माइक्रो सर्च प्लान से कोरोना संक्रमण पर निर्णायक प्रहार की तैयारी

बक्सर जिले में कोरोना संक्रमण को काबू में करने के लिए नई रणनीति तैयार की जा रही है

By JagranEdited By: Publish:Fri, 23 Apr 2021 09:31 PM (IST) Updated:Fri, 23 Apr 2021 09:31 PM (IST)
माइक्रो सर्च प्लान से कोरोना संक्रमण पर निर्णायक प्रहार की तैयारी
माइक्रो सर्च प्लान से कोरोना संक्रमण पर निर्णायक प्रहार की तैयारी

बक्सर : जिले में कोरोना संक्रमण को काबू में करने के लिए नई रणनीति तैयार की जा रही है। इसके तहत संक्रमित क्षेत्रों का माइक्रो सर्च डेटा तैयार किया जा रहा है। पंचायत और वार्ड स्तर पर बन रहे इस डेटा के आधार पर माइक्रो कंटेनमेंट जोन बनाए जाएंगे और संक्रमण की रफ्तार को काबू में किया जाएगा। उक्त जानकारी देते हुए जिलाधिकारी अमन समीर ने बताया कि जिले में ऑक्सीजन और दवाइयों की कोई कमी नहीं है। उन्होंने बताया कि जिले में अधिकांश संक्रमितों की हालत ठीक है और वे घर में आइसोलेशन में रहकर अपना इलाज करा रहे हैं। वे शुक्रवार को समाहरणालय के सभाकक्ष में संवाददाता सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे।

डीएम ने बताया कि मार्च के बाद से अबतक बक्सर में 1591 मरीज मिले हैं, जिनमें से 12 मरीजों की मौत हुई है, वहीं 1224 अभी इलाजरत हैं। बाकी के मरीज स्वस्थ्य हो चुके हैं। एक सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि संक्रमितों में बाहर से आए प्रवासियों की संख्या 20 प्रतिशत से भी कम है। यहां मिले 1591 में 258 ऐसे संक्रमित है, जो बाहर से आए थे और स्टेशन पर जांच में उनके कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई। डीएम ने बताया कि पिछले साल दो-तीन मरीजों को ही यहां ऑक्सीजन की जरूरत होती थी। इस बार अभी जिले में 30 मरीजों को अभी ऑक्सीजन की आवश्यकता पड़ रही है। प्रखंड और पंचायत स्तर पर संक्रमण की मॉनीटरिग की जा रही है। कुछ प्रखंडों में संक्रमितों की संख्या ज्यादा है। इसी तरह कुछ पंचायतों और शहर के वार्डों में भी संक्रमण ज्यादा है।

सदर प्रखंड में सबसे ज्यादा संक्रमण, इटाढ़ी दूसरे नंबर पर

संक्रमण के मामले में जिले का सदर प्रखंड सबसे अव्वल है। यहां शुक्रवार तक 666 मरीज मिल चुके हैं, जो जिले में मरीजों की कुल संख्या का लगभग 40 प्रतिशत है। दूसरे नंबर पर सदर से ही सटा इटाढ़ी प्रखंड है, जहां अबतक 207 संक्रमितों की पहचान हुई है। तीसरे स्थान पर नावानगर है, जहां 113 मरीज हैं। चौथे स्थान पर ब्रह्मपुर हैं, जहां 101 लोग कोरोना संक्रमण से पीड़ित हैं। सबसे हैरान करने वाली रिपोर्ट चौंगाई से है। छोटा प्रखंड होने के बावजूद यहां संक्रमितों की संख्या 99 पहुंच चुकी है।

लापरवाही और इलाज के लिए भटकने में जा रही जान

संवाददाता सम्मेलन में डीएम ने बताया कि कोरोना से मौत के मामले दो तरह के आ रहे हैं। एक तो वैसे लोग हैं, जो होम आइसोलेशन में रह रहे हैं और स्थिति ज्यादा खराब होने पर चिकित्सक से संपर्क कर रहे हैं। दूसरे वैसे लोग हैं, जो हालत बिगड़ने पर वाराणसी और पटना जा रहे हैं और वहां भी बेड नहीं मिलने पर वापस आ रहे हैं, इसमें वक्त गुजरने के कारण स्थिति गंभीर हो जा रही है। उन्होंने लोगों को भरोसा दिलाया कि सकारात्मक सोच के साथ इस बीमारी से मुकाबला करें, जिले में ही बेहतर इलाज की व्यवस्था की जा रही है।

डीडीसी ने दिया रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने पर जोर

चिकित्सक से प्रशासनिक सेवा में आए उप विकास आयुक्त डॉ.योगेश कुमार ने संवाददाता सम्मेलन में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने और इसके लिए मीडिया के माध्यम से आम लोगों को प्रेरित करने की बात कही। उन्होंने कहा कि अभी भी संक्रमितों में अधिकांश वैसे लोग हैं, जो अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता की बदौलत आसानी से स्वस्थ्य हो रहे हैं। उन्होंने योग करने के साथ काढ़ा पीने और रसदार फलों का सेवन करने की सलाह दी।

प्रतिबंधों के उल्लंघन पर होगी सख्ती

संवाददाता सम्मेलन में मौजूद आरक्षी निरीक्षक नीरज कुमार सिंह ने कहा कि सभी व्यवसायियों से सलाह कर वैकल्पिक दिन अलग-अलग दुकानों को खेलने का नियम बनाया गया है। इसके साथ ही सार्वजनिक परिवहन में यात्रियों की संख्या सीमित की गई है। जो इसका पालन नहीं करेंगे, उनके साथ सख्ती की जाएगी। उन्होंने बताया कि जिले में दो-तीन दिनों में तीन सौ अतिरिक्त पुलिस के जवान मिलेंगे, जिन्हें कोरोना नियमों का पालन कराने के लिए लगाया जाएगा। वहीं, अनुमंडल पदाधिकारी केके उपाध्याय ने बताया कि एक दिन पूर्व पीपी रोड में बैठक के नाम पर भीड़ इकट्ठा करने वाले लोगों पर प्राथमिकी दर्ज की जाएगी। संवाददाता सम्मेलन में सूचना एवं जनसंपर्क पदाधिकारी कन्हैया प्रसाद और सिविल सर्जन डॉ.जितेन्द्र नाथ भी मौजूद थे।

chat bot
आपका साथी