मांगे नहीं मानी गई तो 10 को धरना और 12 से आमरण अनशन

मुंगेर। संविदाकर्मी अपनी मांगों को लेकर गुरूवार को मुंगेर विश्वविद्यालय पहुंचे। वे कुलपति स

By JagranEdited By: Publish:Fri, 04 Dec 2020 12:39 AM (IST) Updated:Fri, 04 Dec 2020 12:39 AM (IST)
मांगे नहीं मानी गई तो 10 को धरना और 12 से आमरण अनशन
मांगे नहीं मानी गई तो 10 को धरना और 12 से आमरण अनशन

मुंगेर। संविदाकर्मी अपनी मांगों को लेकर गुरूवार को मुंगेर विश्वविद्यालय पहुंचे। वे कुलपति से मिलकर अपना मांग पत्र सौंपना चाहते थे। लेकिन विश्वविद्यालय प्रशासनिक भवन में प्रतिनियुक्त सुरक्षा बल द्वारा उन्हे गेट पर ही रोक दिया। जिससे वाद संविदाकर्मियों में आक्रोश गहराने लगा। बता दें कि संविदा कर्मी कार्य के एवज में करीब 18 माह से वेतन नहीं मिलने एवं आश्वासन के बावजूद 11 महीने का सेवा विस्तार नहीं देने से नाराज 7 से 8 कॉलेजों के दर्जनों संविदाकर्मी विश्वविद्यालय आ पहुंचे। वे बकाये मानदेय एवं 11 महीने के सेवा विस्तार पर निर्णायक बात करना चाहते थे। मगर कुछ देर उन्हें विश्वविद्यालय मुख्य गेट पर ही रोक दिया गया। उसके बाद मुंगेर विश्वविद्यालय के कुलसचिव कर्नल विजय कुमार ठाकुर, प्रोक्टर संजय कुमार एवं आरडी एंड डीजे कॉलेज के प्राचार्य डॉ. गोपाल प्रसाद यादव संविदाकर्मियों से वार्ता करने मुख्य द्वार के गेट पर पहुंचे। वार्ता के बावजूद संविदाकर्मी असंतुष्ट नजर आए। संविदाकर्मियों का साफ कहना था कि इस बार हमलोग आश्वासन के झांसे में आने वाले नहीं हैं। कई महीनों से हमलोगों को आश्वासन दिया जा रहा है।

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मांगें नहीं मानी गई तो 10 को संविदा कर्मी देंगे धरना

संविदाकर्मी आरएस कॉलेज, तारापुर के संतोष चौधरी, केएमडी कॉलेज परबत्ता के आशीष कुमार, केडीएस कॉलेज, गोगरी के बबलू कुमार, कोशी कॉलेज, खगड़िया के ओम कुमार, आदि ने कहा कि विवि द्वारा गठित कमिटी के साथ वार्ता संतोषजनक नहीं रहा। अगर नौ दिसंबर तक संविदाकर्मियों को बकाये 18 माह के मानदेय का भुगतान, 11 महीने का सेवा विस्तार, 10 फीसदी वार्षिक मानदेय बढ़ोत्तरी, सेवा अंतराल की अवधि का भुगतान, ससमय मानदेय भुगतान, राज्य कर्मचारियों की भांति सीएल की व्यवस्था पर अमल नहीं होता है, तो 10 दिसंबर को धरना और 12 दिसंबर से आमरण अनशन किया जाएगा।

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बोले कुलपति

कुलपति डॉ. रंजीत कुमार वर्मा ने बताया कि संविदाकर्मी के मांगों को लेकर प्रक्रिया चल रही है। अगले सात कार्य दिवस के अंदर विश्वविद्यालय बकाये मानदेय के भुगतान का आदेश कर दिया जाएगा। संविदाकर्मियों के सेवा विस्तार की तकनीकी अड़चनों को दूर करते हुए नए नियम के लागू होने या 11 महीने का सेवा विस्तार में जो भी पहले होगा, उसका अनुपालन किया जाएगा।

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