जिला सूखाग्रस्त घोषित नहीं हुआ तो करेंगे चक्का जाम : सार्जन

बेगूसराय। किसानों की समस्याओं को ले कांग्रेस ¨चतित है। पार्टी किसानों की रह समस्या के समाधान के लिए

By JagranEdited By: Publish:Wed, 21 Nov 2018 06:03 PM (IST) Updated:Wed, 21 Nov 2018 06:03 PM (IST)
जिला सूखाग्रस्त घोषित नहीं हुआ तो करेंगे चक्का जाम : सार्जन
जिला सूखाग्रस्त घोषित नहीं हुआ तो करेंगे चक्का जाम : सार्जन

बेगूसराय। किसानों की समस्याओं को ले कांग्रेस ¨चतित है। पार्टी किसानों की रह समस्या के समाधान के लिए प्रयास कर रही है। अनावृष्टि के बाद भी सरकार द्वारा जिले के एक भी प्रखंड को सूखाग्रस्त घोषित नहीं किए जाने से किसान खास परेशान हैं। किसानों की इन परेशानियों को ले पार्टी लगातार संघर्ष करेगी। सरकार यदि इस जिले को सूखाग्रस्त घोषित नहीं करती है, तो हम जिलेभर में चक्का जाम करेंगे। यह बात बुधवार को स्वर्ण जयंती पुस्तकालय के समक्ष आयोजित कांग्रेस के महाधरना कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य सह पूर्व जिलाध्यक्ष अभय कुमार ¨सह सार्जन ने कही। उन्होंने कहा कि देश के अन्नदाता संकट में हैं और इस मुद्दे पर कांग्रेस पार्टी चुप नहीं बैठेगी। महाधरना को संबोधित करते हुए विधायक रामदेव राय ने केंद्र व राज्य सरकार पर जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि सरकार की नीतियों के खिलाफ आज का आंदोलन प्रतीकात्मक है। परंतु सरकार यदि इससे नहीं मानी, तो किसानों के हित के इस आंदोलन को व्यापक पैमाने पर चलाया जाएगा। कार्यक्रम का संचालन करते हुए पार्टी नेता राम विलास ¨सह ने कहा कि आज देश के किसान कांग्रेस पार्टी की ओर टकटकी लगाए हुए हैं। कहा, किसानों की इस समस्या को ले न सिर्फ कांग्रेसी बल्कि आम लोग भी इस जुमलेबाज और मौकापरस्त सरकार को जबाब देगी। महाधरना को मुखिया सालिम खां, लखन पासवान, शशिशेखर राय, मो. मतीन, अविनाश कुमार, लक्ष्मी गुप्ता, राकेश ¨सह, रंजीत कुमार, कृष्ण कुमार राय, महेश ¨सह, बाल्मीकि ¨सह आदि ने भी संबोधित किया। महाधरना के उपरान्त पार्टी नेता व कार्यकर्ताओं ने समाहरणालय के समक्ष प्रदर्शन भी किया। साथ ही धरना स्थल से लेकर समाहरणालय तक जुलूस भी निकाला।

15 सूत्री मांग पत्र सौंपा : धरना के उपरान्त पार्टी नेताओं का एक प्रतिनिधि मंडल राज्यपाल के नाम डीएम को 15 सूत्री मांगों का ज्ञापन सौंपा। जिसके माध्यम से संपूर्ण जिला को सूखाग्रस्त क्षेत्र घोषित करने, खाद और बीज की बढ़ती कीमत पर रोक लगाने तथा अनुदान कर नकद लाभ देने, पेट्रोलियम पदार्थों के मूल्य में हो रही वृद्धि पर अविलंब नियंत्रण करने, किसानों के सभी तरह के कर्ज को माफ करने, 2015 से 2017 तक के सभी बीमा दावों का शीघ्र निष्पादन करने, फसलों के मूल्य के निर्धारण का अधिकार किसानों को देने, जिला में मेडिकल व कृषि कॉलेज की स्थापना करने, बेरोजगार युवाओं को रोजगार के साधन मुहैया कराने, पीएम आवास व शौचालय निर्माण योजना में हो रहे घोटाले की जांच कराने, जिले में बढ़ते अपराध पर अंकुश लगाने, रामधारी ¨सह दिनकर के नाम पर विश्व विद्यालय की स्थापना करने, बरौनी खाद कारखाना के निर्माण में स्थानीय मजदूरों की भागीदारी सुनिश्चित करने आदि की मांग की गई।

chat bot
आपका साथी