अमित ने ताइक्वांडो में राज्यस्तरीय प्रतियोगिता में जीता मेडल
जमुई। सिमुलतला के लाल अमित कुमार सिंह ने झारखंड की ओर से खेलते हुए ताइक्वांडो के कई राज्य स्तरीय प्रतियोगिता में मेडल जीतकर जमुई जिले का नाम रोशन किया।
जमुई। सिमुलतला के लाल अमित कुमार सिंह ने झारखंड की ओर से खेलते हुए ताइक्वांडो के कई राज्य स्तरीय प्रतियोगिता में मेडल जीतकर जमुई जिले का नाम रोशन किया। वर्तमान में इंटरनेशनल कोच बनकर अपनी उपलब्धियों में चार चांद लगाकर बिहार का मान बढ़ा रहा है। सिमुलतला निवासी स्व. प्रताप सिंह एवं संध्या सिंह के इकलौते पुत्र अमित अपनी प्रारंभिक शिक्षा झारखंड देवघर से पूरा किया।
मास्टर ऑफ कॉमर्स मेरठ युनिवर्सिटी से, मास्टर ऑफ फिजिकल नागपुर युनिवर्सिटी से, मास्टर ऑफ सीआरएस टीम युनिवर्सिटी भुनेश्वर उड़ीसा से पूरा किया। खेल के प्रति विशेष रूचि रखने के कारण ताइक्वांडो खेल को अपना आदर्श बनाया। ताइक्वांडो के अलावा, तलवार बाजी, वालीबॉल, तीरंदाजी आदि खेलों में भी अच्छा प्रदर्शन कर कई मेडल जीत चुका है। झारखंड में उसकी पहचान ताइक्वांडो खिलाड़ी के रूप में ज्यादा चर्चित है। उसके तेजतर्रार प्रदर्शन के कारण साउथ कोरिया से इन्हें फौर डेन ब्लैक बेल्ट प्राप्त है। फोर डेन ब्लैक बेल्ट मिलने के कारण उसके नाम के आगे ग्रैंड मास्टर लग गया। फिलवक्त वह ताइक्वांडो ऑफ इंडिया कोच, झारखंड कोच, सीबीएससी. 37 फौरन मास्टर की उपाधि से विभूषित है। वर्ष 2020 में उसको विवेकानंद खेल रत्न पुरस्कार से भी सम्मानित किया गया। 2014 में काठमांडू में आयोजित प्रथम प्रथम इंटरनेशनल ताइक्वांडो प्रतियोगिता में सिल्वर मेडल जीतकर अपने पहचान के अनुरूप प्रदर्शन किया। जिला से लेकर राष्ट्रीय स्तर में डेढ़ दर्जन से भी ज्यादा मेडल जीतकर अपना परचम इस खेल के प्रति लहरा चुका है। अमित कहते है बिहार के बच्चों में अभूतपूर्व प्रतिभा है। बिहार सरकार अगर प्रतिभाओं को चयनित कर उसे सही प्रशिक्षक के द्वारा तरासने का कार्य करें तो यहां के बच्चे राष्ट्रीय स्तर पर परचम लहराएगा। सरकार अगर मुझे इस कार्य की जवाबदेही देगी तो मैं बिहारी प्रतिभाओं को तरासने के लिए हर वक्त खड़ा रहूंगा।