कड़ाके की ठंड के बीच चल रही शीतलहर, मकर संक्रांति पर भीड़ के कारण रेंगते रहे वाहन

ठंड से सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा। लोग अपने घरों में दुबके रहे। शीतलहर के साथ गिर रहे घना कुहासा से काम करने वाले मजदूरों की परेशानी बढ़ गई है। मजदूर काम करने के लिए घरों से नहीं निकले। कृषि कार्य भी प्रभावित रहा।

By Prashant KumarEdited By: Publish:Thu, 14 Jan 2021 05:23 PM (IST) Updated:Thu, 14 Jan 2021 05:23 PM (IST)
कड़ाके की ठंड के बीच चल रही शीतलहर, मकर संक्रांति पर भीड़ के कारण रेंगते रहे वाहन
मकर संक्रांति पर भीड़ के कारण शहर में लगा जाम। प्रतीकात्‍मक चित्र।

जागरण संवाददाता, औरंगाबाद। कड़ाके की ठंड के साथ शीतलहर चल रही है। मकर संक्रांति के कारण सुबह से ही बाजार में भीड़ है परंतु ठंड के कारण जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है। तीन दिनों से शीतलहर का प्रकोप जारी है। गुरुवार सुबह न्यूनतम तापमान सात डिग्री सेल्सियस रहा।

यह अनुमान स्वास्थ्य विभाग के कार्यालय से लगी मशीन से देखा गया। ठंड से सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा। लोग अपने घरों में दुबके रहे। शीतलहर के साथ गिर रहे घना कुहासा से काम करने वाले मजदूरों की परेशानी बढ़ गई है। मजदूर काम करने के लिए घरों से नहीं निकले। कृषि कार्य भी प्रभावित रहा। रेलवे पर कुहासा का काफी असर रहा। देव प्रखंड के भलुआही गांव निवासी बीजेंद्र कुमार यादव ने बताया कि कुहासा के कारण मजदूर घर से नहीं निकल रहे हैं।  ठंड से पहड़तली व जंगली इलाके के गरीब अलाव का सहारा ले जीवन बचा रहे हैं। घने कोहरे के कारण 30 फुट की दूरी को भी देखना मुश्किल था। वाहन चालकों की की तो बात ही दूर लोगों का पैदल चलना भी अंधेरे में जाने के बराबर था। धीमी गति के साथ लाइट जलाकर वाहनों को चलना पड़ा। थोड़ी ही दूर पर आवाज का सहारा लेना पड़ रहा था।

कुहासे से बच्चे रहे परेशान

एक तरफ जहां हर रोज बच्चे बिना स्वेटर, मफलर के स्कूल जा रहे थे, तो सोमवार को सिर पर मफलर, टोपी व शरीर में गरम कपड़े पहनकर घर से बाहर निकले। ये स्थिति सिर्फ बच्चों को ही नहीं बल्कि सभी लोगों को देखा गया। बाइक चालकों ने तो ऊनी कपड़े व जैकेट के साथ हेलमेट व हाथों में दस्ताने भी लगाये दिखे। कुहासे बढ़ते ही लोगों को ठंड का असर सताने लगा है।

बाजारों में बढ़ी भीड़

बढ़ती ठंड को लेकर बाजारों में उनी कपड़ा खरीदने के लिए भीड़ जुट रही है। उनी कपड़े खूब बिक रहे हैं। बुधवार को बाजारों में भी ठंड से बचाव के लिए ऊनी कपड़ों की खरीदारी के लिए भीड़ देखी गयी। जिले में घने कोहरे का कहर जारी है। कोहरे की चादर में वाहनों की लाइट दोपहर तक छिप जाती है। कोहरे के साथ शीत लहर से लोगों का बदन कांप रहा है। गुरुवार की सुबह जब लोग घरों से बाहर निकले तो घना कोहरा छाया हुआ था। बुधवार की रात 10 बजे से ही कोहरा गिरने लगा था। कोहरे में सूर्य की प्रकाश छिपी रही। शीतलहर का प्रकोप जारी है। ठंड का असर यह है कि बाइक चलाते समय चेहरा सुन्न पड़ जा रहा है। घने कोहरे के कारण जीटी रोड पर वाहनों का परिचाल प्रभावित रहा। वाहन रेंगते नजर आएं।

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