भारतीय महिलाओं में अपार क्षमता

आरडीएस कॉलेज एवं भारतीय महिला दार्शनिक परिषद के संयुक्त तत्वावधान में लैंगिक समानता एवं भारतीय परिप्रेक्ष्य में महिलाओं के अधिकार विषय पर स्नातकोत्तर दर्शनशास्त्र विभाग की ओर से आयोजित सात दिवसीय राष्ट्रीय वेब व्याख्यानमाला के द्वितीय दिन मुख्य वक्ता के रूप में आईसीपीआर नई दिल्ली एवं भारतीय महिला दार्शनिक परिषद की अध्यक्ष प्रो.राजकुमारी सिन्हा ने कहा कि भारतीय नारी आपदा को अवसर में बदलने की क्षमता रखती हैं।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 10 Aug 2020 01:58 AM (IST) Updated:Mon, 10 Aug 2020 06:13 AM (IST)
भारतीय महिलाओं में अपार क्षमता
भारतीय महिलाओं में अपार क्षमता

मुजफ्फरपुर। आरडीएस कॉलेज एवं भारतीय महिला दार्शनिक परिषद के संयुक्त तत्वावधान में लैंगिक समानता एवं भारतीय परिप्रेक्ष्य में महिलाओं के अधिकार विषय पर स्नातकोत्तर दर्शनशास्त्र विभाग की ओर से आयोजित सात दिवसीय राष्ट्रीय वेब व्याख्यानमाला के द्वितीय दिन मुख्य वक्ता के रूप में आईसीपीआर नई दिल्ली एवं भारतीय महिला दार्शनिक परिषद की अध्यक्ष प्रो.राजकुमारी सिन्हा ने कहा कि भारतीय नारी आपदा को अवसर में बदलने की क्षमता रखती हैं। महिलाओं को समाज द्वारा फैलाए भ्रम जाल से निकलना ही होगा। बिहार विश्वविद्यालय के प्रॉक्टर सह विशिष्ट वक्ता प्रो.राकेश कुमार सिंह ने कहा कि भारत में लिग भेद तथा महिलाओं के अधिकार पर चर्चा बराबर होती रहती है। भारत सरकार को इस पर निर्णय लेते हुए महिलाओं के उत्थान के लिए चलाए गए कार्यक्रमों को जमीन पर उतारना होगा। अध्यक्षीय संदेश देते हुए प्राचार्य डॉ.ओम प्रकाश सिंह ने कहा कि दर्शनशास्त्र विभाग एवं भारतीय दार्शनिक महिला परिषद के संयुक्त तत्वाधान में चल रहे राष्ट्रीय वेब व्याख्यानमाला स्त्री विमर्श एवं उनके अधिकार की दिशा में नई रूपरेखा स्तुत करेगा। नारी अधिकार को लेकर शोध के नए आयामों पर भी रूपरेखा बनने की उम्मीद है। अन्य वक्ताओं में सीसीडीसी प्रो.अमिता शर्मा, डॉ.इंदिरा कुमारी, डॉ.अनीता घोष, डॉ.अनीता सिंह, प्रो.रजनीश कुमार गुप्ता रहे। संचालन संयोजक डॉ.रेखा श्रीवास्तव ने किया। इंटरएक्टिव सेशन का संचालन डॉ.पयोली ने किया। धन्यवाद ज्ञापन प्रो.राजीव कुमार ने किया। स्वदेशी उत्पादों के प्रयोग पर जोर मारवाड़ी युवा मंच की संस्कृति शाखा की ओर से रविवार को आत्म निर्भर भारत विषयक वेबिनार का आयोजन हुआ। इसमें मिट्टी के बरतन, मधुबनी पेंटिग और खादी कपड़े के प्रयोग पर चर्चा की गई। स्वदेशी उत्पादों के प्रयोग पर जोर दिया गया। कार्यक्रम संयोजिका आरती अग्रवाल, अध्यक्ष प्रीति पोद्दार, सचिव प्रियंका तुलस्यान, प्रांतीय अध्यक्ष प्रशांत खंडेलिया, उज्जवल तुलस्यान, हरिश जिदल आदि मौजूद रहे।

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