बेपरवाह हुए लोग कोरोना संक्रमण ने पकड़ी रफ्तार
बेगूसराय कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। कोरोना वायरस ने गांव देहा
बेगूसराय : कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। कोरोना वायरस ने गांव देहात में भी तीव्र गति से पांव पसारना शुरू कर दिया है। पहली लहर में कोरोना को गांवों तक पहुंचने से हद तक रोक लिया गया था। इस बार ऐसा होता नहीं दिख रहा है। इस विकट स्थिति में आज भी ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोग खतरनाक कोरोना संक्रमण से बेपरवाह बने हुए हैं। इस बेपरवाही पर लगाम लगाने को लेकर ना प्रशासन सजग दिख रहा है और न ही स्थानीय स्तर पर कारगर कदम उठाए जा रहे हैं। मास्क नहीं लगाने, बेवजह घूमने, शादी-विवाह, श्राद्ध जैसे कार्यक्रम गांव में कोरोना संक्रमण फैलाने में मुख्य कारक बन गए हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में होने वाले इस कार्यक्रम पर कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए बनाए गए नियम की खुल्लम-खुल्ला धज्जियां उड़ाई जा रही है। इन कार्यक्रमों में पहले की तरह ही लोगों का जमावड़ा लग रहा है। परिणाम है कि कोरोना ने गांव में भी अपना बसेरा डाल दिया है।
लोग हो गए बेपरवाह : कोरोना की पहली लहर में गांव के लोग काफी सतर्क और सजग दिख रहे थे। लोग कामकाज में व्यस्त रहने के बावजूद कोरोना से जुड़े नियमों का पालन कर रहे थे। लोगों में सजगता लाने को लेकर पंचायत प्रतिनिधि से लेकर अन्य लोग भी लोगों को जागरूक कर रहे थे। इसका परिणाम था कि पहली लहर में कोरोना के गांव पहुंचने से पहले ही ब्रेक लग गया। परंतु, इस बार ऐसी स्थिति नहीं है। पंचायत प्रतिनिधि इसके प्रति सजग नहीं दिख रहे हैं। लोगों में भी इसका कोई असर दिख नहीं रहा है। गांव-मोहल्ले से लेकर चौक-चौराहे तक साइकिल एवं पैदल मटरगश्ती करते बच्चे से लेकर व्यस्क तक हमेशा दिख जाते हैं। हालांकि दुकानें चार बजे संध्या के बाद बंद दिख रही है।
नहीं हो रही है कोरोना जांच : बाहर से आने वाले लोगों की विधिवत जांच भी नहीं की जा रही है। इस कारण भी ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना बहुत तेजी से फैल रहा है। मालपुर मुखिया विजय मनीषा देवी कहती हैं कि 40 से ज्यादा कोरोना मरीज गांव में हैं। बार-बार कहने के बावजूद चिकित्सा पदाधिकारी अब तक लोगों की जांच ही नहीं कर रहे हैं। इसी तरह ऐजनी पंचायत में एक महिला का कोरोना टेस्ट के 17 दिन के बाद रिपोर्ट पॉजिटिव आई। तब तक होम आइसोलेशन खत्म हो चुका था। कंटेनमेंट जोन बनाने गए सरकारी कर्मियों को ग्रामीणों ने खदेड़ दिया। भोजा निवासी ब्रजनंदन ने 20 मार्च को कोरोना टेस्ट कराया। होम आइसोलेशन मंगलवार को खत्म हो गया, लेकिन रिपोर्ट अब तक नहीं आई है। इसी तरह की शिकायत दर्जनों लोगों की है।
वैक्सीन के प्रति भी लोग नहीं दिख रहे सजग : कोरोना से बचाव को लेकर सरकार ने उम्र का दायरा निर्धारित कर निश्शुल्क टीका लगवा रही है। परंतु, वैक्सीन के प्रति ग्रामीण क्षेत्र के लोग आज भी उदासीन बने हुए हैं। जागरुकता के अभाव में नजदीक में टीका केंद्र नहीं रहने से अब तक निर्धारित उम्र वाले 40 फीसद लोग भी टीका नहीं लगवा पाए हैं। इससे कोरोना का फैलाव काफी तेजी से हो रहा है।
नहीं बट सका मास्क : कोरोना की खतरनाक दूसरे लहर को देख सरकार ने ग्रामीण क्षेत्र के सभी परिवारों के बीच छह-छह मास्क वितरित करने का फैसला लिया। परंतु, सरकार का यह फैसला जमीन पर अभी तक लागू नहीं हो पाया है। एक मुखिया का कहना है कि पहले मुखिया द्वारा मास्क और साबुन वितरित कराया गया था। इसलिए जल्दी वितरण प्रारंभ हो गया था। इस बार पंचायत सचिव के हाथ में है। अभी तक सुगबुगाहट नहीं दिख रही है।