कला, संस्कृति व शिक्षा के विकास में डॉ. वीरेंद्र पाण्डेय की रही अहम भूमिका

मोतिहारी। चंपारण की कला-संस्कृति को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने वाले प्रख्यात शिक्षाविद ख्यातिलब्ध पत्रकार व मगध विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो.( डॉ.) वीरेंद्र नाथ पाण्डेय की प्रथम पुण्यतिथि पर जर्नलिस्ट वेलफेयर सोसायटी के तत्वावधान में शिैक्षणिक सांस्कृतिक एवं पत्रकारिता के क्षेत्र में प्रो.( डॉ.) वीरेंद्र नाथ पाण्डेय की भूमिका विषयक सेमिनार आयोजित की गई। चंपारण की कला-संस्कृति को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने वाले प्रख्यात शिक्षावि

By JagranEdited By: Publish:Thu, 14 Jan 2021 12:59 AM (IST) Updated:Thu, 14 Jan 2021 12:59 AM (IST)
कला, संस्कृति व शिक्षा के विकास में डॉ. वीरेंद्र पाण्डेय की रही अहम भूमिका
कला, संस्कृति व शिक्षा के विकास में डॉ. वीरेंद्र पाण्डेय की रही अहम भूमिका

मोतिहारी। चंपारण की कला-संस्कृति को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने वाले प्रख्यात शिक्षाविद, ख्यातिलब्ध पत्रकार व मगध विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो.( डॉ.) वीरेंद्र नाथ पाण्डेय की प्रथम पुण्यतिथि पर जर्नलिस्ट वेलफेयर सोसायटी के तत्वावधान में शिैक्षणिक, सांस्कृतिक एवं पत्रकारिता के क्षेत्र में प्रो.( डॉ.) वीरेंद्र नाथ पाण्डेय की भूमिका विषयक सेमिनार आयोजित की गई। सेमिनार की अध्यक्षता सोसायटी के अध्यक्ष संजय ठाकुर ने की। संचालन प्रख्यात उद्घोषक प्रो. (डॉ.) अरुण कुमार ने किया। सेमिनार का उद्घाटन जिला परिषद की अध्यक्ष प्रियंका जायसवाल, मोतिहारी विधायक प्रमोद कुमार, ढाका विधायक पवन जायसवाल, नगर परिषद की मुख्य पार्षद अंजू देवी, गांधी संग्रहालय के सचिव ब्रजकिशोर सिंह, सप्रसिद्ध महिला चिकित्सक डॉ. चन्द्रलता झा, भारतीय संगीत नाटक अकादमी (नई दिल्ली) की सदस्य डॉ. नीतू कुमारी ''नूतन'', प्रसिद्ध हृदयरोग विशेषज्ञ डॉ. परवेज अजीज, डॉ.अतुल कुमार, सुरेंद्र चौधरी, रंगकर्मी अनिल वर्मा एवं अमित सेन ने संयुक्त रुप से किया। सोसायटी के उपाध्यक्ष ओजैर अंजुम ने पत्रकार संजय पाण्डेय द्वारा लिखित प्रो0(डॉ0) वीरेंद्र नाथ पांडेय-व्यक्तित्व एवं कृतित्व का वाचन किया। इस मौके पर जिला परिषद अध्यक्ष प्रियंका जायसवाल ने कहा कि प्रो. पाण्डेय के निधन से चंपारण को शिक्षा एवं कला के क्षेत्र में भारी क्षति हुई तथा डॉ.पांडेय के अधूरे सपनों को पूरा करना ही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी। विधायक प्रमोद कुमार ने कहा कि डॉ. पांडेय ने कला एवं शिक्षा के क्षेत्र में राष्ट्रीय स्तर पर अपना अमूल्य योगदान दिया। वे एक कुशल कलाकार थे तथा अपनी कला से उन्होंने सबका दिल जीता। विधायक पवन जायसवाल ने कहा कि डॉ. पांडेय के व्यक्तित्व एवं कृतित्व की जानकारी आम जनता तक पहुंचे इसके लिए आगे भी उनकी याद में इस तरह के समारोह आयोजित किए जाते रहेंगे। नगर परिषद की मुख्य पार्षद अंजू देवी ने कहा कि बहुत ही कम दिनों में डॉ. पाण्डेय के व्यक्तित्व की विशालता को उन्होंने जाना और उनसे बेहद प्रभावित हुई। भारतीय संगीत नाटक अकादमी की सदस्य डॉ. नीतू कुमारी ''नूतन'' ने डॉ. पाण्डेय के बहुआयामी व्यक्तित्व, विद्वता, विशेषताओं पर सूक्ष्मता से प्रकाश डाला तथा उनके साथ अपने भावात्मक संबंधों को याद किया। पूर्व मंत्री ब्रजकिशोर सिंह ने कहा कि डॉ. पांडेय ने वैश्विक स्तर पर अपनी पहचान बनाई तथा एक इतिहास रचा। सुप्रसिद्ध महिला सर्जन डॉ. चंद्रलता झा ने कहा कि डॉ. पाण्डेय का सामान्य से शिखर तक पहुंचना अनुकरणीय है। चंपारण सांस्कृतिक महोत्सव को आगे बढ़ाना ही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी। डॉ. अतुल ने कहा कि उनकी कार्यशैली, संप्रेषण, अनुशासन, समर्पण हमारे लिए आदरणीय एवं अनुकरणीय है। डॉ परवेज ने कहा कि उन्होंने दुनिया की महान हस्तियों को चंपारण की धरती पर बुलाया तथा कला-संस्कृति के माध्यम से चंपारण का विकास किया। अनिल वर्मा ने उन्हें एक महान शख्सियत बताया। सुरेंद्र चौधरी ने डॉ. पाण्डेय के नाम पर एक स्मारक बनाने का सुझाव एवं सहयोग का आश्वासन दिया। सेमिनार को पं. चंद्र किशोर मिश्र ,अमित कुमार सेन, पंजाब नैशनल बैंक के जिला समन्वयक नीरज सिन्हा, डॉ.नम्रता तिवारी, अशोक कुमार वर्मा, पत्रकार सतीश मिश्र, अमरेंद्र तिवारी, बिनोद सिह, सागर सूरज, शैलेन्द्र कुमार सिन्हा, रविश मिश्रा आदि ने संबोधित किया। इस अवसर पर डॉ. स्वस्ति सिन्हा, सतपाल सिंह छाबड़ा, देवप्रिय मुखर्जी, बिटी शर्मा, पवन पुनीत चौधरी, कौशल किशोर पाठक, कृष्णा प्रसाद, सोसायटी के कार्यकारिणी सदस्य संजय पाण्डेय, सोसायटी के सचिव व वरिष्ठ पत्रकार अरुण तिवारी, अंजनी अशेष, सचिन पाण्डेय, सत्यनारायण प्रसाद, गुलरेज शहजाद, रंगकर्मी अभय अनंत, राजनदत्त द्विवेदी, नरेन्द्र झा, रामचंद्र साह, अकील मुश्ताक सहित शहर के कई गणमान्य लोग मौजूद थे।

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