Bihar Panchayat Chunav : मुखिया जी को फिर चाहिए काकी का ही आशीर्वाद, सुपौल में महिलाओं को रिझाने के लिए लग रही चौपाल

Bihar Panchayat Chunav बिहार में पंचायत चुनाव में आधी आबादी मानें कि महिलाओं की पूछ ज्यादा होती है। इसके पीछे की वजह पुरुषों का पलायन कर जाना माना जाता रहा है। गांव के मुखिया इस बात को ध्यान में रखते हुए महिलाओं को रिझाने में जुट गए हैं।

By Shivam BajpaiEdited By: Publish:Fri, 23 Jul 2021 06:57 PM (IST) Updated:Fri, 23 Jul 2021 06:57 PM (IST)
Bihar Panchayat Chunav : मुखिया जी को फिर चाहिए काकी का ही आशीर्वाद, सुपौल में महिलाओं को रिझाने के लिए लग रही चौपाल
Bihar Panchayat Chunav की तैयारियां जोरों पर, सुपौल में लग रही चौपाल।

 जागरण संवाददाता, सुपौल। Bihar Panchayat Chunav: पंचायत चुनाव की सुगबुगाहट के साथ ही महिला मतदाताओं की पूछ बढ़ने लगी है। दालान के बदले अब आंगनों में पंचायत चुनाव के संभावित प्रत्याशी चौपाल जमाने लगे हैं। चुनाव को ले जिला प्रशासन द्वारा जो मतदाता सूची तैयार की गई है, उससे तो यही लगता है कि एक बार फिर आधी आबादी ही उम्मीदवारों को जीत का सेहरा पहनाएगी। मतदाता सूची में महिला और पुरुष मतदाताओं की संख्या में करीब पांच हजार का ही अंतर है।

सुपौल में कुल 14,01,242 मतदाताओं में पुरुष मतदाताओं की संख्या 7,26,447 तथा महिला मतदाताओं की संख्या 6,72,073 है। 28 थर्ड जेंडर हैं। ग्रामीण क्षेत्रों के अधिकांश पुरुष मतदाता रोजी रोटी के लिए बाहर ही रहते हैं। मुखियाजी इन बातों को भली भांति समझते हैं इसलिए वे समझ गए हैं कि विजयश्री के लिए एकबार फिर काकी का ही आशीर्वाद चाहिए।

 

बनाए जाएंगे 2619 मतदान केंद्र

पंचायत चुनाव के लिए जिले में 2619 मतदान केंद्र बनाए जाएंगे। इसमें 2529 मूल मतदान केंद्र, 0 सहायक मतदान केंद्र तथा 64 चलंत मतदान केंद्र शामिल होंगे। सर्वाधिक चलंत मतदान केंद्र सुपौल प्रखंड में होंगे। यहां 2 चलंत मतदान केंद्र बनाए जाने हैं। पिछले चुनाव की तुलना में इस बार मतदाताओं की संख्या में डेढ़ लाख से अधिक की बढ़ोतरी हुई है। 2016 के पंचायत चुनाव में 2575 मतदान केंद्र बनाए गए थे वहीं इस बार 2619 मतदान केंद्र स्थापित किए जाएंगे। 2016 के चुनाव में मतदाताओं की संख्या 1249821 थी। इस बार बढ़कर 14,01,242 हो गई है। 1,5,1421 मतदाता पांच सालों में बढ़े हैं।

मनरेगा भी नहीं रोक सकी पलायन

लोगों को गांव में रोजगार उपलब्ध कराने के लिए सरकार ने मनरेगा योजना की शुरुआत की। पंचायतों में भी यह योजना जमकर चलाई गई लेकिन जिस हिसाब से जिले से बसों पर लदकर मजदूर अन्य प्रांतों को जा रहे हैं इससे ऐसा नहीं लगता कि इन्हें रोकने का ईमानदार प्रयास हुआ है। लिहाजा गांवों में पुरुषों की संख्या में कमी होती गई और अमूमन सभी चुनावों में महिलाओं की ही भागीदारी बढ़-चढकर दिखती है।

प्रखंडवार मतदाताओं की संख्या

प्रखंड का नाम :: पुरुष मतदाता :: महिला मतदाता

बसंतपुर :: 61375 :: 55794

निर्मली :: 26721 :: 25248

मरौना :: 49087 :: 45245

सुपौल :: 102508 :: 94158

पिपरा :: 69848 :: 65481

किशनपुर :: 55881 :: 51796

सरायगढ़-भपटियाही :: 42925 :: 40163

राघोपुर :: 76064 :: 71263

प्रतापगंज :: 37390 :: 34104

छातापुर :: 93755 :: 85335

त्रिवेणीगंज :: 110893 :: 103486

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