श्रद्धा व भक्ति भाव से की गई मां ब्रह्माचारिणी की पूजा

जमुई। वासंती नवरात्र के दूसरे दिन बुधवार को नगर क्षेत्र सहित जिले के सभी मंदिरों व घरों में मां ब्रह्माचारिणी की पूजा श्रद्धालुओं ने शारीरिक दूरी के साथ की।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 14 Apr 2021 07:10 PM (IST) Updated:Wed, 14 Apr 2021 07:10 PM (IST)
श्रद्धा व भक्ति भाव से की गई मां ब्रह्माचारिणी की पूजा
श्रद्धा व भक्ति भाव से की गई मां ब्रह्माचारिणी की पूजा

जमुई। वासंती नवरात्र के दूसरे दिन बुधवार को नगर क्षेत्र सहित जिले के सभी मंदिरों व घरों में मां ब्रह्माचारिणी की पूजा श्रद्धालुओं ने शारीरिक दूरी के साथ की। जिले के प्रमुख मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़ देखने को मिली। शाम होते ही महिलाओं ने भजन कीर्तन कर देवी मां की आराधना की।

नगर क्षेत्र के बुधबन तालाब स्थित बसंती दुर्गा मंदिर सहित जिलेभर के प्रमुख देवी मंदिरों में दूसरे दिन भी कोरोना गाइडलाइन का पालन करते हुए श्रद्धालु भक्त पहुंचे। वहां श्रद्धालुओं ने विधि विधान से देवी मां की पूजा की। सुबह से मंदिरों पर भक्तों की भीड़ जुटना शुरू हो गई थी। पूजा अर्चना के दौरान लोगों ने कोविड नियमों का ध्यान रखा। शाम के समय महिलाओं ने मंदिरों व घरों में भजन कीर्तन किए। इसके अलावा नगर क्षेत्र के विभिन्न मुहल्ले में मां ब्रह्माचारिणी की पूजा अर्चना की गई।

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वासंती नवरात्र के तीसरे दिन करें मां चंद्रघंटा की पूजा

गुरुवार को वासंती नवरात्र का तीसरा दिन है। आज के दिन दुर्गा मां के तीसरे स्वरूप मां चंद्रघंटा की पूजा की जा रही है। चंद्रघंटा मां की उपासना की जाती है। मान्यता है कि अगर मां चंद्रघंटा की पूजा की जाय तो उनकी कृपा से अलौकिक वस्तुओं के दर्शन होते हैं। साथ ही दिव्य सुगंधियों का अनुभव भी होता है। दुर्गा मां का यह स्वरूप परम शांतिदायक और कल्याणकारी है। इनके मस्तक में घंटे का आकार का अर्धचंद्र मौजूद है। यही कारण है कि मां के इस स्वरूप को चंद्रघंटा कहा जाता है। मां के 10 हाथ हैं। मां का वाहन सिंह है।

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