मारिए मत, बेटे की तरह सेवा करने दीजिए : पप्पू यादव
मेरा केस मेरा तो है ही नहीं। पता नहीं बिना केस का हमको गिरफ्तार किया। डेढ़ महीने से कोरोना मरीज को उठाते-उठाते खुद ही थक गए हैं। हम नीतीश जी से उम्मीद करेंगे। उनका मैं सम्मान करता हूं। आप काम करने दें मैं आपका सहयोग करूंगा।
दरभंगा । मेरा केस, मेरा तो है ही नहीं। पता नहीं बिना केस का हमको गिरफ्तार किया। डेढ़ महीने से कोरोना मरीज को उठाते-उठाते खुद ही थक गए हैं। हम नीतीश जी से उम्मीद करेंगे। उनका मैं सम्मान करता हूं। आप काम करने दें मैं आपका सहयोग करूंगा। हर आदमी तक खाना दवाई ऑक्सीजन आप पहुंचा दीजिए। आप हमारा सहयोग करिए। मारिए मत बेटे की तरह सेवा करने दीजिए।' उपरोक्त बातें गुरुवार को कड़ी सुरक्षा के बीच दरभंगा मेडिकल कॉलेज अस्पताल लाए गए जाप (लो.) के सप्रीमो सह पूर्व सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने अस्पताल जाने से पहले कही।
कहा - अपनी गिरफ्तारी को बेवजह की गिरफ्तारी बताते हुए पप्पू ने साफ किया कि पता नहीं कब का खत्म हो चुका केस। किस आधार पर मेरी गिरफ्तारी की गई है। अररिया में कोरोना के शिकार हुए परिवार को आर्थिक सहायता देने की बात करते हुए कहा कि मैंने उस परिवार को गोद लिया है। उनकी मदद की है। आगे भी करूंगा। लेकिन, सरकार कोरोना से मर रहे लोगों के स्वजनों को चार लाख की सहायता तत्काल दे। सरकार लॉकडाउन लगाए कोई दिक्कत नहीं है। लेकिन, इस दौरान किसान, मजदूर व आम आदमी की आर्थिक स्थिति को देखते हुए उनके खाते में सरकारी मदद की राशि दे। पप्पू ज्यादा देर तक बोल नहीं पाए। कहा- हालात ठीक नहीं थे। सो, मैं यां इलाज के लिए चला आया। बता दें कि पूर्व सांसद पप्पू यादव को पटना पुलिस ने मंगलवार को लॉकडाउन के उल्लंघन को लेकर हिरासत में लिया था। इस बीच मधेपुरा पुलिस उन्हें जिले के कुमारखंड थाना में दर्ज कांड संख्या 9/89 में गिरफ्तार किया था। मंगलवार की ही देर रात वीडियो कॉंफ्रेंसिग के जरिए उनकी पेशी मधेपुरा कोर्ट में की गई। वहां से उन्हें चौदह दिनों की न्यायिक हिरासत में बने क्वारंटाइन सेंटर में भेज दिया गया था। मधेपुरा पुलिस ने उन्हें वीरपुर में भेजा था। इस बीच उनकी तबीयत बिगड़ी मेडिकल बोर्ड ने उन्हें बेहतर चिकित्सा के लिए दरभंगा मेडिकल कॉलेज अस्पताल भेजा। यहां उन्हें गहन चिकित्सा कक्ष में भर्ती किया गया है। जहां उनकी जांच व चिकित्सा चल रही है। हालांकि समाचार प्रेषण तक मेडिकल बुलेटिन नहीं जारी किया गया था।