नदी की तेज धारा में बही नाव मिली वापस
लगातार हुई बारिश में कोयल नदी का जलस्तर बढ़ गया है। कोयल के बढ़े जलस्तर में आनंदपुर प्रखंड के रूंगीकोचा पंचायत के बेड़ाकसाई के ग्रामीणों की नाव बह गई। तेज रफ्तार में बही नाव आनंदपुर पंचायत के कुड़ना गांव के पत्थरगढ़ा के लोगों के हाथ लग गई।
मनोहरपुर : लगातार हुई बारिश में कोयल नदी का जलस्तर बढ़ गया है। कोयल के बढ़े जलस्तर में आनंदपुर प्रखंड के रूंगीकोचा पंचायत के बेड़ाकसाई के ग्रामीणों की नाव बह गई। तेज रफ्तार में बही नाव आनंदपुर पंचायत के कुड़ना गांव के पत्थरगढ़ा के लोगों के हाथ लग गई। ग्रामीणों द्वारा पाई गई नाव को वापस बेड़ाकसाई के ग्रामीणों को लौटा दिया। वहीं बेड़ाकसाई के ग्रामीणों द्वारा अपनी नाव को ट्रैक्टर के माध्यम से गांव वापस ले जाया गया।
मौके पर बेड़ाकसाई निवासी सुखदेव हेंब्रोम, गालई गोप, सुरेंद्र लुगून एंव सुनील हेंब्रोम ने बताया कि बेड़ाकसाई कोयल नदी तट से नाव के सहारे लोगों को उसपार गोईलकेरा के भरडीहा गांव छोड़ा जाता है। यह कार्य पूरी तरह से सामाजिक तौर पर किया जाता है। दस दिन पूर्व सिंहभूम में आए साइक्लोन की बारिश में नाव घाट से बह गई। उन्होंने बताया कि कुड़ना स्थित पत्थरगढ़ा में हमारे कुछ रिश्तेदार रहते हैं। उनसे जानकारी मिली कि नाव को नदी से निकालकर रख लिया है। फिर पत्थरगढ़ा के विलयन सुरीन, विजय लकड़ा, फूलचन्द्र सुरीन आदि लोगों ने मदद करते हुए हमारी नाव हमें वापस की।
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मरम्मत से पहले ही बह गई पुलिया
संसू, गोईलकेरा : भारी बारिश की वजह से पश्चिमी सिंहभूम जिले में कच्चे मकान, पुल-पुलिया बह गए हैं। जिले के गोईलकेरा प्रखंड में सेरेंगदा सड़क पर माराश्रम गांव के पास जर्जर पुलिया इसमें बह गई। पुलिया की 50 लाख रुपये की लागत से मरम्मत का कार्य होना था। लेकिन बुधवार की शाम पानी के तेज बहाव में पुलिया और एप्रोच सड़क बह गई। जिसके कारण गोईलकेरा से गुदड़ी प्रखंड का संपर्क कट गया है।
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लगातार बारिश से गिर रहे कच्चे घर
संसू, बंदगांव : लगातार बारिश से होने से बुधवार की रात कई लोगों के घर गिर गए। सिरका टांड में अश्विनी मोदी कालीकाबेड़ा में मुरलीधर प्रधान का घर गिर गया। बारिश के कारण घर गिरने से लोगों को काफी असुविधा हो रही है। लोग परिवार के साथ रह रहे हैं। रहने की कोई अन्य सुविधा नहीं है और फिर से घर बनाया जाए, इसके लिए लोगों की आर्थिक क्षमता नहीं है। अश्विनी मोदी ने बताया अब किसी तरह बाल बच्चों को रखना है। घर तो बनाना ही होगा। अब सरकार से मदद की कोशिश करनी होगी।