इंजीनियरिंग कॉलेज के छात्र ने की खुदकुशी, कैमूर का था रहने वाला, जानिए क्या है मामला
भागलपुर इंजीनियरिंग कॉलेज के छात्र ने गुरुवार को खुदकुशी कर ली। वह कैमूर जिले का रहने वाला था। साथियों की मानें तो वह पिछले कई दिनों से परेशान था। घटना की जानकारी पर पुलिस मौके पर पहुंच कबीर के शव को कब्जे में लेकर जवाहर लाल नेहरू अस्पताल लाई।
जागरण संवाददाता, भागलपुर! इंजीनियरिंग कॉलेज के इलेक्ट्रिकल ब्रांच तृतीय वर्ष के छात्र 20 वर्षीय कबीर अहमद ने गुरुवार को छात्रावास संख्या दो के कमरे में फंदे से झूल खुदकुशी कर ली। उसका शव सीलिंग फैन के राड से रस्सी के सहारे बंद कमरे में लटकी मिली। दोस्त छात्रों ने अंदर से बंद कमरे के लाक को तोड़ कर अंदर प्रवेश किया और उसके शव को उतारा। घटना की जानकारी पर औद्यौगिक थाने की पुलिस मौके पर पहुंच कबीर के शव को कब्जे में लेकर जवाहर लाल नेहरू अस्पताल लाई। चिकित्सकों ने उसे देखते ही मृत घोषित कर दिया। कबीर कैमूर जिले के रहने वाले शमशाद अख्तर का पुत्र था। वह पिछले सत्र की परीक्षा में असफल हाेने से मानसिक रूप से काफी परेशान चल रहा था। खुदकुशी के पूर्व वह अपने दोस्त के कमरे में बैठकर उसके साथ ही पढ़ रहा था। वहां से वह अपने कमरे में गया फिर उसके खुदकुशी की ही जानकारी दोस्तों को मिली।
पिछले सत्र की परीक्षा में एक पेपर में असफलता से अवसाद में था कबीर
कॉलेज में कबीर के करीबी मित्रों की माने तो वह पिछले सत्र की परीक्षा में एक पेपर में बैक लगा था। जिससे वह अवसाद में चला गया था। सेमेस्टर की परीक्षा चल रही थी। उसके कमरे में साथ रहने वाले दूसरे ब्रांच के पार्टनर छात्र की गुरुवार को परीक्षा थी। वह परीक्षा दे रहा था, इधर कबीर फंदे पर लटक कर इहलीला समाप्त कर ली।
छह मार्च को देने वाला था सेमेस्टर परीक्षा
कबीर इलेक्ट्रिकल ब्रांच का छात्र था, छह मार्च से उसका सेमेस्टर परीक्षा होनी थी। पिछली परीक्षा में असफलता से वह मानसिक रूप से काफी परेशान चल रहा था। कुछ छात्रों का कहना था कि पढ़ाई का जो स्टैंडर्ड है वह छात्रों को मानसिक परेशानी की ओर ढकेलने वाला है। जरा भी कदम डगमगाए कि तनाव अवसाद में बदल जाएगा। कबीर की खुदकुशी से आहत एक छात्र ने तो यहां तक कह डाला कि टॉप टू में आने वाले इस कॉलेज में पढ़ाई का स्टैंडर्ड सही नहीं है। लड़के यहां दाखिला लेने के बाद खुद को ठगा महसूस करते हैं। मां-बाप को इतना पैसा नहीं होता कि फिर दूसरा विकल्प चुन सके।
2018 में क्षितिज ने किया था खुदकुशी का प्रयास, अस्पताल में बची थी जान
वर्ष 2018 में इंजीनियरिंग कॉलेज के छात्रावास संख्या चार में रहने वाले छात्रा क्षितिज शुक्ला ने फंदे पर लटक कर जान देने की कोशिश की थी। तब उसे फंदे से उतार कर आनन-फानन में अस्पताल ले जाया गया था जहां चिकित्सकों ने काफी मशक्कत बाद शुक्ला की जान बचाने में सफल रहे थे।