सरकारी अनुदान के भरोसे होगा शहर का विकास
लखीसराय। नगर परिषद लखीसराय शहर के सभी 33 वार्डो की सूरत बदलने एवं सरकार की योजना का
लखीसराय। नगर परिषद लखीसराय शहर के सभी 33 वार्डो की सूरत बदलने एवं सरकार की योजना का लाभ लोगों तक पहुंचाने के लिए वर्ष 2019-20 का साढ़े चार अरब का भारी बजट पारित कर राज्य सरकार को भेजने की तैयारी में जुटा है। इस बजट का सच आमदनी अठन्नी खर्चा रुपैया जैसा है। बोर्ड द्वारा पारित बजट के अनुसार शहर के विकास के लिए नगर परिषद पूरी तरह सरकारी अनुदान पर आश्रित रहेगा। वर्ष 2018-19 में नगर परिषद ने बस स्टैंड, स्टाम्प ड्यूटी, मोबाइल टॉवर, सार्वजनिक शौचालय सहित अन्य स्त्रोतों से कुल 8 करोड़ 20 लाख 18 हजार 664 रुपये का राजस्व प्राप्त किया। सिर्फ स्थापना मद में नगर परिषद ने आय से अधिक 8 करोड़ 39 लाख 2 हजार 659 रुपये की राशि खर्च की। हर महीने नगर परिषद शहर की सफाई के लिए दो एनजीओ को 15 लाख रुपये की राशि भुगतान करती है। शहर में विगत दस वर्षो से 300 से अधिक लोगों के यहां एक करोड़ की राशि हो¨ल्डग टैक्स का बकाया है। ऐसे में बिना सरकारी अनुदान एवं मदद के शहर का विकास संभव नहीं है।नगर परिषद को आमदनी बढ़ाने के लिए अपने आंतरिक स्त्रोत को दुरुस्त करना होगा। सरकार पंचम वित्त आयोग की जो राशि शहर के विकास के लिए देती है उसमें 50 फीसद राशि को योजना के बदले वेतन मद में खर्च किया जाता है। शेष 30 फीसद नल-जल एवं 20 फीसद राशि नाली गली पर खर्च की जाती है। लखीसराय शहरी क्षेत्र में जल जमाव की गंभीर समस्या बनी हुई है। जिला मुख्यालय से लेकर पंजाबी मोहल्ला तक तीन किलोमीटर मन¨सघा पैन को अतिक्रमण मुक्त कर उसका जीर्णोद्धार करने की बड़ी चुनौती के साथ-साथ बड़ी राशि की जरूरत होगी। क्योंकि पूरे शहर में सीवरेज सिस्टम फेल है। इसके पहले विगत दो वर्षों से मन¨सघा पैन का डीपीआर बन रहा है लेकिन धरातल पर अभी कुछ नहीं हुआ है। सरकार जब राशि देगी तब काम होगा।
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लखीसराय शहर के विकास के लिए पूरी कार्ययोजना तैयार कर बजट में शामिल किया गया है। राशि के लिए विभागीय मंत्री एवं अन्य मंत्रियों से भी सहयोग लिया जाएगा। आने वाले दिनों में लखीसराय शहर की तस्वीर बदल जाएगी। हर वार्ड में विकास नजर आएगा। लोगों को और बेहतर नागरिक सुविधा मिलेगी।
- अर¨वद पासवान, सभापति