मुंगेर में दो दिवसीय सालाना जलसे में शामिल हुए 50 हजार अकीदतमंद शरीक, अमन चैन की मांगी गई दुआ

मुंगेर में दो दिवीसीय सलाना जलसा आयोजित किया गया। इस जलसे में 50 हजार से ज्यादा अकीदतमंद शरीक हुए। अमन चैन की दुआ मांगी गई। आज रविवार को इस जलसे का अंतिम दिन है। यूपी से लेकर झारखंड और कई जिलों के अकीदमंद मुंगेर आए हुए हैं।

By Shivam BajpaiEdited By: Publish:Sun, 28 Nov 2021 10:58 AM (IST) Updated:Sun, 28 Nov 2021 10:58 AM (IST)
मुंगेर में दो दिवसीय सालाना जलसे में शामिल हुए 50 हजार अकीदतमंद शरीक, अमन चैन की मांगी गई दुआ
मुंगेर पहुंचे अकीदतमंद, इमारत-ए-शरिया के अमीर ने मांगी दुआ।

संवाद सूत्र, मुंगेर : जामिया रहमानी का सालाना दो दिवसीय जलसे में बिहार के अलावा, झारखंड, पश्चिम बंगाल, ओडीसा, यूपी, महाराष्ट्र, दिल्ली सहित कई राज्यों से लगभग 50 हजार अकीदतमंद शरीक हुए। दो दिवसीय सालाना जलसा का समापन रविवार को दुआ के साथ होगा। हजारों की संख्या में लोग खानकाह पहुंचे। देश के विभिन्न हिस्सों से पहुंचे मेहमानों को रहने के लिए कई जगहों पर पंडाल बनाया गया है। जलसा में लखनऊ, बरेली के लखनवी हलवा सहित कई लजीज व्यंजनों के दुकानें लगी है। खानकाह रहमानी फाउंडेशन के जेड रहमानी ने कहा कि खानकाह में रहकर तालिम लेने वाले 85 छात्रों को नमाज मगरिब के बाद पगड़ी बांधी गई, सभी छात्र यहां से निकलकर मुल्क हित में अपनी सेवा देंगे।

छात्र मोआसरे में जाकर पूर्व की तरह अमनो शांति, भाईचारा और शिक्षा का दीप जलाएंगे। इस जलसा में जामिया रहमानी के तालिवेइल्म और छात्रगण भी भाग लिए। जलसा में शिक्षित, विद्धावन और प्रसिद्ध शामिल हुए है। इससे पहले इमारत-ए-शरिया के अमीर मौलाना अहमद वली फैसल रहमानी ने मरहूम हजरत वली रहमानी की याद में वली कदा नाम से बनने वाले भवन का शिलान्यास किया। यह भवन छात्रों के लिए बनाया जाएगा, इसमें सभी विषयों की पढ़ाई होगी।

(इमारत-ए-शरिया के अमीर मौलाना अहमद वली फैसल रहमानी)

इमारत-ए-शरिया के अमीर ने मांगी अमन चैन की दुआ

जलसे के अंतिम दिन रविवार को इमारत-ए-शरिया के अमीर मौलाना अहमद वली फैसल रहमानी पूरी दुनिया में अमन व शांति और प्यार मोहब्ब्त और मुल्क की तरक्की के लिए दुआ करेंगे। जेड रहमानी ने बताया कि इससे पहले अबतक जितने महापुरुष गुजर गए हैं उनके रूह के सुकून के लिए दुआं की जाती है। इशालो सबाव किया जाता है। जलसा में देश के प्रशिद्ध ओलमाए कराम मुख्य वक्ता के रूप में शामिल हुए। जलसा में महाराष्ट्र से मौलाना उमरैन महफुज, मौलाना मुख्तार मिल्ली, बंगाल से कारी खुर्शीद अकरम, यूपी से अब्दुल्ला नदवी सहित अन्य लोग शामिल हुए।

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