पंचायतों में घमासान, नगर पंचायत सुनसान

-पिपरा हुआ नगर पंचायत में शामिल यहां की 15 पंचायतों में डाले जाएंगे वोट -पंचायतों में चुन

By JagranEdited By: Publish:Sun, 31 Oct 2021 11:33 PM (IST) Updated:Sun, 31 Oct 2021 11:33 PM (IST)
पंचायतों में घमासान, नगर पंचायत सुनसान
पंचायतों में घमासान, नगर पंचायत सुनसान

-पिपरा हुआ नगर पंचायत में शामिल, यहां की 15 पंचायतों में डाले जाएंगे वोट

-पंचायतों में चुनाव के शोर में गुम हुई दीपावली की तैयारी पोस्टरों से सजी दीवारें

संवाद सूत्र, पिपरा (सुपौल) : पिपरा प्रखंड की 15 पंचायतों में दीपावली से एक दिन पूर्व यानी तीन नवंबर को वोट डाले जाएंगे। चार नवंबर को दीपावली है और पिपरा के नगर पंचायत में शामिल होने के बाद यहां चुनाव नहीं होना है। पंचायतों में चुनाव को लेकर घमासान मचा हुआ है। चुनावी शोर में जहां दिवाली की तैयारी गुम हो गई है वहीं नगर पंचायत इस मौके पर भी सुनसान है। गांवों में दिवाली के मौके पर दीवारों की रंगाई-पुताई के स्थान पर पोस्टर सटे हुए हैं और लोग अपने पसंदीदा प्रत्याशी के प्रचार में लगे हैं।

दरअसल दशहरा बाद ही लोग दीपावली की तैयारी में जुट जाते हैं। पंचायत चुनाव के कारण इस बार यह नहीं हो सका है। दशहरा बाद इस प्रखंड के लोग चुनाव की तैयारी में जुटे हैं। यहां की 15 पंचायतों में मुखिया, सरपंच, वार्ड सदस्य, पंच, पंचायत समिति सदस्य और जिला परिषद सदस्य की 499 सीटों के लिए मतदान होना है। इसके लिए 2006 प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं। स्थानीय चुनाव होने की वजह से हर प्रत्याशी के साथ दो-तीन परिवार जुटा हुआ है यानी किसी पंचायत में ऐसा घर शायद ही होगा जो इस चुनाव से प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से जुड़ा नहीं हो। लोग अपने-अपने प्रत्याशी के पक्ष में चुनाव प्रचार के लिए सुबह निकलते हैं तो देर रात ही घर वापस आते हैं। महिला प्रत्याशियों की तादाद भी इस चुनाव में अच्छी-खासी है इसलिए महिला प्रत्याशियों के साथ घर की महिलाएं रहती हैं। घरों में सिर्फ बुजुर्ग या बच्चे बच जाते हैं। अब दीपावली को लेकर घरों की साफ-सफाई होनी थी लेकिन इसे करने के लिए कोई खाली बचा नहीं है तो साफ-सफाई हो कैसे। अन्य साल जहां इस समय घर के युवा बांस के आकाशदीप बनाने में व्यस्त होते थे वहीं इस साल तो उन्हें जैसे इधर झांकने की फुरसत ही नहीं है। दिनभर मोटर साइकिल से पंचायत भ्रमण ही इनका काम है। दूसरी ओर प्रखंड मुख्यालय पिपरा के नगर पंचायत में शामिल होने के बाद यहां चुनाव नहीं हो रहा है इसलिए यहां चुनावी शोर तो नहीं ही है साथ ही पंचायतों में चुनाव होने के कारण लोग बाजार का भी रुख नहीं कर रहे हैं इसलिए बाजार मंदा है। बाजार में किराना का कारोबार करनेवाले उमेश गुप्ता बताते हैं कि पंचायतों में चुनाव होने के कारण इस बार दिवाली का बाजार मंदा है। पंचायतों से लोग बाजार आ ही नहीं रहे हैं। जेनरल स्टोर के संचालक प्रभात कुमार बताते हैं कि दीपावली पर ऐसी मंदी पहली बार देख रहे हैं। कहा कि पंचायत चुनाव होने के कारण लोग उसी में व्यस्त हैं इसलिए बाजार की ऐसी हालत है। ज्वेलरी कारोबारी सुनील स्वर्णकार की मानें तो धनतेरस पर वे अच्छी बिक्री कर लेते थे। कहते हैं कि इस बार लगता नहीं है कि वैसी बिक्री हो पाएगी। पंचायत चुनाव पर्व के बाद होता तो बात दूसरी थी। रेडीमेड कपड़ों के विक्रेता प्रह्लाद कुमार का कहना है कि यह बाजार आसपास के गांवों पर निर्भर है। गांवों में पंचायत चुनाव को लेकर घमासान मचा हुआ है। ऐसे में लोग बाजार आना नहीं चाहते। पहले इस समय दुकानों पर भीड़ लगी रहती थी लेकिन इस साल तो यदा-कदा ही ग्राहक आते हैं।

फिलहाल स्थिति यह है कि गांधी चौक, त्रिवेणीगंज बस स्टैंड रोड, हास्पिटल रोड स्थित बस स्टैंड चौक आदि स्थानों पर सुबह और शाम लोगों की भीड़ लगी रहती थी अब इक्का-दुक्का लोग ही नजर आते हैं।

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