पश्चिम चंपारण में सरकारी जमीन पर अवैध निर्माण का खेल, प्रशासन भी पस्त
West Champaran News पश्चिम चंपारण के बेतिया में अतिक्रमणकारी मस्त अंचल कार्यालय से 100 मीटर दूरी पर किया जा रहा अवैध निर्माण बेतिया राज की भूमि पर अवैध कब्जा। बेखौफ तरीके से अतिक्रमणकारी करा रहे हैं पक्का निर्माण।
पश्चिम चंपारण, जासं। नगर में इन दिनों पुनः अतिक्रमण की बाढ़ आनी शुरू हो गई है। ऐसे में कई बार समाचार पत्र के माध्यम से अतिक्रमण के विषय में प्रमुखता से प्रकाशित किया जाता हैं। लेकिन बेतिया राज व अंचल कार्यालय, नगर निगम कार्यालय के अगल-बगह अतिक्रमणकारी अवैध रूप से अतिक्रमण कर रहे है। उसी क्रम अंचल कार्यालय गेट के आस-पास अवैध निर्माण का खेल चल रहा है। अतिक्रमण पर नजर डाले तो यहां से अंचल कार्यालय की दूरी महज 100 मीटर भी नहीं है। हाकीम के साथ अंचल के तमाम कर्मचारी और पदाधिकारी भी इस रास्ते से गुजरते हैं। यहां अधिकारियों के नाक के नीचे बेतिया राज की भूमि पर अवैध कब्जा हो रहा है। बुलंद हौसले के साथ अतिक्रमणकारी पक्का निर्माण करा रहे है। उनमें ना किसी का डर हैं ना खौफ। हौसला इस कदर बुलंद हैं कि अंचलाधिकारी के मौखिक आदेश के बाद भी उनका काम जारी रहता है।
छह माह से जारी था पक्का निर्माण
अतिक्रमणकारियों के कार्य प्रगति पर नजर डालते हैं तो पक्का निर्माण को पूरा कराने में तकरीबन छह माह से कम लगे होंगे। बावजूद प्रशासनिक हाकीमों की नजर निर्माण के अंतिम पैदान पर जाती है। जहां छह की ढ़ालने के लिए सेंटिंग का काम किया जाता है। यूं कहें निर्माण लगभग फाईनल हो गई है। मात्र छत ढ़ालने की देरी है। सूत्र बताते हैं कि अतिक्रमणकारी सबसे पहले खुटा-खम्बा लगाकर अतिक्रमण करने का काम शुरू करते है। उसके बाद धीरे-धीरे निर्माण पक्का होने लगता है। प्रश्न उठता हैं कि जिस रास्ते से प्रतिदिन प्रशासन के हाकीम व कर्मचारी गुजरते हैं उन्हें इसपर नजर क्यों नहीं गई? ऐसे में अतिक्रमणकारियों के आगे प्रशासन पस्त दिखाई देते नजर आ रही है।
- अंचल के आस-पास की हो रहे अतिक्रमण पर रोक लगा दी गई है। जमीन किसकी हैं अंचल की हैं या फिर बेतिया राज की अन्यथा नगर निगम की है। इसकी जांच कराई जाएगी। फिलहाल निर्माण कार्य पर रोक लगा दिया गया है। -श्यमाकान्त बेतिया अंचलाधिकारी