World Breastfeeding Week: कामकाजी महिलाओं के लिए ब्रेस्टफीडिंग से जुड़े 5 ज़रूरी टिप्स
World Breastfeeding Week तब क्या होगा जब आपको मेटरनिटी छुट्टियों के बाद वापस काम पर लौटना पड़ेगा? तब आप कैसे सुनिश्चित करेंगी कि आपके बच्चे को स्तन का दूध मिले? आज हम कामकाजी महिलाओं के लिए स्तनपान से जुड़े कुछ टिप्स दे रहे हैं।
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। World Breastfeeding Week: हर शिशु के लिए मां का दूध शुरुआती समय में एक संपूर्ण आहार माना जाता है। हालांकि, बच्चे को कम से कम छह महीने तक सिर्फ स्तनपान कराने की सलाह दी जाती है, लेकिन माएं अक्सर 6 महीने से ज़्यादा समय तक ब्रेस्टफीडिंग जारी रखती हैं। लेकिन तब क्या होगा जब आपको मेटरनिटी छुट्टियों के बाद वापस काम पर लौटना पड़ेगा? तब आप कैसे सुनिश्चित करेंगी कि आपके बच्चे को स्तन का दूध मिले? आज हम कामकाजी महिलाओं के लिए स्तनपान से जुड़े कुछ टिप्स दे रहे हैं।
डॉ. स्मिता मल्होत्रा, सीनियर कन्सलटेन्ट, पीडिएट्रिक गैस्ट्रोएंट्रोलोजी, इन्द्रप्रस्थ अपोलो हॉस्पिटल्स, नई दिल्ली का कहना है, "गर्भधारण, बच्चे का जन्म अैर फिर से काम पर लौटना एक कामकाजी महिला के लिए बहुत मुश्किल होता है। बच्चे को घर पर किसी के साथ छोड़ना, उसे अपने साथ ऑफिस लेकर जाना या क्रैच में छोड़ना- इन सब के बीच बच्चे को स्तनपान कराना बहुत ज़रूरी होता है, क्योंकि यह बच्चे के विकास के लिए बहुत ज़रूरी है। काम पर जाने से पहले बच्चे को स्तनपान कराएं, ब्रेस्ट पम्प की मदद से दूध निकालकर स्टरलाइज़्ड मिल्क स्टोरेज बैग में रखें ताकि आपके ऑफिस जाने के बाद जो भी उसका देखभाल कर रहा है, वह उसे दूध पिला सके।स्तनों में अगर सूजन आ जाए तो गर्म तौलिए से सिकाई करें या ऑलिव ऑयल से मसाज करें।"
कामकाजी महिलाओं के लिए स्तनपान के लिए कुछ सुझाव
1. ब्रेस्ट पम्प का इस्तेमाल करें
एक अच्छा ब्रेस्ट पंप खरीदें और व्यक्त दूध को फ्रीज या रेफ्रिजरेट करना शुरू करें। इस तरह, आपके बच्चे की देखभाल करने वाला स्टोर किए गए स्तन के दूध को कमरे के तापमान तक गर्म कर सकता है और इसे आपके बच्चे को दे सकता है।
2. बच्चे को बोतल से दूध पीना सिखाएं
क्योंकि आप अपने बच्चे को दूध पिलाने के लिए घर पर नहीं होंगी, इसलिए काम पर जाने से एक महीने पहले, समय-समय पर अपने बच्चे को बोतल देना शुरू करें, ताकि उसे बोतल से दूध पीने की आदत हो जाए।
3. अपने ऑफिस में बात करें
अपने बच्चे को सिखाने के साथ, अपने मैनेजर से काम के लचीले समय के बारे में बात करें। स्तनपान कराने वाली मां के रूप में अपने अधिकारों का दावा करें और बोलने से न डरें।
4. अपने नर्सिंग वाले कपड़ों को न फेकें
नर्सिंग ड्रेस आपके उस वक्त काम आ सकती है, जब आप अपने बच्चे को स्तनपान करा रही हों, या फिर ब्रेस्ट पम्प का इस्तेमाल कर रही हों।
5. एक फीडिंग शेड्यूल का पालन करें
माओं को सलाह दी जाती है कि वे आदर्श रूप से हर ढाई से तीन घंटे या फिर आठ घंटे में तीन बार पंप करें।
डॉ. स्मिता मल्होत्रा, का कहना है, "एक नई मां के लिए करियर और बच्चे की देखभाल के बीच तालमेल बनाना मुश्किल होता है। इस समय अपने बच्चे की देखभाल को सबसे ज़्यादा प्राथमिकता देनी हाती है। बच्चे को फीडिंग शेड्यूल के लिए ट्रेनिंग देना भी कारगर हो सकता है। इन सब सुझावों के साथ-साथ मां के लिए यह भी ज़रूरी है कि वह अपनी सेहत का ध्यान रखे।"