इंजीनियर के शव की पहचान के लिए फिर से होगी डीएनए जांच
लखीसराय। हिमाचल प्रदेश के लाहौल एवं स्पीति जिले के तोजिग नाला में विगत दो माह पूर्व बादल फटने
लखीसराय। हिमाचल प्रदेश के लाहौल एवं स्पीति जिले के तोजिग नाला में विगत दो माह पूर्व बादल फटने से लापता बीआरओ (सीमा सड़क संगठन) के जूनियर इंजीनियर सूर्यगढ़ा थाना क्षेत्र के रामपुर के रामानुज पांडेय के पुत्र राहुल कुमार के शव की पहचान अब तक नहीं हो पाई है। बुधवार को विभागीय क्लर्क एनके सिंह ने सदर अस्पताल पहुंचकर डीएनए जांच के लिए उनके माता-पिता के खून का सैंपल लिया। इसके पूर्व एनके सिंह लापता जेई के पिता रामानुज पांडेय के साथ सिविल सर्जन कार्यालय पहुंचकर सीएस डा. डीके चौधरी से मिलकर डीएनए जांच के लिए मृतक जेई के माता-पिता का खून का सैंपल लेकर उन्हें उपलब्ध कराने का आग्रह किया। सिविल सर्जन ने सदर अस्पताल के उपाधीक्षक को फोन कर जेई राहुल के माता-पिता का अविलंब खून का सैंपल लेकर उपलब्ध कराने का निर्देश दिया। इसके बाद सदर अस्पताल प्रशासन ने खून का सैंपल लेकर क्लर्क को सौंपा। क्लर्क एनके सिंह ने बताया कि हिमाचल प्रदेश के लाहौल स्पीति जिला के केलांग थाना के तोजिग नाला में विगत 27 जुलाई 21 को बादल फटने से जूनियर इंजीनियर फोर्स अधिवक्ता रामानुज पांडेय के पुत्र राहुल कुमार सहित दस लोग लापता हो गए थे। काफी मशक्कत के बाद कई लोगों का क्षत-विक्षत शव एवं मांस का टुकड़ा बरामद किया गया। राहुल कुमार के शव की पहचान आर्मी के 510 लाइट रूड़ी रेजिमेंट में हवलदार के पद पर कार्यरत उनके चाचा विनय पांडेय ने की थी। इस आधार पर शव का दाह संस्कार कर दिया गया लेकिन अस्थि कलश देने के बदले शव की पुष्टि होना जरूरी है। इसके लिए विनय पांडेय के खून का सैंपल डीएनए टेस्ट के लिए राज्य न्यायिक विज्ञान प्रयोगशाला, जुग्गा, जिला शिमला, हिमाचल प्रदेश भेजा गया परंतु जांच के बाद डीएनए सैंपल पूर्णत: मैचिग नहीं हुआ। इस कारण राहुल कुमार के माता-पिता के खून के सैंपल का डीएनए टेस्ट किया जाएगा। शव की पहचान हो जाने के बाद ही आश्रितों को लाभ के साथ-साथ अस्थि कलश दिया जा सकेगा।