धनश्री वाला, प्रिया आर्यानी व मधुसूदन ने भी बीपीएससी में मारी बाजी

बेगूसराय प्रखंड के संजात गांव निवासी रामाशीष चौरसिया के पुत्र मधुसूदन कुमार चौरसिया ने रा

By JagranEdited By: Publish:Wed, 09 Jun 2021 09:22 PM (IST) Updated:Wed, 09 Jun 2021 09:22 PM (IST)
धनश्री वाला, प्रिया आर्यानी व मधुसूदन ने भी बीपीएससी में मारी बाजी
धनश्री वाला, प्रिया आर्यानी व मधुसूदन ने भी बीपीएससी में मारी बाजी

बेगूसराय : प्रखंड के संजात गांव निवासी रामाशीष चौरसिया के पुत्र मधुसूदन कुमार चौरसिया ने राजस्व अधिकारी पद पर सफलता अर्जित कर अपने परिवार और भगवानपुर प्रखंड का नाम रौशन किया है। मधुसूदन कुमार चौरसिया गरीब परिवार से हैं। उनके पिता मजदूरी करके अपने बेटे को अच्छी शिक्षा से जोड़े रखा। उनके काबिल पुत्र ने अपने पिता के अरमान को पूरा किया। वे छह भाई-बहनों में सबसे बड़े हैं। उनकी चार बहनें हैं। उन्होंने 2013 में मध्य विद्यालय जगतपुरा में शिक्षक के रूप में 38 दिन सेवा दिए। पूर्व में इनका चयन बैंक पीओ, रेलवे एवं माप तौल निरीक्षक के रूप में 2019 के रूप में भी हुआ, परंतु ज्वाइन नहीं किए। उन्होंने 2005 में जवाहर ज्योति उच्च विद्यालय चक्का सहलोरी से मैट्रिक परीक्षा उत्तीर्ण किए एवं 2011 में जीडी कॉलेज बेगूसराय से मैथ ऑनर्स (गोल्ड मेडल) में स्नातक परीक्षा उत्तीर्ण की। अपनी स्थिति को सुधारने के लिए ट्यूशन भी पढ़ाया और खुद पढ़ते रहे। वर्तमान में वे एसएससी लेखाधिकारी के पद पर मध्य प्रदेश के रीवा जिले में कार्यरत हैं। राजस्व अधिकारी पद पर मधुसूदन कुमार चौरसिया का चयन होने पर क्षेत्र के विधायक सुरेंद्र मेहता, डॉ. मंडन मिश्र, संजात कॉलेज के प्राचार्य घनश्याम चौरसिया, एसएनपी कॉलेज के प्राचार्य राम भगत चौरसिया, पैक्स अध्यक्ष विजय कुमार झा, राजीव रौशन, सुरेश चौरसिया, भाजपा नेता दीपक प्रकाश आदि ने शुभकामनाएं दी।

फार्मासिस्ट की पुत्री प्रिया आर्यानी बनी आरओ

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जागरण संवाददाता, बेगूसराय : शहर के पोखरिया में निवासी अनिल कुमार सिंह की पुत्री प्रिया आर्यानी ने कठिन परिश्रम की बदौलत बीपीएससी में सफलता हासिल की है। प्रथम प्रयास में ही उन्हें राजस्व अधिकारी का पद मिला है। स्कूल की शिक्षा बेगूसराय से प्राप्त करने के बाद उन्होंने वूमेन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी , दरभंगा से इंजीनियरिग की डिग्री हासिल की। तत्पश्चात उन्होंने सिविल सर्विसेज की तैयारी करने की ठानी और दिल्ली में रहकर कठिन परिश्रम की बदौलत बीपीएससी परीक्षा में 1132वां रैंक लाकर अपना परचम लहराया। ये उनका तीसरा प्रयास था। इसके पहले भी उन्होंने दो बार इंटरव्यू में शामिल हुई थी लेकिन सफ़लता नहीं मिली थी। इस बार सफलता हासिल करते हुए वे आरओ के पद पर चयनित हुई हैं। भाई बहनों में सबसे छोटी प्रिया आर्यानी के इतनी बड़ी सफलता से पूरा परिवार बहुत खुश है। उनके पिता अनिल कुमार सिंह सदर अस्पताल बेगूसराय से फार्मासिस्ट के पद से सेवानिवृत हैं, जबकि माता करुणा देवी हाउसवाइफ हैं। बड़ी दीदी डॉ. कुमारी श्वेता स्त्री विभाग डीएमसीएच में हैं, जबकि बहनोई डॉ. आशुतोष कुमार सिंह डीएमसीएच दरभंगा में शिशु विभाग में पदस्थापित हैं। भाई प्रणव कुमार और भाभी अर्चना पेशे से इंजीनियर हैं। प्रिया आर्यानी की शादी खगड़िया जिले के रहीमपुर गांव के प्रभाषणकर सिंह के पुत्र से विगत तीस अप्रैल को हुई है। पति रौशन सिंह भारतीय खाद्य निगम दिल्ली में पदस्थापित हैं।

पहली सफलता में राजस्व अधिकारी बनीं धनश्री वाला

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संवाद सूत्र, बीहट (बेगूसराय) : कठिन मेहनत व लगन से पढ़ाई करते हुए बरौनी प्रखंड अंतर्गत चकिया गांव निवासी ब्रज नंदन रजकेश की पुत्री धनश्री वाला ने 64वीं बिहार लोक सेवा आयोग की संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा के प्रथम प्रयास में ही सफलता हासिल कर ली है। धनश्री वाला का चयन राजस्व पदाधिकारी के रूप में किया गया है। उनका बीपीएससी में रैंक 1723 है। धनश्री वाला के पिता ब्रजनंदन रजकेश ने बताया कि वो इस सफलता से उत्साहित हैं, लेकिन खुश नहीं हैं। वो डीएसपी बनना चाहती है। जो उसकी इच्छा है। उसकी तैयारी में लगी है और 67वीं बीपीएससी परीक्षा में अपना भाग्य अजमाएगी। उन्होंने बताया कि धनश्री वाला के बाबा एक्साइज इंस्पेक्टर थे। उसी के पद चिन्ह पर चलकर डीएसपी बनना चाहती है। वह वर्ष 2008 में रांची से मैट्रिक, 2010 में पटना से इंटर व 2016 में सेंट्रल कृषि विश्वविद्यालय पूसा से कृषि स्नातक की है। यही से कैम्पस सलेक्शन के तहत 2017 में उसे चारा विकास पदाधिकारी भागलपुर डेयरी में नौकरी लगी। इसके बाद वर्ष 2019 में उत्पाद एवं मद्यनिषेध विभाग भागलपुर में एक्ससाइज सब इंस्पेक्टर के पद पर ज्वाइन की है। और भागलपुर में कार्यरत हैं। दो बहन व एक भाई में धनश्री सबसे बड़ी है। उनके पिता लखीसराय जिले के बड़हिया प्रखंड के मध्य विद्यालय खुटहा में एचएम हैं तथा उनकी मां इंदु कुमारी सिमरिया एक पंचायत के अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में एएनएम है। लखीसराय जिले के सूर्यगढ़ा थाना के जगदीशपुर गांव के मूल निवासी धनश्री के माता-पिता वर्ष 1990 से ही चकिया में स्थायी रूप से घर बनाकर बस गए हैं। धनश्री वाला ने सफलता का श्रेय अपनी माता-पिता को देती है। वर्तमान में वह पटना यूनिवर्सिटी में पीएचडी कर रही है तथा पुत्र दीपक राज उर्फ लल्लू क्रिकेटर है।

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