रंग लाई जागरण की मुहिम, 16 दिनों बाद सिमरी सीएचसी को मिले प्रभारी

बक्सर कोरोना संक्रमण काल के दौरान सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सिमरी में पदस्थापित चिकित्सकों क

By JagranEdited By: Publish:Wed, 14 Apr 2021 09:34 PM (IST) Updated:Wed, 14 Apr 2021 09:34 PM (IST)
रंग लाई जागरण की मुहिम, 16 दिनों बाद सिमरी सीएचसी को मिले प्रभारी
रंग लाई जागरण की मुहिम, 16 दिनों बाद सिमरी सीएचसी को मिले प्रभारी

बक्सर : कोरोना संक्रमण काल के दौरान सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सिमरी में पदस्थापित चिकित्सकों की कार्यप्रणाली के खिलाफ पिछले 15 दिनों से जारी जागरण की मुहिम पर आखिरकार सीएस कार्यालय को मोहर लगाना ही पड़ा। मंगलवार को देर शाम सिविल सर्जन डॉ.जितेंद्र नाथ ने डॉ.चन्द्रमणि विमल को सीएचसी की कमान सौंप दी। इसके बाद बुधवार को 16वें दिन यहां प्रभारी ने पदभार ग्रहण कर लिया।

डॉ.विमल के प्रभार लेते समय वर्तमान प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी अस्पताल से बीमारी का हवाला देकर नदारद थे। पिछले सप्ताह भी वे 3 अप्रैल से 9 अप्रैल तक छुट्टी पर थे। सीएस का कहना है कि उनके कार्यालय तक छुट्टी का आवेदन ही नहीं पहुंचा है। यदि वे अस्पताल से गायब हैं, तो इसकी जांच होगी। इधर, पदभार ग्रहण करते ही डॉ.विमल ने सीएचसी की वर्तमान व्यवस्था का निरीक्षण करने के पश्चात उन्होंने स्वास्थ्य कर्मियों के साथ एक बैठक की तथा कई आवश्यक दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि क्षेत्र की ढाई लाख आबादी को स्वास्थ्य सुविधा का बेहतर लाभ मिले इसके लिए हर मुकम्मल व्यवस्था सुनिश्चित होनी चाहिए। मगर इसके लिए केंद्र पर प्रतिनियुक्त सारे चिकित्सा पदाधिकारियों को पूरी निष्ठा के साथ अपने दायित्व का निर्वहन करना होगा। बताते चलें कि तत्कालीन प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ.प्रेमचंद प्रसाद द्वारा चिकित्सकों के साथ अच्छे व्यवहार नहीं किए जाने के कारण सीएचसी पर प्रतिनियुक्त सारे एमबीबीएस डॉक्टर छुट्टी पर चले गए थे। बाद में डॉ.प्रेमचंद खुद अनुपस्थित हो गए। इसके बाद कई दिन अस्पताल बिना किसी चिकित्सक के संचालित हुआ।

जागरण की मुहिम पर लगी विभाग की मुहर

अस्पताल की बदहाल होती व्यवस्था पर विभाग और प्रशासन के आला अधिकारियों का ध्यान आकृष्ट कराने के लिए दैनिक जागरण ने समाचारीय मुहिम चलाया, जिससे अधिकारियों के कान खड़े हो गए। एएसडीएम, एसडीएम, बीडीओ से लेकर सिविल सर्जन तक ने सीएचसी का निरीक्षण किया। अधिकारियों के जांच में यह बात स्पष्ट हो गई थी कि चिकित्सकों की मनमानी के कारण अस्पताल की व्यवस्था दिन प्रतिदिन बद से बदतर स्थिति में जा रही है और इसे संभालने की आवश्यकता है। इसके बाद सिविल सर्जन के आदेश पर आनन-फानन में तत्कालीन प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ प्रेमचंद प्रसाद को प्रभार मुक्त करते डॉक्टर संतोष कुमार को जिम्मेदारी सौंपी। तब भी जागरण ने पाठकों को बताया कि डॉ.संतोष को प्रभारी बनाने का फैसला गलत है और यही हुआ भी। डॉ.सतोष ने खुद ही प्रभार ग्रहण करने से इंकार कर दिया। इसके बाद डॉ.चंद्रमणि विमल का नाम प्रस्तावित किया गया। डॉ.विमल चिकित्सा पदाधिकारी के रूप में यहां काफी लोकप्रिय रहे और उनकी ओपीडी में मरीजों की हमेशा भीड़ लगी रहती थी। अब प्रभारी के रूप में उन पर सीएचसी की खोई साख को लौटाने कीजिम्मेदारी है।

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करीब ढाई लाख आबादी कि स्वास्थ्य सुविधा का यह इकलौता केन्द्र है। लोगों को बेहतर से बेहतर चिकित्सकीय सुविधा का लाभ मिले इसके लिए हर मुकम्मल व्यवस्था की जाएगी। केंद्र पर आम जनता की सेवा के लिए 24 घंटे डॉक्टर मौजूद रहेंगे।

डॉ.चंद्रमणि विमल, प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, सिमरी।

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