BPSC 64th final result: रोहतास के इन बेटे-बेटियों ने अफसर बन बढ़ाया अपने माता-पिता का मान

सच कहा गया है कि होनहार वीरवान के होत चिकने पात। अगर जीवन में कुछ अच्छा करने को होता है तो कामयाबी भी उस दिशा में अग्रसर होती रहती है। इसी कामयाबी को इस बार भी जिले के प्रतिभावान बेटा-बेटियों ने हासिल कर अपने माता-पिता का मान बढ़ाया है।

By Prashant KumarEdited By: Publish:Mon, 07 Jun 2021 11:22 AM (IST) Updated:Mon, 07 Jun 2021 11:22 AM (IST)
BPSC 64th final result: रोहतास के इन बेटे-बेटियों ने अफसर बन बढ़ाया अपने माता-पिता का मान
बिहार लोक सेवा आयोग की 64वीं परीक्षा का परिणाम घोषित। प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर।

जागरण संवाददाता, सासाराम। सच कहा गया है कि होनहार वीरवान के होत चिकने पात। अगर जीवन में कुछ अच्छा करने को होता है तो कामयाबी भी उस दिशा में अग्रसर होती रहती है। इसी कामयाबी को इस बार भी जिले के प्रतिभावान बेटा-बेटियों ने हासिल कर अपने माता-पिता का मान बढ़ाया है।

बीपीएससी 64वीं की जारी रिजल्ट में जिले के बहुत सारे प्रतिभाशाली प्रतियोगी छात्रों को सफलता हाथ लगी है। कोई वरीय उपसमाहर्ता तो कोई राजस्व, समाज कल्याण, आपूर्ति विभाग में अधिकारी के पद पर चयनित हुए हैं। यह सफलता किसी को पहले प्रयास में तो किसी को दूसरे व तीसरी कोशिश में मिली है। अपने बेटे-बेटियों की सफलता पाने पर माता-पिता व परिवार के अन्य सदस्य फूले नहीं समां पा रहे हैं। कोई मिठाई खिला तो किसी ने आरती उतार अपनी खुशी का इजहार किया।

कभी नक्सलवाद के रूप में जाते इस जिले में अब मेधा की खेती होने लगी है। बोर्ड से लेकर प्रतियोगी परीक्षाओं में इस क्षेत्र के युवक अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाने लगे हैं। सुदूर नक्सल प्रभावित क्षेत्र से जब मेधाए परचम लहराती है तो जिले का नाम तो रौशन होता ही है। पर यह भी साबित कर देता है की मेधा सुविधाओ की मोहताज नही होती। रोहतास प्रखंड के बंजारी की रहने वाली सुप्रिया आनंद ने बीपीसएसी परीक्षा में 284 रैंक से अंचलाधिकारी बन जिले का नाम रौशन किया है। सुप्रिया बंजारी के प्रदीप सिंह उर्फ राजू सिंह की पुत्री है। वहीं करगहर प्रखंड के बकसड़ा गांव जया कुमारी बीपीएससी परीक्षा 1014  रैंक पाकर प्रखंड का नाम रौशन किया है। इसके अलावा पंचायत शिक्षक गौरव सिंह का भी चयन समाज कल्याण विभाग में सहायक निदेशक के पद पर हुआ है।

पहले प्रयास में ब्रजेश ने मारी बाजी

सासाराम शहर के तकिया मोहल्ला के रहने वाले ब्रजेश कुमार पहले प्रयास में ही सफलता हासिल की है। बीपीसीएस परीक्षा में 461 वें रैंक प्राप्त कर राजस्व अधिकारी बने हैं। 2010 में शहर के प्रतिष्ठित शिक्षण संस्थान बाल विकास विद्यालय से 10 वीं बोर्ड उत्तीर्ण होने वाले ब्रजेश रूड़की से आइआइटी पास कर प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी में जुट गया था। पिता कामेश्वर सिंह होमियोपैथ चिकित्सक हैं तो बड़े भाई संदेश कुमार डॉक्टर, दूसरा भाई अदेश कुमार इंजीनियर व तीसरा विश्वेश कुमार सेना में मेजर के पद पर कार्यरत हैं। इस सफलता का श्रेय ब्रजेश ने माता विंदा देवी समेत परिवार के सभी सदस्यों को दिया है। वार्ड पार्षद शैलेश कुमार समेत अन्य प्रसन्नता व्यक्त की है।

पहले शिक्षक अब अधिकारी बनी अमृता :

शहर के वार्ड संख्या तीन तकिया मोहल्ला की रहने वाली अमृता कुमारी ने भी पहले प्रयास में ही सफलता पाने का गौरव हासिल की है। फिलहाल केंद्रीय विद्यालय अरूणाचल प्रदेश में शिक्षिका के पद पर कार्यरत अमृत का चयन सप्लाई इंस्पेक्टर के पद पर हुआ है। मूलत : करगहर प्रखंड के ठोरसन गांव निवासी अक्षयवर उपाध्याय की पुत्री अमृता की इस सफलता पर दादा राजेश्वर उपाध्याय, माता शोभा उपाध्याय समेत परिवार के अन्य सदस्यों, रिश्तेदारों व शुभचिंतकों ने खुशी व्यक्त किया है।

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