चुनरी बनाई मैय्या पाई-पाई जोड़ के ..
दरभंगा। दोनार औद्योगिक क्षेत्र में मंगलवार को राणी सती दादी मंदिर का 33वां वार्षिकोत्सव मनाया गया।
दरभंगा। दोनार औद्योगिक क्षेत्र में मंगलवार को राणी सती दादी मंदिर का 33वां वार्षिकोत्सव मनाया गया। भव्य ज्योति जागरण एवं संकीर्तन से पूरा औद्योगिक क्षेत्र भक्तिमय बना रहा। धनबाद से आए भजन गायक गौतम राठौड़ की टोली ने अपने सधे हुए सुर और ताल से भक्तों को मंत्रमुग्ध कर दिया। राणी सती के सम्मान में उठी स्वरलहरियों पर देर रात तक श्रोता जागते रहे। गायकों ने अपनी भक्तिमय गायिकी से श्रद्धालुओं पर अमिट छाप छोड़ने में कोई कसर नहीं छोड़ी। वाद्य यंत्रों की तान और स्वरलहरियों के सुंदर तालमेल के बीच भक्तगण भी अपने आप को थिरकने से नहीं रोक सके। गौतम राठौड़ ने राणीसती दादी के सम्मान में गाई आरती और उसके बाद गणेश वंदना से जागरण की शुरुआत की। दादी की अराधना करते हुए उन्होंने ना पिहरीओ ना सासरो म्हाने दादी मां को आसरो.. की बोल पर जब अपनी भजन की शुरूआत की तो श्रद्धालु ताली बजाकर साथ देने को मजबूर हो गए। चुनरी बनाई मैय्या पाई-पाई जोड़ के और मेंहदी रची थारे हाथो में.. भजन श्रद्धालु के दिलों के गहराई तक उतर गई। नौ वर्षीय बच्ची वान्या ने सूर्य वंदना पर मनमोहक नृत्य प्रस्तुत कर सबका मन मोह लिया। आचार्य नवीन शर्मा की मौजूदगी में परिसर के राणी सती फर्टिलाइजर प्रा. लिमिटेड के प्रोपराइटर श्रवण कुमार झुनझ़नवाला बतौर जजमान थे। उनकी धर्मपत्नी साधना झुनझुनवाला ने बही वसना पूजन कर संध्या में श्रीराणी सती दादी जी की जोत जलाई। जबकि, श्रद्धा एवं रुपा ने मां का श्रृंगार किया। दादी को छप्पन भोग लगा कर ध्वजा पूजन पश्चात ज्योति जागरण शुरू किया गया। समारोह के संयोजक कृष्ण कुमार एवं ललित झुनझुनवाला ने बताया कि ज्योति जागरण एवं भजन संकीर्तन बुधवार के दोपहर तक चलेगा। विसर्जन के उपरांत भक्तों के लिए महाप्रसाद की व्यवस्था की जाएगी।