जल्द शुरू हो जाएगा कोशी-मेंची लिंक परियोजना का काम, कोसी और सीमांचल के लोगों का बदल जाएगा भाग्य

सब कुछ ठीक रहा तो कोसी और सीमांचल के लोगों का भाग्‍य जल्‍द बदलने वाला है। नदी जोड़ो परियोजना के तहत कोशी-मेंची लिंक परियोजना का काम जल्‍द शुरू हो जाएगा। इससे करीब दो लाख हेक्‍टेयर भूमि तक सिंचाई की सुविधा उपलब्‍ध हो जाएगी।

By Abhishek KumarEdited By: Publish:Wed, 07 Apr 2021 11:06 AM (IST) Updated:Wed, 07 Apr 2021 11:06 AM (IST)
जल्द शुरू हो जाएगा कोशी-मेंची लिंक परियोजना का काम, कोसी और सीमांचल के लोगों का बदल जाएगा भाग्य
सब कुछ ठीक रहा तो कोसी और सीमांचल के लोगों का भाग्‍य जल्‍द बदलने वाला है।

जागरण संवाददाता, पूर्णिया। क्षेत्र में हर साल आने वाली बाढ से लोगों को निजात मिल सकती है साथ ही बड़े भू भाग में सिंचाई की सुविधा भी मिल सकेगी। कोशी-मेंची लिंक योजना को धरातल पर उतारे जाने के लिए सरकार प्रयासरत है। जल जीवन हरियाली की विडियो कांफ्रेंसिंग के माध्‍यम से समीक्षा के दौरान जल संसाधन मंत्री संजय झा ने उक्त संकेत मंगलवार को दिए हैं।

सरकार के पास है विचारधीन

मंत्री ने कहा है कि जल जीवन हरियाली अभियान के तहत कोशी-मेंची लिंक योजना के तहत महानंदा और कोशी नदी को जोडऩे की योजना सरकार के पास विचाराधीन है। अभी मोकामा से गया तक गंगाजल का पानी पहुंचाने का काम चल रहा है। सरकार जल्द ही कोशी-मेंची लिंक योजना प्रस्ताव की समीक्षा कर इसे क्रियान्वित करने का काम करेगी।

दो लाख हेक्टेयर में होगी सिंचाई की व्यवस्था

बताया कि महानंदा और कोशी नदी के जुड़ जाने के बाद सीमांचल के 2 लाख 10 हजार हेक्टेयर में ङ्क्षसचाई की व्यवस्था होगी। समीक्षा बैठक के दौरान मंत्री ने जल -जीवन-हरियाली अभियान के तहत जल संसाधन विभाग के द्वारा किए जा रहे कार्यों की जानकारी ली। जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता ने बताया कि अभियान के तहत 32 नए जल स्रोतों का निर्माण किया जाना है जिनमें से चार नए जल स्रोतों का निर्माण पूरा हो गया है। जबकि वन विभाग के अधिकारी ने बताया कि जिले में 79,500 पौधा लगाने का लक्ष्य था जिसे पूरा कर लिया गया है। समीक्षा बैठक के दौरान लघु जल संसाधन मंत्री के कहा कि दो महीने के बाद बरसात का मौसम शुरू हो जाने के बाद निर्माण कार्य बाधित हो जाएगा। उन्होंने सभी लंबित कार्यों को जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश दिया। समीक्षा बैठक में वीडियोकांफ्रेंङ्क्षसग के माध्यम से अपर समाहर्ता मो. तारिक इकबाल. डीडीसी मनोज कुमार, कार्यपालक अभियंता, जल संसाधन विभाग, कार्यपालक अभियंता लघु जल ङ्क्षसचाई, विद्युत् विभाग के अलावा अन्य अधिकारी मौजूद थे।

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