ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय में बोले पूर्व कुलपति, रिटेल एवं ई-कॉमर्स में समन्वय की आवश्यकता

Darbhanga News ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के वाणिज्य विभाग में अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का हुआ समापन वक्ताओं ने रखे अपने विचार पूर्व कुलपति प्रो एसएम झा ने कहा सूचना प्रौद्योगिकी ने मानव जीवन के प्रत्येक पहलू को किया है प्रभावित।

By Dharmendra Kumar SinghEdited By: Publish:Sun, 26 Sep 2021 03:57 PM (IST) Updated:Sun, 26 Sep 2021 03:58 PM (IST)
ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय में बोले पूर्व कुलपति, रिटेल एवं ई-कॉमर्स में समन्वय की आवश्यकता
ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के वाणिज्य विभाग में अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन हुआ।

दरभंगा, जासं। ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर वाणिज्य एवं व्यवसाय प्रशासन विभाग के तत्वाधान में ई-कॉमर्स चुनौतियां एवं संभावनाएं विषय पर दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन के अंतिम दिन आनलाइन एवं ऑफलाइन रूप में शिक्षकों ने सम्मेलन को संबोधित किया। मुख्य अतिथि के रूप में पूर्व कुलपति प्रो एसएम झा ने कहा कि सूचना प्रौद्योगिकी ने मानव जीवन के प्रत्येक पहलू को प्रभावित किया है। रोजमर्रा की बातों में भी तकनीकी दखल बढ़ा है। हम इलेक्ट्रानिक माध्यम का धड़ल्ले उपयोग कर रहे हैं। व्यवसायिक गतिविधियां भी ऑनलाइन हो चुकी है। ई. कॉमर्स का दायरा दिनों दिन बढ़ता ही जा रहा है।

भारतीय ई-कॉमर्स बाजार वर्ष 2024 तक 99 बिलियन अमेरिकी डॉलर का हो जाएगा। आनलाइन खरीदारों की संख्या 220 मिलियन हो जाएगी। नए-नए विक्रेता ई-कॉमर्स बाजार में प्रवेश कर रहे है। डिजिटल इंडिया अभियान से भारतीय अर्थव्यवस्था में ऑनलाइन बाजार का दायरा बढ़ेगा। उन्होंने ई-कॉमर्स के बढ़ते चलन के खतरों से भी आगाह किया और परंपरागत रिटेल व्यवसाय को बचाए रखने की आवश्यकता जताई। परंपरागत रिटेल व्यवसाय एवं ई-कॉमर्स के बीच संतुलन आवश्यक है।व्यवसाय का स्वरूप तेजी से बदल रहा है।

दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन के दूसरे दिन दो सत्र आयोजित हुए। पहला सत्र तकनीकी सत्र एवं दूसरा समापन सत्र था। तकनीकी सत्र का आयोजन प्रो. आईसी वर्मा की अध्यक्षता में हुआ। सत्र की प्रतिवेदिका रितिका मौर्य एवं समन्वयक डा. एसके ठाकुर थे। समापन सत्र में अतिथियों का स्वागत डा. आईडी प्रसाद ने किया। सम्मेलन में डा. संत कुमार चौधरी, यूक्रेन के राजनयिक प्रो. ईवान,कुवैत के इंजीनियर दीपक चौधरी एवं बांग्लादेश के डा. धनंजोय कुमार आनलाइन शामिल थे। सम्मेलन में देश के विभिन्न प्रांतों के प्रतिभागियों के साथ-साथ नेपाल, बंगलादेश, रूस, कुवैत, यूक्रेन, इजिप्ट एवं अमेरिका के अतिथियों तथा प्रतिभागियों की सहभागिता दिखी। विभागीय शिक्षक डा. आशीष कुमार के संचालन में आयोजित समापन सत्र में सम्मेलन के आयोजक सचिव प्रो. अजीत कुमार सिंह ने धन्यवाद ज्ञापन किया।

ई कामर्स का क्षेत्र व्यापक

अध्यक्षीय संबोधन में प्रतिकुलपति प्रो. डाली सिन्हा ने कहा कि ई कॉमर्स का क्षेत्र व्यापक है। इसमें अपार संभावनाएं और उनके समुचित दोहन की जरूरत है। वाणिज्य एवं प्रबंधन के छात्र ई-कॉमर्स के क्षेत्र में काफी आगे बढ़ सकते हैं। बिहार के कलाकारों द्वारा निर्मित हस्तशिल्प उत्पाद, मिथिला पेंटिंग, मखाना उत्पाद एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद की ई. कॉमर्स द्वारा ज्यादा व्यापारिक संभावना है। समापन सत्र के वक्ता वाणिज्य एवं व्यवसाय प्रशासन के प्रोफेसर एलपी सिंह ने कहा कि डिजिटल क्रांति ने उपभोक्ता व्यवहार में दखल दिया है।

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