उफान पर चांदन, इन जगहों पर पुल और डायवर्जन पर मंडरा रहा संकट, रेलवे पुल पर भी बढ़ा खतरा
अब चांदन नदी के रेलवे पुल पर खतरा मंडराने लगा है। रेल पुल के बेसप्लेट से 10-15 फीट नीचे तक बालू बह गया है। इससे पुल का आधार काफी कमजोर हो गया है। भला है कि अभी इस रूट पर पिछले पांच महीने से ट्रेन नहीं चल रही है।
बांका, जेएनएन। तीन दिनों में आसमान ने सवा सौ मिमी पानी क्या बरसाया, बालू बिन नंगी हुई बरसाती नदियों ने कहर बरपाना शुरु कर दिया है। बालू उठाव से गुस्साई नदियों ने पिछले 24 घंटों में हर तरफ तांडव मचाया है। गुरूवार को शहर में चांदन नदी का पानी कम होने पर नए डायवर्जन का केवल कंकाल दिख रहा है। डायवर्जन की जगह केवल ह्यूम पाइप दिख रहा है। मिट्टी, पत्थर और बालू को नदी का तेज बहाव अपने साथ ले गई।
अब चांदन नदी के रेलवे पुल पर खतरा मंडराने लगा है। रेल पुल के बेसप्लेट से 10-15 फीट नीचे तक बालू बह गया है। इससे पुल का आधार काफी कमजोर हो गया है। भला है कि अभी इस रूट पर पिछले पांच महीने से ट्रेन नहीं चल रही है। ट्रेन गुजरने पर पुल के कभी भी धंसने का खतरा है। दरअसल, इस पुल के नजदीक से संवेदक पिछले छह महीने से लगातार बालू उठाव कर रहा है। पाया को छोड़कर दोनों तरफ से 15 फीट तक बालू उठा लिया गया। अब नदी में तेज बहाव आने पर पानी ने पाया के नीचे से ही बालू हटा दिया है। चांदन के खौफ के बाद बदुआ नदी ने भी कम मनमानी नहीं की है। मुंगेर को जोडऩे वाली धौरी पुल बनने के छल साल बाद ही धंस गई है। बालू उठाव के कारण इसके बेसप्लेट से भी दस फीट गहराई तक बालू हट गया है। गंगटी नदी के खौफ ने शंभूगंज-असरगंज सड़क पर यातायात पूरी तरह रोक दिया है। चांदन नदी के बहाव ने डुबौनी, गोलाहू, आदि जगहों पर तटबंध का कटाव शुरु कर दिया है। हालांकि इस सबके बावजूद जिला में बाढ़ की कोई संभावना नहीं है।
दिन भर छाया रहा बादल, बारिश भी
बुधवार की अपेक्षा गुरूवार को जिला भर में कम बारिश हुई है। लेकिन आसमान पूरी तरह बादलों से भरा हुआ है। मौसम में उमस भी बरकरार है। इससे कभी भी तेज बारिश की संभावना बनी हुई है। मौसम पूर्वानुमान के मुताबिक 27 सितंबर तक जिला में मध्यम से तेज बारिश होगी। गुरुवार को जिला में 40 मिमी बारिश रिकार्ड किया गया है। इसके पहले दो दिनों में 42 और 43 मिमी बारिश हो चुकी है। पहले दो दिन चांदन और कटोरिया इलाके में सर्वाधिक बारिश हुई। बुधवार को सबसे अधिक बारिश शंभूगंज, अमरपुर और बांका में हुई।
बांका में बन रहे चांदन नदी डायवर्जन को तेज बारिश से काफी नुकसान हुआ है। नदी में पानी कम होने तथा मौसम साफ होने पर इंतजार किया जा रहा है। इसके बाद ही इस डायवर्जन को ठीक करने का प्रयास शुरु किया जाएगा।
रामसुरेश राय, कार्यपालक अभियंता, पुल निर्माण निगम, भागलपुर