कोरोना काल में परिवहन विभाग हुआ मालामाल, रेलवे को नुकसान

दरभंगा। कोरोना काल में जहां एक ओर परिवहन विभाग मालामाल हुआ। वहीं दूसरी और रेलवे को

By JagranEdited By: Publish:Wed, 30 Dec 2020 12:53 AM (IST) Updated:Wed, 30 Dec 2020 12:53 AM (IST)
कोरोना काल में परिवहन विभाग हुआ मालामाल, रेलवे को नुकसान
कोरोना काल में परिवहन विभाग हुआ मालामाल, रेलवे को नुकसान

दरभंगा। कोरोना काल में जहां एक ओर परिवहन विभाग मालामाल हुआ। वहीं दूसरी और रेलवे को भारी नुकसान का सामना करना पड़ा। साथ ही कोरोना संक्रमण के चलते हुए लॉकडाउन ने सड़क दुर्घटना के आंकड़ों को भी गिरा दिया। हालांकि, परिवहन विभाग और यातायात पुलिस ने भी नियमों का पालन कराने के लिए लोगों को जागरूक करने के साथ कार्रवाई भी की। यही कारण रहा कि पिछले वर्ष के मुकाबले इस वर्ष चालान अधिक काटते हुए जुर्माना वसूला गया है। वहीं रोजाना इस लोगों में यातायात नियमों का पालन करने का भय भी व्याप्त करने के लिए शहर में जगह-जगह चालान काटे जा रहे हैं। इसके बाद भी यात्री बड़ी संख्या में नियमों का उल्लंघन करते हुए प्रतिदिन नजर आते हैं। यदि लोग नियमों का पालन करना शुरू कर दें तो वह स्वयं और दूसरों की जिदगी बचाने में कामयाब होंगे। कुल मिलाकर आंकड़ों के सहारे इस वर्ष परिवहन सेवा बेहतर हुई है। वहीं, विभाग ने सड़क सुरक्षा सप्ताह अभियान को लेकर दो बार अभियान चलाया। इसके सहारे लोगों को जागरूक करने से लेकर नियमों का उल्लंघन करने पर कार्रवाई की गई।

परिवहन निगम ने कमाया लाखों का मुनाफा

कोरोना काल के बावजूद परिवहन निगम ने बसों का संचालन किया। शहर से कुशेश्वरस्थान, बेनीपुर,बिरौल, घनश्यामपुर, समस्तीपुर, बेगूसराय, पटना आदि जिलों के लिए लगातार बस चलाए गए। इससे परिवहन विभाग को करोड़ों रुपये का फायदा पहुंचा। बता दें कि लॉकडाउन के दौरान सिर्फ परिवहन विभाग और अनिवार्य सेवाओं में लगे वाहन को ही चलाने की अनुमति थी। इस कारण परिवहन विभाग की चांदी रही।

रेलवे को हुआ प्रतिदिन 30 लाख का नुकसान

देशभर में 24 मार्च को संपूर्ण लॉकडाउन लागू किया गया था। ट्रेनों का परिचालन भी शुरुआती दिनों में पूरी तरह बंद था। इसके बाद धीरे-धीरे स्थिति सामान्य होने के साथ ही स्पेशल ट्रेनें चलाई गई। इस दौरान दरभंगा जंक्शन को रोजाना लगभग तीस लाख रुपये का नुकसान झेलना पड़ा। बता दें कि सामान्य दिनों में दरभंगा जंक्शन से रोजाना लगभग एक लाख बीस हजार यात्रियों का आवागमन होता है।

निजी वाहनों के संचालन पर पड़ा फर्क

कोरोना संकट के कारण इस बार निजी वाहनों के संचालन पर भी फर्क पड़ा। स्कूली बसों और व्यावसायिक वाहनों का संचालन बंद रहने से बड़ा नुकसान हुआ है। इसको लेकर शासन ने भी राहत दी। व्यावसायिक वाहनों का परमिट आदि कई माह का शुल्क माफ किया गया। केंद्रीय परिवहन विभाग की ओर से 31 दिसंबर तक वाहनों के इंश्योरेंस आदि में छूट मिली।

जाम ने बढ़ाई लोगों की आफत

इस वर्ष भी जाम से लोगों को परेशानी झेलनी पड़ रही है। शहर में प्रस्तावित सात रेलवे ओवरब्रिज पर इस साल भी निर्माण कार्य नहीं शुरू हो सका। इस कारण दोनार, बेलामोर, पंडासराय गुमटी समेत आदि जगहों पर जाम की समस्या बनी हुई है।

दरभंगा से उड़ान सेवा शुरू होने से 22 जिलों के यात्रियों को पहुंची राहत

दरभंगा एयरपोर्ट से विमान सेवा शुरू होने से सूबे समस्तीपुर, मधुबनी, नेपाल, बेगूसराय, सहरसा, पूर्णिया, चंपारण, भागलपुर समेत 22 जिलों के यात्रियों को दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरू के लिए उड़ान भरने में राहत मिली। बता दें कि बीते एक आठ नवंबर से दरभंगा से दिल्ली, मुंबई और बेंगलुरू आवागमन के लिए स्पाइसजेट की विमान उड़ रही हैं। आठ नवंबर से अब तक लगभग 50 हजार यात्रियों ने आवागमन किया है। इसमें लगभग 22 जिलों के यात्री शामिल हैं।

नए साल में उम्मीदें

नए साल में जिले के लगभग 39 लाख आबादी(2011 जनगणना के आंकड़ों के मुताबिक) को जाम की समस्या से निजात मिलने की उम्मीद है। शहर के सात रेलवे फाटकों पर प्रस्तावित रेल ओवरब्रिज निर्माण होने की उम्मीद लगाए बैठे हैं। हालांकि जनप्रतिनिधियों की माने तो नये साल में रेलवे ओवरब्रिज निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा। साथ ही दरभंगा से अंतरराष्ट्रीय विमान सेवा बहाली होने की भी उम्मीद जगी है। बता दे कि इसके लिए सीधे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ही पहल की है। उन्होंने नागरिक उड्डयन मंत्री को पत्र लिख एयरपोर्ट पर यात्री सेवा विकसति करने समेत अंतरराष्ट्रीय उड़ान सेवा बहाल करने की मांग की है। -

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