कोविड केंद्र बन गया ट्रामा सेंटर, दुर्घटनाग्रस्त मरीज सीधे रेफर

किशनगंज। सदर अस्पताल में सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल मरीजों के इलाज के लिए ट्रामा

By JagranEdited By: Publish:Thu, 22 Jul 2021 09:12 PM (IST) Updated:Thu, 22 Jul 2021 09:12 PM (IST)
कोविड केंद्र बन गया ट्रामा सेंटर, दुर्घटनाग्रस्त मरीज सीधे रेफर
कोविड केंद्र बन गया ट्रामा सेंटर, दुर्घटनाग्रस्त मरीज सीधे रेफर

किशनगंज। सदर अस्पताल में सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल मरीजों के इलाज के लिए ट्रामा सेंटर का निर्माण किया गया है। ट्रामा सेंटर कोविड केंद्र में तब्दील है और गंभीर दुर्घटना पर इलाज के बजाय सीधे रेफर कर दिया जाता है। दो बार उद्घाटन के बाद भी अब तक एक भी मरीज का ट्रामा सेंटर में इलाज नहीं हो पाया है। ऐसे में मरीजों के जान बचाने के लिए बना ट्रामा सेंटर दुर्घटनाग्रस्त मरीजों के लिए अनुपयोगी साबित हो रहा है।

कोरोना के कहर को देखते हुए गत तीन जुलाई 2020 को डीएम आदित्य प्रकाश द्वारा ट्रामा सेंटर का उद्घाटन करने के बाद इसे कोविड जांच केंद्र के रूप में तब्दील कर दिया गया। कोरोना महामारी की भयावहता के कारण तब से लेकर आज तक इसका इस्तेमाल कोविड जांच के लिए किया जा रहा है। इस दौरान विभाग द्वारा ट्रामा सेंटर को चार वेंटिलेटर भी उपलब्ध करा दिये गए। ताकि गंभीर रूप से बीमार मरीजों को इलाज के लिए महानगरों के चक्कर ना लगाना पड़े। डीएम के द्वारा उद्घाटन किए जाने के बाद गत 22 सितंबर 2020 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एक बार फिर ट्रामा सेंटर का आनलाइन उद्घाटन किया। मुख्यमंत्री के द्वारा उद्घाटन किए जाने के बाद जिले वासियों में एक बार फिर से ट्रामा सेंटर के बेहतरी की आश जगी। लेकिन नतीजा सिफर ही निकला। विगत दिनों शौचालय की टंकी का सैटरिग खोलने के दौरान दो मजदूर जहरीली गैस का शिकार हो गए। लोगों ने दोनों को इलाज के लिए सदर अस्पताल में भर्ती कराया। जहां एक मजदूर की तबीयत अचानक बिगड़ जाने के बाद लोगों ने चिकित्सक से उसे ट्रामा सेंटर में भर्ती करने की अपील की। ताकि उसे वेंटिलेटर की सुविधा उपलब्ध कराई जा सके। लेकिन ट्रामा सेंटर के कोविड जांच केंद्र में तब्दील हो जाने के कारण अस्पताल प्रबंधन ने अपना हाथ खड़ा कर लिया। आखिरकार पूर्व विधायक कमरूल होदा की पहल के बाद डीएम आदित्य प्रकाश ने मजदूर को वेंटिलेटर सेवा प्रदान करने की अनुमति देकर मजदूर की जान बचा ली गई। बताते चलें कि 2.65 करोड़ की लागत से निर्मित होने वाले ट्रामा सेंटर का कार्य अब भी अधूरा है। जिले में कोरोना महामारी के पैर पसारने के बाद आनन-फानन में ट्रॉमा सेंटर का निर्माण कार्य किया गया। सिविल सर्जन डा.श्रीनंदन ने बताया कि नवनिर्मित ट्रामा सेंटर के निर्माण में 1.05 करोड़ की राशि खर्च की गई है। विभागीय आदेश के बाद जल्द शेष कार्य पूरा कर लिया जाएगा। उन्होंने बताया कि फिलहाल ट्रामा सेंटर में सेंट्रलाइज्ड आक्सीजन सिस्टम, वेंटिलेटर, सैक्शन मशीन, छह बेड आदि की सुविधा उपलब्ध है। उन्होंने बताया कि विभाग से विशेषज्ञ न्यूरो सर्जन की मांग की गई है। चिकित्सक के आते ही ट्रामा सेंटर विधिवत कार्य करने लगेगा।

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