भाजयुमो जिला उपाध्यक्ष पर नहीं हुआ था हमला, गढ़ी थी झूठी कहानी

सबौर के सरधो निवासी भाजयुमो का जिला उपाध्यक्ष सुगंध कुमार झा उर्फ सिक्की पर सात सितंबर को अपराधियों ने गोलीबारी नहीं की थी।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 10 Sep 2018 06:31 PM (IST) Updated:Mon, 10 Sep 2018 06:31 PM (IST)
भाजयुमो जिला उपाध्यक्ष पर नहीं हुआ था हमला, गढ़ी थी झूठी कहानी
भाजयुमो जिला उपाध्यक्ष पर नहीं हुआ था हमला, गढ़ी थी झूठी कहानी

भागलपुर। सबौर के सरधो निवासी भाजयुमो का जिला उपाध्यक्ष सुगंध कुमार झा उर्फ सिक्की पर सात सितंबर को अपराधियों ने गोलीबारी नहीं की थी। बल्कि जीरोमाइल के मीराचक मोड़ के समीप आपसी रंजिश में सुगंध ने ही दहशत फैलाने के लिए दो जमीन कारोबारी पर आपसी रंजिश में पिस्टल तान दिया था। उसमें से एक ने उसकी पिस्टल पकड़ ली। यह देख सुगंध ने पिस्टल कॉक करने की कोशिश की। इसी में उसके बांए हाथ में जख्म बना है। मगर नेतागिरी में हाइलाइट होने के उद्देश्य से उसने गलत कहानी गढ़ दी। मगर पुलिस की जांच और मेडिकल रिपोर्ट में उसके झूठ का पर्दाफाश हो गया। एसएसपी आशीष भारती के निर्देश पर सिटी डीएसपी राजवंश ने इस बात की जानकारी सोमवार को दी। झूठा केस करने का चलेगा मुकदमा : सिटी डीएसपी ने बताया कि मामले की जब जांच शुरू की गई तो कई तथ्य सामने आए, जिससे स्पष्ट है कि घटना झूठी गढ़ी गई थी। इस बात की जानकारी मेडिकल रिपोर्ट में हुई है। उसके हाथ पर किसी तरह का फायर आर्म इंज्यूरी के निशान नहीं है। वहीं घटना के समय जिससे सुगंध का विवाद हुआ था। उससे भी पुलिस ने पूछताछ की है। पुलिस को दिए बयान में सुगंध झा ने बताया था कि उसके पास घटना के समय पिस्टल नहीं है। मगर उसके पास पिस्टल मौजूद थी। सुगंध का दावा है कि वह लाइसेंस उसने नागालैंड से इश्यू कराई है। सुगंध का नागालैंड में भी है स्थायी पता : पुलिस ने नागालैंड से मिले पिस्टल के लाइसेंस की जांच में लगी है। पुलिस को आशंका है कि वह लाइसेंस फर्जी है। मगर जब तक जांच पूरी नहीं होती। इस बारे में कुछ कहना मुश्किल है। मगर बड़ा सवाल है कि लाइसेंस में जो पता सुगंध का दिया हुआ है, वह वहां का स्थायी पता है। उसके लाइसेंस में नागालैंड के धोबीनाला, दीमापुर का पता अंकित है। जबकि उसे लाइसेंस जुनेहेबोटो से निर्गत हुआ है। पुलिस मामले में जिलाधिकारी के माध्यम से इसकी सत्यता जांचने के प्रयास में है। हालांकि पुलिस का कहना है कि यदि नागालैंड का भी लाइसेंस उसके पास है और इसकी जानकारी स्थानीय प्रशासन को नहीं दिया है तो लाइसेंसधारी कार्रवाई के दायरे में आता है।

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