वृद्ध पेंशनधारियों के टीकाकरण को पंचायतवार लक्ष्य निर्धारित

मधुबनी। पंडौल प्रखंड कार्यालय ने पत्र जारी कर प्रखंड के सभी 26 पंचायतों में 60 वर्ष से अधिक उम्र

By JagranEdited By: Publish:Sat, 03 Apr 2021 12:04 AM (IST) Updated:Sat, 03 Apr 2021 12:04 AM (IST)
वृद्ध पेंशनधारियों के टीकाकरण को पंचायतवार लक्ष्य निर्धारित
वृद्ध पेंशनधारियों के टीकाकरण को पंचायतवार लक्ष्य निर्धारित

मधुबनी। पंडौल प्रखंड कार्यालय ने पत्र जारी कर प्रखंड के सभी 26 पंचायतों में 60 वर्ष से अधिक उम्र के वृद्धा पेंशनधारियों के कोविड-19 टीकाकरण के लिए पंचायतवार लक्ष्य निर्धारित कर दिया है। सूची में प्रखंडवार 60 वर्ष से अधिक उम्र के पेंशनधारियों के टीकाकरण का निर्देश दिया गया है। सूची के अनुसार प्रखंड के संकोर्थू पंचायत में सर्वाधिक 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोग रहते हैं। 26 पंचायतों में से सर्वाधिक वृद्धों की आबादी संकोर्थू पंचायत की है। वहीं, सर्वाधिक युवाओं वाला पंचायत सकरी पश्चिमी है। जहां सबसे कम वृद्धा पेंशनधारी लाभुक हैं। सर्वाधिक वृद्ध संकोर्थु में 1573 हैं तो सबसे कम सकरी पश्चिमी में महज 329 ही हैं। श्रीपुर हाटी उत्तरी में 872, श्रीपुर हाटी दक्षिणी में 869, श्रीपुर हाटी मध्य में 944, दहिवत माधोपुर पश्चिमी में 898, दहिवत माधोपुर पूर्वी में 660, पंडौल पश्चिमी में 1058, पंडौल मध्य में 914, पंडौल पूर्वी में 886, सागरपुर में 742, मोकरमपुर में 993, नरपतिनगर में 790, सकरी पश्चिम में 329, सकरी पूर्वी में 567, मेघौल में 808, भवानीपुर में 756, पचाढ़ी में 878, बेलाही में 738, भौर में 822, बथने में 838, उदयपुर बिठुआर में 935, भगवतीपुर में 843, सलेमपुर में 686, बिरौल में 935, सरिसब पाही पश्चिमी में 893, सरिसब पाही पूर्वी में 876 वृद्धा पेंशनधारी लाभुक हैं। जिनका टीकाकरण कराया जाना है। उक्त लक्ष्य की पूर्ति के लिए संबंधित पंचायत के कार्यपालक सहायक, आशा कार्यकर्ता व विकास मित्रों को निर्देश दिया गया है कि वे कोविड वैक्सीन कैंप लगने पर उक्त सभी पेंशन धारियों को टीकाकरण कैंप पर ले जाकर टीका दिलवाए। साथ ही यह भी निर्देश दिया गया है कि वैसे सभी पेंशन धारी जिनकी उम्र 60 वर्ष से अधिक हो गई है, लेकिन डेटाबेस में उम्र कम दिख रहा है, वैसे सभी पेंशन धारी यथा विधवा पेंशनधारी, दिव्यांग पेंशनधारियों को भी नजदीकी स्वास्थ्य उपकेंद्र या प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर टीकाकरण कराना सुनिश्चित करें। बता दें कि प्रखंड के सभी पंचायतों में उक्त सूची के अतिरिक्त वैसे वृद्धापेंशनधारी भी हैं जिन्हें चार वर्ष पूर्व पेंशन मिलती थी, लेकिन आरटीजीएस के माध्यम से जबसे भुगतान होने लगा है, तब से सैकड़ों लाभुक विभागीय त्रुटी के कारण दर-दर भटक रहे हैं। दर्जनों जिवित वृद्धा पेंशनधारियों को विभाग ने अपने रिकार्ड में मृत घोषित कर रखा है।

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