नवादा का पिरौटा रूरल टूरिज्म के रूप में होगा विकसित, जापानी संस्था करेगी फंडिंग, ककोलत जाने वाले को मिलेगी सुविधा

नवादा के पिरौटा गांव स्थित सूर्य मंदिर तालाब तालाब का तटबंध व आसपास की सरकारी भूमि की मांग जिला प्रशासन से की गई है। डीएम द्वारा प्रस्ताव सरकार को भेज दिया गया है। इस सिलसिले जापान के एक विधायक योगेंद्र पौराणिक नवादा पहुंच कार्यस्थल का निरीक्षण भी कर चुके हैं।

By Prashant Kumar PandeyEdited By: Publish:Wed, 27 Oct 2021 04:39 PM (IST) Updated:Thu, 28 Oct 2021 02:34 PM (IST)
नवादा का पिरौटा रूरल टूरिज्म के रूप में होगा विकसित, जापानी संस्था करेगी फंडिंग, ककोलत जाने वाले को मिलेगी सुविधा
पिरौटा के प्रस्तावित प्रोजेक्ट रिपोर्ट की तस्वीर

नवादा, जागरण संवाददाता। जिले के अकबरपुर प्रखंड अंतर्गत पिरौटा गांव को रूरल टूरिज्म के रूप में विकसित करने पर काम शुरू किया गया है। जापान के गांवों की भांति इसे विकसित किया जाएगा। जापान की कुछ संस्था ने इस गांव को विकास के लिए फंडिग करने पर सहमति दी है। इसके लिए डीपीआर तैयार कर लिया गया है। जिला प्रशासन से गांव स्थित सूर्यमंदिर तालाब, तालाब का तटबंध व आसपास की सरकारी भूमि की मांग की गई है। डीएम ने यह प्रस्ताव सरकार को भेज दिया। इस सिलसिले में जापान के एक विधायक योगेंद्र पौराणिक नवादा पहुंच कार्यस्थल का निरीक्षण भी कर चुके हैं। जमीन आवंटित होने के साथ ही विकास कार्य प्रारंभ कर दिया जाएगा। 

मेडिटेशन सेंटर, ओपन थियेटर, स्विमिंग पुल, रेस्टोरेंट का होगा निर्माण

योजना के तहत पिरौटा गांव के सूर्यमंदिर व पास के तालाब के करीब 7-8 एकड़ भूमि को पर्यटन क्षेत्र के रूप में विकसित किया जाएगा। जो डीपीआर तैयार किया गया है, उसमें तालाब के बांध व आसपास विदेशी सैलानियों के ठहराव के लिए चार काटेज का निर्माण कराया जाएगा। इसके अलावा मेडिटेशन सेंटर, ओपन थियेटर, स्विमिंग पुल, लैंड स्केप, पार्किंग, रेस्टोरेंट, ट्रैकिंग एरिया आदि का निर्माण कराया जाएगा। तमाम कंस्ट्रक्शन का काम जापान की तर्ज पर होगा। पूरी तरह इक्को फ्रेंडली निर्माण कार्य होगा। यह बिहार का पहला ऐसा गांव होगा, जिसे जापानी तकनीक से विकसित करने का प्रयास है।

गांव का भी किया जाएगा विकास

इस योजना के तहत पिरौटा गांव का भी विकास किया जाएगा। गांव में स्वच्छता, शिक्षा, स्वरोजगार, प्रशिक्षण, नवीनतम तकनीक की खेती को बढ़ावा देने का काम किया जाएगा। ये सब भी प्रोजेक्ट का हिस्सा होगा। 

वर्षा पानी का किया जाएगा संरक्षण 

तालाब में बरसात के पानी का संरक्षण किया जाएगा। इस पानी का इस्तेमाल बाद में प्यूरीफाइ कर कई कार्यों के लिए किया जाएगा। इससे पानी की बर्बादी रुकेगी। वर्षा पानी का संरक्षण होने से गांव और आसपास के इलाके का जलस्तर बना रहेगा।

उपलब्ध होगा रोजगार

ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के इस प्रोजेक्ट से प्रत्यक्ष व परोक्ष रूप से रोजगार भी उपलब्ध होगा। प्रोजेक्ट से जुड़ी संस्था के सीईओ रंजन कुमार बताते हैं कि कार्य योजना धरातल पर उतरा तो 50-100 लोगों को सीधा रोजगार उपलब्ध हो जाएगा। 

जापान के विधायक कर चुके हैं कार्यस्थल का निरीक्षण

इस प्रोजेक्ट का स्थल निरीक्षण करने जापाना की राजधानी टोक्यो के एडोगावा शहर के विधायक योगेंद्र पौराणिक दो दिनों पूर्व यहां पहुंचे। उन्होंने कहा कि जापान के गांवों की तर्ज पर इसे विकसित करने का काम किया जाएगा। तााबिजुकी इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, डीएलएफ अंकुर विहार, गाजियाबाद द्वारा इस प्रोजेक्ट पर काम किया जा रहा है।

भूमि का आवंटन होना बाकी 

इस कार्ययोजना के लिए सरकार से पिरौटा गांव के तालाब, बांध व उसके आसपास की सरकारी भूमि की मांग की गई है। ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए भूमि की मांग की गई है। अक्टूबर 2019 में ही तत्कालीन डीएम कौशल कुमार ने प्रस्ताव सरकार को भेज दिया था। बीच में कोरोना संक्रमण के फैलाव के कारण मामला ठंडे बस्ते में चला गया था। प्रस्ताव भूमि व राजस्व सुधार विभाग में लंबित है। 

सीएम से मिलेंगे जापानी विधायक 

भूमि की उपलब्धता व अनापत्ति प्रमाणपत्र प्राप्त करने के लिए जापान के विधायक जल्द ही मुख्यमंत्री से मिलेंगे। सीएम को इस प्रोजेक्ट का प्रजेंटेशन लोक संवाद कार्यक्रम में फरवरी 19 में दिया जा चुका है। पुन: मिलकर भूमि उपलब्ध कराने का आग्रह किया जाएगा। 

ककोलत के पर्यटकों को होगा लाभ

पिरौटा के पर्यटक स्थल के रूप में विकसित होने से ककोलत आने-जाने वाले सैलानियों को भी लाभ मिलेगा। सैलानी यहां ठहर सकेंगे। उनके लिए यह बड़ा पड़ाव हो जाएगा। फिलहाल, ककोलत जाने वालों के लिए ऐसी कोई सुविधा नहीं है।

chat bot
आपका साथी