हर घर रोशन की मंशा पर गांव-गांव की कट रही बिजली

आशीष सिंह चिटू जमुई लोकतांत्रिक व्यवस्था में सुशासित राज्य के पिछड़े जिले में शुमार जमुई में बिजली विभाग ने बकाया बिजली बिल वसूलने का अलोकतांत्रिक तरीका ढूंढा है। लोक कल्याणकारी सुविधा के तहत आने वाली विद्युत सुविधा का बकाया बिल वसूली को लेकर विभाग पूरे गांव की बिजली काट दे रहा है। जिले में अब तक 15 गांवों की बिजली काटी जा चुकी है।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 28 Nov 2021 05:54 PM (IST) Updated:Sun, 28 Nov 2021 05:54 PM (IST)
हर घर रोशन की मंशा पर गांव-गांव की कट रही बिजली
हर घर रोशन की मंशा पर गांव-गांव की कट रही बिजली

फोटो 29 जमुई-9,11,12,13,14

-माथे पर परीक्षा, बत्ती हुई गुल

-जिले में 15 गांवों की काटी गई है बिजली

-किसी भी परिस्थिति में लोकतांत्रिक व्यवस्था में लोक चमक न हो कम

- अनाप-शनाप बिल निश्चित समय पर भुगतान नहीं होने का बनी है कारण

आशीष सिंह चिटू, जमुई : लोकतांत्रिक व्यवस्था में सुशासित राज्य के पिछड़े जिले में शुमार जमुई में बिजली विभाग ने बकाया बिजली बिल वसूलने का अलोकतांत्रिक तरीका ढूंढा है। लोक कल्याणकारी सुविधा के तहत आने वाली विद्युत सुविधा का बकाया बिल वसूली को लेकर विभाग पूरे गांव की बिजली काट दे रहा है। जिले में अब तक 15 गांवों की बिजली काटी जा चुकी है।

सदर प्रखंड के इकेरिया और पद्मावत गांव की भी बिजली काट दी गई। अब बिजली काटने की सजा किसान और छात्र भुगत रहे हैं। मैट्रिक और इंटर की परीक्षा माथे पर है, लेकिन बत्ती गुल रहने के कारण तैयारी में बाधा आ रही है। आदत बिगड़ गई इसलिए घर में लालटेन नहीं है और मोमबत्ती की रोशनी पर्याप्त नहीं हो रही है। किसान भी पटवन को लेकर चितित हैं। हर घर को बिजली उपलब्ध कराने की सरकारी मंशा गांव के गांव लालटेन युग में पहुंच रही है। बड़ा सवाल है कि आखिर शुरुआती दौर में ही बिजली बिल की वसूली का दबाव क्यों नहीं बनाया जाता है। बिल समय से भुगतान नहीं करने की आदत को भी उचित नहीं ठहराया जा सकता है, लेकिन इसके लिए विभाग के जिम्मेदार अधिकारी को भी सजग रहना होगा। कई लोग प्रीपेड मीटर की समस्या से निजात मिलने की बात कहते हैं। वैसे उपभोक्ताओं की मानें तो अनाप-शनाप बिल ही निश्चित समय पर भुगतान नहीं होने का कारण बनी है। हद तो तब हो जाती है कि इसे सुधारने के लिए उपभोक्ताओं की चप्पल घिस जाती है फिर भी उन्हें सफलता नहीं मिल पाती है।

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इन गांवों की काटी गई है बिजली

बकाया बिजली बिल वसूली को लेकर विभाग ने पूर्व में सोनो प्रखंड के 13 गांवों की बिजली काट दी थी। बिल भुगतान के बाद इन गांवों में बिजली सुचारू की गई थी। सोनो प्रखंड के तेलियादह, दुबेडीह, कोनियां, बेरहवातरी, खरीक, गिद्धाडीह, कागेश्वर, केशोफरका पासवान टोला, हरिडीह, महेश्वरी, डोकली, कंचनपुर, अमेठियाडीह गांव की बिजली काटी गई थी। अब सदर प्रखंड के इकेरिया और पद्मावत गांव की बिजली काट दी गई है।

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छात्र और किसान परेशान

मैट्रिक व इंटरमीडिएट के परीक्षार्थी करण कुमार, आयुष कुमार सहित अन्य छात्रों ने बताया कि बिजली कटने से परीक्षा की तैयारी में बाधा आ रही है। ठंड के मौसम के कारण शाम में अंधेरा जल्द हो रहा है। मोमबत्ती की रोशनी में पढ़ाई नहीं कर पा रहे हैं। अभिभावक ने बिल जमा नहीं किया और विभाग ने वसूली के लिए बिजली काट दी, लेकिन किसी ने हम छात्रों का नहीं सोचा। किसान जगदीश बांके पासवान, गंगा सागर, रविद्र कुमार सहित अन्य किसानों ने कहा कि बिजली बिल में गड़बड़ी की शिकायत सुनी नहीं जाती। बकाया भुगतान के लिए गांव की बिजली काट दी जाती है। इसका सीधा मतलब यही है कि कंपनी जो बिल भेजे उसे सही मानकर चुपचाप भुगतान करते रहिए, वरना बिजली काट दी जाएगी। बुजुर्ग केदार साव ने कहा कि अब तक के उम्र में ऐसा पहली बार देखने को मिला कि गांव की ही बिजली काट दी गई। ना लोगों की बात सुनी गई न ही फरियाद, बस फरमान सुना दिया गया। युवा अक्सर कहते हैं कि बाबा, आधुनिक और तकनीकी युग है। शायद इसीलिए मानवीय संवेदना क्षीण हो रही है। ध्यान रखना चाहिए कि किसी भी परिस्थिति में लोकतांत्रिक व्यवस्था में लोक की चमक कम ना होने पाए।

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कोट

बिल भुगतान को लेकर माइकिग द्वारा जागरूक किया जा रहा है। घर-घर जाकर लोगों से भी संपर्क किया जा रहा है। जिस गांव की भी बिजली काटी गई है, वहां के उपभोक्ताओं द्वारा बिल भुगतान प्रारंभ करने के साथ ही विद्युत आपूर्ति बहाल कर दी जा रही है।

ब्रजेश कुमार, प्रभारी कार्यपालक विद्युत अभियंता, जमुई

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