Thank God: ...और बच गई कुसुम की जान, भागलपुर के सैंडिंस कंपाउंड में चढ़ाई जा रही थी बलि

भागलपुर के सैंडिस कंपाउंड में लगे कुसुम वृक्ष को अब नहीं काटा जाएगा। डेढ़ सौ वर्ष पुराने कुसुम का पेड़ होगा सौंदर्यीकरण। बदला नक्शा पेड़ के तीन मीटर आगे बनेगा स्वीमिंग पुल। सैंडिस कंपाउंड आने वाले लोग कुसुम के पेड़ की छांव के नीचे आराम करते नजर आते थे।

By Dilip Kumar ShuklaEdited By: Publish:Mon, 06 Dec 2021 11:15 PM (IST) Updated:Mon, 06 Dec 2021 11:15 PM (IST)
Thank God: ...और बच गई कुसुम की जान, भागलपुर के सैंडिंस कंपाउंड में चढ़ाई जा रही थी बलि
सैंडिस कंपाउंड में लगे कुसुम वृक्ष को बचाया जा रहा है।

जागरण संवाददाता, भागलपुर।आखिरकार कुसुम की जिंदगी बच गई। कुसुम का पेड़ अब अपनी आंखों के सामने भागलपुर को सजते संवरते देखेगा। शहर के स्मार्ट बनने के सपनों के साकार होने के लिए कुसुम की कुर्बानी नहीं ली जाएगी।

दैनिक जागरण में ...और विकास के लिए चुन ली मेरी ही गर्दन शीर्षक से प्रकाशित खबर ने असर दिखाया। डीएम सुब्रत कुमार सेन ने खबर पर संज्ञान लिया और स्मार्ट सिटी के अधिकारियों को कुसुम के पेड़ की सुरक्षा व संरक्षा का निर्देश दिया। लगभग डेढ़ सौ वर्षों से सैंडिस कंपाउंड के एक किनारे पर खड़े कुसुम के पेड़ के चारों ओर लोग आराम से बैठ सकेंगे। हवाओं के झोंके के साथ झूमने वाले कुसुम के पेड़ की जड़ के चारों ओर मिट्टी डालने का काम शुरू हो गया है। अब कुसुम फिर से अंतिम सांस ले रहा है। कुसुम ने अपने छांव में लोगों को खुशी से चहकते देखा, तो लोगों की सिसिकियां भी सुनी हैं। कुसुम के पेड़ के नीचे एक बार फिर अपना दुख दर्द भुलाने पहुंचेंगे।

कुसुम के पेड़ की छांव में बैठकर कभी जिला जज फैसला सुनाते थे। यह पेड़ गवाह है कई लोगों को इंसाफ मिलने के बाद उनके चेहरे पर आई खुशी का। स्वतंत्रता संग्राम के दौरान आजादी के दीवानों पर दमन के लिए दिए क्रूर फैसलों का। आजादी के बाद भी सैंडिस कंपाउंड आने वाले लोग कुसुम के पेड़ की छांव के नीचे आराम करते नजर आते थे।

स्मार्ट सिटी योजना के तहत कुसुम के पेड़ को काटकर स्वीमिंग पुल बनाने की योजना थी। वन विभाग ने भी पेड़ काटने की अनुमति दे दी थी। गड्ढे खोदे जा चुके थे। स्वीमिंग पुल में युवा तैराकी का अभ्यास करेंगे। ओलिपिंक जैसी स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीतने के सपनों को भी आकार देंगे। काम करा रही कंपनी के सुपरवाइजर का कहना है कि बिना पेड़ के काटे स्वीमिंग पुल नहीं बन पाएगा, लेकिन डीएम सुब्रत कुमार सेन ने कुसुम के दर्द को समझा और कंपनी को पेड़ के चारों ओर मिट्टी डालने व संवारने का आदेश दिया है। कुसुम के तीन मीटर आगे स्टेडियम की तरफ स्वीमिंग पुल बनाने का आदेश दिया है। कुसुम के चारों ओर मिट्टी डालने का काम शुरू हो गया है।

स्वीमिंग पुल व टेनिस कोर्ट बनेगा

स्वीमिंग पुल व टेनिस कोर्ट के नाम पर 68 पेड़ अभी तक काटे जा चुके हैं। इसके एवज में स्मार्ट सिटी ने वन विभाग को पांच लाख से अधिक रुपये जमा किए हैं। यूकीलिप्टस के पेड़ जब काटे जा रहे थे, तब किसी को कोई एतराज नहीं था। लेकिन कुसुम का पेड़ कटने का हर कोई अंदर ही अंदर विरोध जता रहे थे। जिस जगह से पेड़ काटे गए हैं, उस जगह पर स्वीमिंग पुल की लंबाई 50 मीटर और चौड़ाई 25 मीटर होगी। यह स्टेडियम के उत्तर में बनाया जा रहा है। इसके ठीक बगल में टेनिस कोर्ट बनेगा। सैंडिस कंपाउंड में निर्माण कार्य करा रही एजेंसी सिंघल कंपनी के एक सुपरवाइजर ने बताया कि स्वीमिंग पुल का कुल एरिया 75 मीटर लंबाई और 25 मीटर चौड़ाई में होगा। अगले पांच महीने में स्वीमिंग पुल तैयार करने की योजना बनाई गई है।

chat bot
आपका साथी