Bihar Teacher's Job Alert: रोहतास में शिक्षकों को नौकरी बचाने का अंतिम मौका, 20 जुलाई तक प्रमाण पत्र कराएं उपलब्ध नहीं तो जाएगी नौकरी
शिक्षा विभाग ने राेहतास के शिक्षकों को 20 जुलाई तक सर्टिफिकेट अपलोड करने का समय दिया है। जिनके वांछित सर्टिफिकेट पोर्टल पर अपलोड नहीं होते हैं उन्हें अवैध मानते हुए नौकरी से हटाने का फरमान जारी किया जाएगा। अबतक छह दर्जन से अधिक शिक्षकों को बर्खास्त किया गया है।
सासाराम (रोहतास), जागरण संवाददाता। विभागीय निर्देश के बावजूद अभी तक हजारों शिक्षकों ने निगरानी जांच के लिए शैक्षणिक व प्रशैक्षणिक प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं कराया गया है। शिक्षकों को अपनी नौकरी बचाने के लिए शिक्षा विभाग अंतिम मौका दिया है। शिक्षकों को 20 जुलाई तक अपना शैक्षणिक व प्रशैक्षणिक प्रमाण पत्र में वेव पोर्टल पर अपलोड करने का निर्देश दिया है। इसके बावजूद जिन शिक्षकों के वांछित सर्टिफिकेट पोर्टल पर अपलोड नहीं होता है, तो उन्हें अवैध मानते हुए नौकरी से हटाने का फरमान जारी किया जाएगा। विभाग के इस नए फरमान के बाद पंचायती राज संस्थाओं व नगर निकायों के माध्यम से नियोजित शिक्षकों में एक बार फिर बेचैनी पैदा हो गई है। वे अबतक निगरानी को प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं होने के लिए सीधे तौर पर नियोजन इकाई व विभाग के स्थानीय अधिकारी जिम्मेदार ठहरा रहे हैं। उनका कहना है कि नियोजन के समय ही उनके द्वारा सारा प्रमाण पत्र की कॉपी इकाई व उसके बाद विभाग को उपलब्ध करा दिया गया है। बावजूद उनसे प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने के लिए दबाव बनाया जा रहा है।
प्रमाण पत्र अपलोड करने से कतराते रहे
गौरतलब है कि विभागीय निर्देश पर निगरानी जांच के लिए वेब पोर्टल पर शैक्षणिक व प्रशैक्षणिक प्रमाण पत्र अपलोड नहीं करने वाले लगभग साढ़े तीन हजार शिक्षकों की सूची शिक्षा विभाग ने जिला वेबसाइट पर डालते हुए जारी की थी। साथ ही संबंधित शिक्षकों को 30 मई तक सर्टिफिकेट अपलोड करने का निर्देश दिया गया था। उसके बाद कुछ शिक्षकों ने प्रमाण पत्र अपलोड भी किया, परंतु अधिकतर शिक्षक विभाग व इकाई पर तोहमत मढ़ प्रमाण पत्र अपलोड करने से कतराते रहे हैं। जिसमें नियोजित शिक्षकों से जुड़े संघों के पदाधिकारी भी शामिल हैं। विभागीय सूत्रों की माने तो हाईकोर्ट के आदेश पर 2006 से 2015 तक नियोजित शिक्षकों के प्रमाण पत्रों की निगरानी जांच चल रही है। शिक्षकों के नियोजन से संबंधित फोल्डर जांच के लिए निगरानी को उपलब्ध कराने का निर्देश विभाग ने पूर्व में कई बार दे चुका है। फिर भी साढ़े तीन हजार शिक्षकों का सर्टिफिकेट आजतक निगरानी को उपलब्ध नहीं हो सका है, ताकि जांच प्रक्रिया पूरी हो सके और फर्जी प्रमाण पत्र पर नौकरी कर रहे शिक्षकों की पहचान हो सके।
छह दर्जन से अधिक शिक्षक हुए बर्खास्त
हालांकि इस दौरान नियोजित शिक्षकों में से अबतक छह दर्जन से अधिक शिक्षकों को नियोजन इकाई द्वारा बर्खास्त किया जा चुका है, वहीं तीन दर्जन से अधिक पर निगरानी ने प्राथमिकी दर्ज की है। दो सौ से अधिक शिक्षकों का प्रमाण पत्र की जांच निगरानी कर रही है। फोल्डर उपलब्ध नहीं कराने के एवज में विभाग ने पौने दो सौ नियोजन इकाई के सचिव पर भी प्राथमिकी दर्ज करने की कार्रवाई चुका है। सबसे अधिक विनायका मिशन के सर्टिफिकेट पर जिले में शिक्षक नौकरी कर रहे हैं, जिन्हें विभागीय पत्र के बावजूद नियोजन इकाई सेवामुक्त नहीं कर सकी है। डीईओ संजीव कुमार ने कहा कि विभाग ने पोर्टल पर प्रमाण पत्र अपलोड नहीं करने वाले शिक्षकों की सूची विभागीय साइट पर डाली है तथा निर्देश दिया है कि सूची का अवलोकन कर वैसे शिक्षक अपना प्रशैक्षणिक व शैक्षणिक प्रमाण पत्र यूजर आइडी व पासवर्ड के माध्यम से अपलोड करने का कार्य 21 जून से 20 जुलाई के बीच करें, जिनका प्रमाण पत्र अभी तक अप्राप्त हैं।
फोल्डर जमा नहीं करने वाले प्रखंडवार शिक्षकों की संख्या (मई 2021 में जारी)
प्रखंड शिक्षकों की संख्या
काराकाट 313
सूर्यपूरा 55
संझौली 99
करगहर 586
शिवसागर 118
कोचस 243
बिक्रमगंज 42
तिलौथू 99
रोहतास 19
दावथ 186
नासरीगंज 274
नौहट्टा 241
अकोढ़ीगोला 240
राजपुर 25
डेहरी 169
सासाराम 26
चेनारी 455
दिनारा 513