चचरी पुल के बहने पर नाव बना सहारा, कलेजा पर हाथ रख लोग कर रहे सफर

दरभंगा। अधवारा की धौंस और बागमती नदी की धारा में सिरहुल्ली-कोठिया टेकटार-बाजीतपुर पथ में बने दोनों चचरी पुल के बहने के बाद आवगमन पूरी तरह से प्रभावित हो गया है।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 05 Jul 2020 12:30 AM (IST) Updated:Sun, 05 Jul 2020 12:30 AM (IST)
चचरी पुल के बहने पर नाव बना सहारा, कलेजा पर हाथ रख लोग कर रहे सफर
चचरी पुल के बहने पर नाव बना सहारा, कलेजा पर हाथ रख लोग कर रहे सफर

दरभंगा। अधवारा की धौंस और बागमती नदी की धारा में सिरहुल्ली-कोठिया, टेकटार-बाजीतपुर पथ में बने दोनों चचरी पुल के बहने के बाद आवगमन पूरी तरह से प्रभावित हो गया है। लोगों की परेशानी को देखते हुए मधुबनी सांसद डॉ. अशोक यादव के प्रयास से शनिवार को दोनों जगहों पर नाव मुहैया कराई गई है। लेकिन, छोटा नाव होने के कारण लोगों में अनहोनी का डर लगा है। नदी के जलस्तर में वृद्धि जारी है। पानी की तेज धारा बहने से नदी के दोनों किनारों से मिट्टी कट गए हैं। इससे नाव लगाने में भी परेशानी है। लोग ठीक से नाव पर सवार नहीं हो पा रहे हैं। लेकिन, कोई उपाय नहीं होने के कारण लोग कलेजा पर हाथ रखकर सफर करने को मजबूर हैं। मंगर्थू, कोठिया, सिघीया, बाजितपुर, बग्घा, बहपुरा सहित दर्जनों गांवों को टेकटार मुख्य बाजार से जुड़ने वाली चचरी पुलों के बहने से लोगों को कई माह तक समस्याओं से सामना करना पड़ेगा। बता दें कि मंगलवार की सुबह चचरी पुल पर बाढ़ का पानी चढ़ गया। साथ ही जलकुंभी का बड़ा भाग बहाव में आकर पुल पर अटक गया। इसके बाद भाजपा नेता निर्भय शंकर भारद्वाज के नेतृत्व में दर्जनों ग्रामीणों ने जलकुंभी को हटाने का काम किया। इसके बाद जनसहयोग से बने चचरी पुल में बास-बल्ला लगाकर लोगों ने चलने लायक बनाया । लेकिन, दो घंटे के बाद ही लोगों का प्रयास नाकाम हो गया। तेज धारा में दोनों चचरी पुल बह गए। दोनों पथ में चचरी पुल काफी उपयोगी था। पानी के दबाव के देखते हुए प्रशासनिक स्तर पर कोई पहल नहीं की गई थी।

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