जान जोखिम में डाल हो रही नौका की सवारी

खगड़िया । नदियां उमड़-घुमड़ रही हैं। कलकल-छलछल बहने वाली नदियां उफान पर है। ओर-छ

By JagranEdited By: Publish:Sun, 09 Aug 2020 06:57 PM (IST) Updated:Sun, 09 Aug 2020 06:57 PM (IST)
जान जोखिम में डाल हो रही नौका की सवारी
जान जोखिम में डाल हो रही नौका की सवारी

खगड़िया । नदियां उमड़-घुमड़ रही हैं। कलकल-छलछल बहने वाली नदियां उफान पर है। ओर-छोर नहीं दिखाई पड़ रही है। बाढ़ का दिनोंदिन विस्तार हो रहा है। जिले के सौ से ऊपर गांव बाढ़ की चपेट में है। साधन-संसाधन का अभाव है। लोग जान जोखिम में डालकर यात्रा कर रहे हैं।

नौका दुर्घटना में 10 लोग मारे गए

कुछेक दिनों पहले एनएच-31 से सटे बूढ़ी गंडक के पांच किलोमीटर घाट पर एक नौका ने जल समाधि ले ली और 10 लोग मारे गए। कुछेक लोग अभी भी लापता है। काफी खोजबीन बाद उक्त खूनी नौका बूढ़ी गंडक की उफनती धारा से शनिवार को बरामद हुई। नौका मालिक पर मानसी सीओ अरुण कुमार सरोज के आवेदन पर मानसी थाना में गैर इरादतन हत्या का केस दर्ज किया गया है। उक्त दुर्घटना बाद प्रशासन की तंद्रा टूटी और घाटों का निगरानी बढ़ाई गई। घटना के बाद जिला प्रशासन ने कई घाटों पर नौका परिचालन पर रोक लगा दी है। इससे चोरी-छिपे नौका से आवागमन हो रहा है।

बाढ़ क्षेत्र में समुचित नौका का प्रबंधन नहीं

बाढ़ क्षेत्र में अब तक समुचित नौका प्रबंधन नहीं हुआ है। इससे कभी भी हादसा हो सकता है। बाढ़ क्षेत्र में लोग जुगाड़ तकनीक से केला का थंभ, नाद आदि का नौका बनाकर आवागमन कर रहे हैं। अलौली के बाढ़ प्रभावित मंझवारी, उत्तरी बोहरवा, गम्हरिया आदि में लोग प्रतिदिन जुगाड़ की नौका से आवागमन को विवश हैं।

कोट बाढ़ को लेकर प्रशासनिक स्तर पर कोई ठोस इंतजाम नहीं है। नौका तक की समुचित व्यवस्था नहीं है। बाढ़ क्षेत्र के लोग जान जोखिम में डालकर यात्रा कर रहे हैं।

उमेश कुमार, जिला संयोजक, बिहार बाढ़ विभीषिका समाधान समिति, खगड़िया।

कोट मानसी अंचल क्षेत्र में मात्र एक घाट मटिहानी घाट निबंधित है। पांच किलोमीटर घाट निबंधित नहीं है। वहां घटी नौका दुर्घटना बाद नाविक सह नौका मालिक पर गैर इरादतन हत्या का केस दर्ज कराया गया है। नाविक पहले रजिस्ट्रेशन कराएं और फिर परवाना लें। अवैध नौका परिचालन पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। बाढ़ प्रभावित हियादपुर में चार नौका दिए गए हैं। अरुण कुमार सरोज, सीओ, मानसी।

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