शिकायत के बाद डीएम ने दिया आदेश। फोटो- जागरण

मुजफ्फरपुर, जासं। जिला राजस्व एवं निबंधन अभिलेखागार में नकल के बदले पैसा लिए जाने की सीएम से शिकायत को प्रशासन ने भी गंभीरता से लिया है। डीएम प्रणव कुमार ने मामले की जांच का आदेश दिया है। अपर समाहर्ता राजेश कुमार मामले की जांच करेंगे। डीएम ने कहा कि शिकायतकर्ता को उन्होंने बुलाया था, मगर निर्धारित समय तक वे नहीं आए। अपर समाहर्ता मामले की जांच कर इसकी रिपोर्ट देंगे। मालूम हो कि पुरुषोत्तमपुर के युवक शिवम कुमार ने सोमवार को सीएम के जनता दरबार में शिकायत की थी। इसमें कहा था कि जिला राजस्व एवं निबंधन अभिलेखागार में बिचौलियों का दबदबा है। किसी भी नकल के लिए अलग से राशि देनी होती है। साथ ही कर्मचारी मुख्यमंत्री के बारे में अभद्र शब्दों का इस्तेमाल करते हैं। सीएम ने तत्काल मामले की जांच का आदेश राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव को दिया था।

राजस्व अभिलेखागार में पसरा रहा सन्नाटा

आमतौर पर लोगों की भीड़ वाली जगह राजस्व अभिलेखागार के बाहर मंगलवार को सन्नाटा था। बाहर होमगार्ड के जवान जरूर पहरा देते दिखाई दिए। प्रभारी पदाधकारी तरणिजा ने भी दो-तीन बार आकर निरीक्षण किया। सभी सीसीटीवी कैमरे भी आज काम कर रहे थे। अचानक से यह बदलाव शिकायत का ही असर था। हालांकि कुछ दूरी पर अभिलेखागार के आसपास हमेशा रहने वाले बिचौलिये जरूर नजर आए, मगर वे सतर्क थे। देखना यह है कि यह स्थिति कब तक कायम रहती है।  

सांसद व विधान मंडल के सदस्यों के पत्रों को तत्काल निपटाने का निर्देश

जासं, मुजफ्फरपुर : सांसद व विधान मंडल के सदस्यों के पत्रों को तत्काल निपटाने का निर्देश जारी किया गया है। जिलाधिकारी प्रणव कुमार ने इसको लेकर सभी जिला स्तरीय पदाधिकारी, बीडीओ व सीओ को पत्र भेजा है। कहा है कि संसदीय कार्य विभाग द्वारा इससे संबंधित पत्र जारी हुआ है, जिसमें कहा गया कि सांसद व विधान मंडल के सदस्य जनता के अधिकृत प्रतिनिधि के रूप में हमारे जनतंत्रीय ढांचे में महत्वपूर्ण स्थान रखते हैं। इसलिए अपने कर्तव्य के निर्वहन के क्रम में इन्हें प्राय : भारत सरकार के मंत्रालयों, विभागों तथा राज्य सरकार के विभागों से सूचना मांगने व उनके विचारार्थ सुझाव देने के साथ मुलाकात करना आवश्यक हो जाता है। इसलिए सांसद तथा विधानमंडल के सदस्यों के पत्रों को तत्काल निपटाएं। डीएम ने पत्र में कहा कि इन निर्देेशों का अनुपालन नहीं किए जाने के दृष्टांत पाए गए हैं। इसको लेकर प्रशासन, सांसद तथा विधानमंडल के सदस्यों की सरकारी कार्य व्यवहार में उचित प्रक्रियाओं के अनुपालन के संबंध में भारत सरकार एवं बिहार सरकार के द्वारा निर्देश निर्गत है। इसलिए निर्गत निर्देश को परिचालित कर इनका अक्षरश: अनुपालन सुनिश्चित किया जाए।

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