पटरी पर 68 दिन बाद दौड़ी एक्सप्रेस ट्रेनें, चढ़े-उतरे यात्री

लखीसराय । अनलॉक-1 के पहले दिन सोमवार को 68 दिन बाद एक्सप्रेस ट्रेनों का परिचालन शुरू हुआ।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 01 Jun 2020 06:03 PM (IST) Updated:Mon, 01 Jun 2020 06:03 PM (IST)
पटरी पर 68 दिन बाद दौड़ी एक्सप्रेस ट्रेनें, चढ़े-उतरे  यात्री
पटरी पर 68 दिन बाद दौड़ी एक्सप्रेस ट्रेनें, चढ़े-उतरे यात्री

लखीसराय । अनलॉक-1 के पहले दिन सोमवार को 68 दिन बाद एक्सप्रेस ट्रेनों का परिचालन शुरू हुआ। पूर्व घोषित तिथि के अनुसार पहली ट्रेन के रूप में पटना से हावड़ा तक जाने वाली जनशताब्दी एक्सप्रेस निर्धारित समय से करीब आधा घंटा विलंब से लखीसराय स्टेशन पहुंची। किऊल रेल थानाध्यक्ष सुधीर कुमार सिंह की निगरानी में जीआरपी और आरपीएफ के जवान स्टेशन पर मौजूद थे। लॉकडाउन में फंसे सौ से अधिक महिला-पुरूष यात्रियों ने लखीसराय से आसनसोल व हावड़ा तक कि यात्री की। वहीं करीब 40 से अधिक यात्री पटना से लखीसराय अपने घर लौटे। इसमें अधिकांश छात्र-छात्राएं थे जो लॉकडाउन में पटना में फंसे हुए थे। स्टेशन पर ट्रेन से उतरते ही इन यात्रियों के चेहरे पर अपने घर लौटने की खुशी झलक रही थी। स्टेशन पर ट्रेन पकड़ने आए सभी यात्री मास्क पहने हुए थे। शारीरिक दूरी बनाकर प्लेटफॉर्म पर खड़ा रहे। दूसरी ट्रेन दानापुर-टाटा एक्सप्रेस ट्रेन को रद कर दिया गया। उधर किऊल स्टेशन पर अपराह्न तक पूर्वा एक्सप्रेस ट्रेन नहीं पहुंची थी। ब्रह्मपुत्र मेल एक्सप्रेस ट्रेन मंगलवार को किऊल आएगी।

ट्रेन के निर्धारित समय से एक घंटा पहले स्टेशन पहुंचे यात्री

लॉक डाउन के दौरान पिछले दो महीने से लखीसराय रेलवे स्टेशन पर आम लोगों की इंट्री बंद थी। सोमवार की सुबह रेल प्रशासन द्वारा स्टेशन पर लगा बैरिकेडिग हटा दिया गया था। जनशताब्दी एक्सप्रेस ट्रेन के निर्धारित समय से करीब एक घंटा पूर्व सुबह छह बजे से ही यात्री स्टेशन पहुंचने लगे। स्टेशन के मुख्य द्वार पर ही सभी यात्रियों को रोककर उनके सामानों को सैनिटाइजिग किया गया। इसके बाद प्लेटफॉर्म पर प्रवेश की अनुमति दी गई। हालांकि कई यात्रियों के साथ उनके स्वजन भी थे जो ट्रेन पकड़वाने आए थे। करीब साढ़े छह बजे बुकिग सुपरवाइजर संजय दास के साथ सीनियर बुकिग क्लर्क ओपी अम्बष्ठ, बुकिग क्लर्क प्रकाश कुमार, संजय कुमार, कंचन कुमार नवनिर्मित तीन नंबर प्लेटफार्म पर यात्रियों के यात्रा टिकट की जांच कर डिटेल तैयार किया। इसके बाद रेलकर्मी प्रकाश कुमार एवं सूरज कुमार ने बारी-बारी से सभी यात्रियों की थर्मल स्क्रीनिग की तथा यात्रियों के सामानों को सैनिटाइज किया। ट्रेन सुबह करीब आठ बजे लखीसराय स्टेशन पहुंची। ट्रेन से उतरे यात्रियों के चेहरे पर घर लौटने की थी खुशी जनशताब्दी एक्सप्रेस ट्रेन से लखीसराय स्टेशन पर करीब 40 से अधिक यात्री उतरे जो पटना से अपने घर लौटे। घर लौटने वाले यात्रियों में अधिकांश छात्र-छात्रा थे जो पटना में रहकर पढ़ाई कर रहे थे। इन छात्रों ने बताया कि लॉकडाउन में ट्रेन एवं वाहनों का परिचालन बंद रहने के कारण हमलोग दो महीने से घर लौटने के लिए परेशान थे। एक जून से ट्रेन परिचालन शुरू करने की घोषणा के बाद हमलोगों ने टिकट आरक्षण कराया था। ट्रेन से उतरे कई छात्राएं चेहरे पर मास्क लगाए थी। उनके चेहरे पर घर वापसी की खुशी झलक रही थी। ट्रेन से उतरे सभी यात्रियों की निकास द्वार पर थर्मल स्क्रीनिग की गई। हालांकि कई यात्री ट्रेन से उतरकर नवनिर्मित प्लेटफार्म के रास्ते स्टेशन से बाहर निकल गए। ट्रेन जाने के बाद स्टेशन पर पसरा रहा सन्नाटा लखीसराय स्टेशन से जनशताब्दी एक्सप्रेस ट्रेन के जाने के बाद फिर से लॉकडाउन की स्थिति बनी रही। क्योंकि दूसरी ट्रेन दानापुर-टाटा एक्सप्रेस ट्रेन को रद कर दिया गया। विशेष ट्रेन परिचालन शुरू होने के बाद भी लखीसराय स्टेशन पर यात्रियों के लिए कोई सुविधा उपलब्ध नहीं थी। यहां तक स्टेशन पर पानी की भी व्यवस्था नहीं थी। कोई भी वेंडर नजर नहीं आया। यात्रियों के अलावा अन्य किसी भी व्यक्ति को स्टेशन पर इंट्री नहीं मिली। उधर किऊल स्टेशन पर प्लेटफॉर्म संख्या-चार स्थित फूड प्लाजा खोला गया है। लेकिन अपराह्न तीन बजे तक पूर्वा एक्सप्रेस ट्रेन किऊल नहीं पहुंची। इस कारण पूरा स्टेशन खाली रहा।

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