शहर के कोचिग सेंटरों के संचालकों में हड़कंप, बोर्ड-बैनर रातो-रात गायब

दैनिक जागरण में कोचिग सेंटरों को लेकर लगातार प्रकाशित खबर से शहर में धड़ल्ले से चल रहे गैर निबंधित कोचिग सेंटरों के संचालकों में हड़कंप देखा जा रहा है।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 11 Jun 2019 12:05 AM (IST) Updated:Tue, 11 Jun 2019 06:31 AM (IST)
शहर के कोचिग सेंटरों के संचालकों में हड़कंप, बोर्ड-बैनर रातो-रात गायब
शहर के कोचिग सेंटरों के संचालकों में हड़कंप, बोर्ड-बैनर रातो-रात गायब

मधुबनी। दैनिक जागरण में कोचिग सेंटरों को लेकर लगातार प्रकाशित खबर से शहर में धड़ल्ले से चल रहे गैर निबंधित कोचिग सेंटरों के संचालकों में हड़कंप देखा जा रहा है। कोचिग सेंटरों से जुड़ी लगातार खबरों के प्रकाशन व स्थानीय अग्निशमन दल और शिक्षा विभाग के हरकत में आने के साथ शहर में चल रहे गैर निबंधित अनेकों कोचिग सेंटरों के बोर्ड-बैनर रातोरात गायब नजर आने लगे हैं। अधिकांश गैर निबंधित कोचिग सेंटरों में ताला लटकता नजर आ रहा है। वहीं विभागीय कार्रवाई से बचने के लिए कई गैर निबंधित कोचिग सेंटरों के संचालकों को स्थानीय शिक्षा विभाग के कार्यालय का चक्कर लगाते देखा जा रहा है। मेडिकल, इंजीनियरिग सहित अन्य विषयों की बेहतर तैयारी के लिए कोचिग सेंटरों में निबंधन की नियमों की अनदेखी की जा रही है। अधिकांश कोचिग सेंटरों में अगलगी की आशंका के मद्देनजर अग्निश्मन यंत्र नजर नहीं आता हैं। हाल ही में शहर के कोचिग सेंटरों का अग्निशमन दल द्वारा निरीक्षण किया गया था। जिसमें अग्निशमन यंत्र नही पाए जाने वाले कोचिग सेंटरों को नोटिस किया गया है। विभागीय कार्रवाई नही होने से कोचिग सेंटरों का लगातार संचालन जारी शहर प्रावधानों की अनदेखी पर विभागीय कार्रवाई नही होने से कोचिग सेंटरों का लगातार संचालन जारी है। कोचिग सेंटरों का संचालन का व्यापार दिन प्रति दिन फैलता जा रहा है। कोचिग सेंटरों में संसाधन की कमी होने के बाद भी बेहतर शिक्षा के आकर्षक बोर्ड देखने को मिल जाता है। इन कोचिग सेंटरों के द्वारा निबंधन के प्रावधान को ठेंगा दिखाया जाता रहा है। शहर के कीर्तन भवन रोड, टाउन क्लब रोड, महाराजगंज, लहेरियागंज, सूड़ी स्कूल रोड, गांधी चौक, स्टेशन रोड सहित अन्य हिस्सों में कुकुरमुते की तरह संचालित अधिकांश कोचिग सेंटरों में अगलगी की आशंका के मद्देनजर अग्निश्मन यंत्र नजर नहीं आता हैं। सेंटरों की संख्या करीब 200 से अधिक बतायी गई है। कुव्यवस्था के कारण सरकारी शिक्षण संस्थानों में पठन-पाठन व्यवस्था चौपट अवकाशप्राप्त शिक्षक गणेश झा का कहना है कि सरकार की शिक्षा नीति में कुव्यवस्था के कारण सरकारी शिक्षण संस्थानों में पठन-पाठन व्यवस्था चौपट होने से कोचिग सेंटरों को बढ़ावा मिला है। सरकारी शिक्षण संस्थानों में पठन-पाठन में सुधार लाने के साथ कोचिग सेंटरों के संचालन पर पूरी तरह रोक लगाने की जरूरत है। अवकाशप्राप्त शिक्षक भोला महतो का कहना है कि भवन व शौचालय जैसी बुनियादी सुविधाओं का अभाव अधिकांश कोचिग सेंटरों में देखा जाता है। धड़ल्ले से खोले जा रहे कोचिग सेंटरों के संचालन पर रोक लगना चाहिए। है। शहर में संचालित अनेक कोचिग सेंटरों की जर्जर छत होने से बच्चों पर खतरा मंडराता रहता है। वहीं मधुबनी शहर स्थित संचालित स्थित एक कोचिग सेंटर के डायरेक्टर राजेश झा ने बताया कि गैर निबंधित कोचिग सेंटरों के संचालन पर रोक लगाया जाना आवश्यक है। इधर प्रभारी जिला शिक्षा पदाधिकारी ने बताया कि जिले में संचालित कोचिग सेंटरों के निबंधन सहित अन्य नियमों को लेकर समुचित कार्रवाई शुरू कर दी गई है।

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