हत्या मामले में पिता-पुत्र को मिली उम्रकैद की सजा, जानिए आरोपित की करतूत

अररिया न्याय मंडल के अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय रजनीश कुमार श्रीवास्तव की अदालत ने करीब दो साल पूर्व अरतिया गांव में इम्तियाज की हुई हत्या के मामले में बुधवार को आरोपित पिता- पुत्र को उम्रकैद की सजा सुनाई।

By Amrendra kumar TiwariEdited By: Publish:Wed, 13 Jan 2021 04:41 PM (IST) Updated:Wed, 13 Jan 2021 04:41 PM (IST)
हत्या मामले में पिता-पुत्र को मिली उम्रकैद की सजा, जानिए आरोपित की करतूत
इम्तियाज की हत्‍या के आरोपितों को उम्र कैद की सजा

जागरण संवाददाता, अररिया । प्रत्येक हत्या में अपराध क्रूर और गंभीर होता है, जो व्यक्तिगत के साथ-साथ समाज के विरुद्ध होता है। साथ ही हत्या के इस लंबित मामले में दोषसिद्ध आरोपितगण आजीवन कारावास के न्यूनतम दंड के हकदार हैं। उक्त आलोक में अररिया न्याय मंडल के अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय रजनीश कुमार श्रीवास्तव की अदालत ने करीब दो साल पूर्व अरतिया गांव में इम्तियाज की हुई हत्या के मामले में बुधवार को अपना फैसला दिया है।

जिसमें जोकीहाट थाना क्षेत्र के दोषसिद्व आरोपित बने एक ही परिवार के दो पिता-पुत्र को सश्रम उम्रकैद की सजा सहित 95 हजार रुपये जुर्माना भरने का फैसला सुनाया है।

इस मामले में अररिया के अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय रजनीश कुमार श्रीवास्तव की अदालत में सत्र वाद संख्या-182/2018 में सुनवाई की। घटना 16फरबरी,2018 की है। आरोपितों ने घटना तिथि को मामले के सूचक बने फैयाज आलम का घर घेर लिया। इसी क्रम में सूचक एवं उसके पिता मो जब्बार आलम, माता-तैजुन, भाई-इम्तियाज, एवं बहन- जुवी आदि को अपने कब्जे में ले लिया।

आरोपितों ने घर के महिला पुरुष के साथ गंभीर मारपीट का अंजाम तो दिया ही। साथ ही महिलाओं के साथ अश्लील हरकत भी किया गया। आरोपितों ने अपने उद्देश्य के मद्देनजर सूचक के भाई इम्तियाज को जान मारने की नीयत से इस कदर मारपीट कर जख्मी कर दिया। जिसकी इलाज कराने के दौरान अररिया अस्पताल में इम्तियाज की मौत हो गई।।

इस मामले में जोकीहाट थाना में कांड संख्या- 182/2018 के तहत सुनवाई हुई। अदालत में 45 वर्षीय मो वाहिद एवं 25 वर्षीय उसके पूत्र बबलू के खिलाफ ट्रायल हुआ। उक्त सिद्ध दोष आरोपित जोकीहाट थाना क्षेत्र के अरतिया गांव के निवासी हैं। जहां सरकार की ओर से एपीपी प्रभा कुमारी एवं बचाव पक्ष से अधिवक्ता इरशाद आलम ने भाग लिया। एडीजे द्वितीय श्री श्रीवास्तव की अदालत ने दोनों पक्षों की सुनवाई पूरी की।

तत्पश्चात दोषसिद्धि आरोपित बने मो वाहिद एवं उसके पुत्र बबलू को भादवि की धारा-302 में सश्रम उम्रकैद की सजा सहित 50 हजार रुपए जुर्माना, धारा-307/149 में दस साल का सश्रम कैद सहित 25 हजार रुपए जुर्माना, धारा-354 बी/149 में पांच साल का कैद एवं 20 हजार रुपए जुर्माना सहित धारा- 341/149 में एक महीने का साधारण कैद की सजा का फैसला दिया है। साथ ही अदालत ने सभी सजा एक साथ चलने का भी फैसला सुनाते हुए जुर्माना नहीं भरने पर अतिरिक्त सजा भुगतने का भी फैसला दिया है।

chat bot
आपका साथी